- महिला अस्पताल की सीएमएस ने हेल्प डेस्क बनवाने का भेजा प्रस्ताव

- इलाज के लिए अब मरीजों को नहीं पड़ेगा भटकना

बरेली : हाल ही में जिला अस्पताल में जिम्मेदारों की लापरवाही की सजा एक पांच दिन की बच्ची को अपनी जान देकर चुकानी पड़ी थी। मामला शासन तक पहुंचा तो एडीएसआईसी डॉ। केएस गुप्ता को निलंबित कर दिया गया। वहीं महिला अस्पताल की सीएमएस डॉ। अल्का शर्मा पर कार्रवाई की तलवार लटकी हुई है। डॉक्टर या स्टाफ की लापरवाही से इस तरह की घटना दोबारा न हो इसके लिए डॉ। अल्का शर्मा ने जिला अस्पताल में हेल्प डेस्क बनाने के लिए मंडे को एडी हेल्थ को पत्र लिखा है।

एक घंटे भटकते रहे परिजन

हाल ही में हुई पांच दिन की बच्ची की मौत में डॉक्टरों की लापरवाही तो रही लेकिन जानकारी न होना भी एक वजह रही। बच्ची का किसान पिता उसे लेकर करीब एक घंटे तक महिला अस्पताल के बाहर भटकता रहा। असल में उसे जानकारी ही नहीं थी कि उसे बच्ची को लेकर कहां जाना है। इसके चलते बच्ची की हालत नाजुक होती गई।

हेल्प डेस्क पर यह मिलेगी सुविधा

जिला अस्पताल में बने एडीएसआईसी के कार्यालय के पास ही हेल्प डेस्क बनाई जाएगी जिसमें चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों को तैनात किया जाएगा। यहां ओपीडी में आने वाले मरीजों को फौरन ही जानकारी दी जाएगी कि उन्हें किस नंबर कमरे में किस डॉक्टर के पास जाना है। इससे मरीजों को इलाज के लिए भटकना नही पड़ेगा।

रेफर से पहले प्राइमरी ट्रीटमेंट

सीएचसी, पीएचसी से रेफर होकर जिला अस्पताल पहुंचने वाले गंभीर मरीजों को हायर सेंटर के लिए रेफर करने से पहले उन्हें जरूरी प्राइमरी ट्रीटमेंट दिया जाएगा। जिससे मरीज की हालत में सुधार होगा।

अगले माह शुरू होगी डेस्क

महिला अस्पताल की सीएमएस की ओर से एडी हेल्थ को भेजे गए पत्र के अनुसार अगले माह से ही हेल्प डेस्क की शुरुआत करने की मांग की गई है।

वर्जन

मरीजों को इलाज के लिए भटकना न पड़े, इसलिए एडी हेल्थ को पत्र भेजकर हेल्प डेस्क बनवाने की मांग की है। स्वीकृति के बाद परिसर में हेल्प डेस्क शुरू कर दी जाएगी।

डॉ। अल्का शर्मा, सीएमएस, महिला अस्पताल

Posted By: Inextlive