'सुप्रीम' फैसला: स्कूलों की मुश्किलें बढ़ीं, पेरेंट्स को राहत
सुप्रीम कोर्ट ने स्कूलों में आधार कार्ड की अनिवार्यता की खत्म
स्कूल संचालक बोले, मानेंगे सुप्रीम कोर्ट का फैसला आधार से यूपी बोर्ड के स्कूलों में फर्जीवाड़े पर काफी हद तक रोक लग गई थी Meerut। स्कूलों में आधार की अनिवार्यता खत्म करने वाले सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद जहां पेरेंट्स को काफी राहत मिली हैं वहीं स्कूलों संचालकों के लिए मुश्किलें खड़ी हो गई है। यूपी बोर्ड के स्कूलों में जहां फर्जीवाड़े पर काफी हद तक रोक लग गई थी। वहीं सीबीएसई स्कूलों को भी स्टूडेंट्स का रिकार्ड मेंटेन करने में सहूलियत हो गई थी। आधार कार्ड की अनिवार्यता खत्म करने से स्कूल संचालकों का काफी झटका लगा है। ये था फायदा आधार कार्ड की वजह से डेट ऑफ बर्थ में बार-बार चेंज नहीं हो सकती थी। सभी सूचनाएं एक ही जगह लिंक हो जाती थी।फार्म भरने में गलती होने की गुंजाइश नहीं थी।
सभी डाटा एक बार में ही स्टोर हो रहा था। इंश्योरेंस पॉलिसी के लिए पेरेंट्स को स्कूल से बर्थ ऑफ सर्टिफिकेट की कॉपी लेने की जरूरत नहीं थी। अंग्रेजी के नाम में स्पेलिंग मिस्टेक नहीं होती थी, जिससे सभी डॉक्यूमेंट्स और आईडी में नाम की एक ही स्पेलिंग दर्ज रहती थी।यूपी बोर्ड के स्कूलों में फर्जी नामांकन पर रोक लग गई थी।
बोर्ड परीक्षाओं में फर्जी रजिस्ट्रेशन रूक गए थे। पेरेंट्स को ये होगा फायदा एक साल, पांच साल और 15 साल में आधार कार्ड में थंब इंप्रेशन आदि चेंज करवाना पड़ रहा था। नर्सरी के बच्चे के लिए आधार कार्ड बनवाने के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा। एडमिशन के समय ही आधार कार्ड देना होता था, अब इससे राहत मिल सकेगी। ये है तस्वीर 1 लाख 50हजार करीब बच्चों के आधार कार्ड लिंक हुए सीबीएसई स्कूलों में 5 लाख बच्चे आधार कार्ड से रजिस्टर्ड हैं यूपी बोर्ड के करीब बेसिक प्राइमरी विभाग में मिड-डे मील, यूनिफार्म, जूता, मौजा, स्वेटर आदि की योजनाओं के लिए बच्चों के आधार कार्ड लिंक कराने अनिवार्य थे ताकि गड़बडि़यों को रोका जाए और लाभार्थी बच्चों का पूरा रिकार्ड मेंटेन रहे। आधार कार्ड की वजह से बेसिक स्कूलों में फर्जी नामांकन नहीं हो पा रहे थे, लेकिन अब इसमें गड़बड़ी की पूरी संभावनाएं हैं।आधार कार्ड स्कूलों के लिए अभी कुल सालों से ही जरूरी हुआ था। पहले इसके बिना ही सभी डॉक्यूमेंट्स तैयार होते थे। वेरिफिकेशन के लिए सिर्फ आधार काफी था, लेकिन अब हर चीज ऑनलाइन हो गई है। इसलिए अनिवार्यता खत्म होने पर स्कूलों को वेरिफिकेशन करने में कुछ खास फर्क नहीं आएगा।
एचएम राउत, प्रिंसिपल, दीवान पि1ब्लक स्कूल आधार कार्ड की अनिवार्यता से हमें इंफोर्मेशन स्टोर करने में काफी सहूलियत थी। किसी प्रकार की कोई भी गड़बड़ी की आशंका खत्म हो गई थी। हालांकि हम सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले का स्वागत करते हैं। राहुल केसरवानी, सहोदय अध्यक्ष प्राइमरी क्लासेज के बच्चों का आधार कार्ड बनवाना मुश्किल हो रहा था। कुछ वक्त बाद फिंगर और थंब इंप्रेशन बदल जाते हैं इसलिए बार-बार चेंज करवाना पड़ता है। अब एक ही बार आधार कार्ड बनवा सकेंगे। प्रभात सांगवान, अिभभावक थोड़ी राहत मिलेगी। छोटे बच्चे का आधार कार्ड बनवाना मुश्किल हो जाता है। राहुल चौधरी, अभिभावक आधार कार्ड से यूपी बोर्ड परीक्षाओं में होने वाले फर्जी रजिस्ट्रेशन पर रोक लगी थी। एक ही बार में सूचनाएं एकत्र होती हैं। गिरजेश चौधरी, डीआईओएस, मेरठ