बीआरडी मेडिकल कॉलेज के पीजी के डॉक्टर पढ़ाई करने के बाद जिला अस्पताल में छह माह तक ट्रेनिंग करेंगे. इस दौरान वह पेशेंट्स का इलाज करते हुए सीनियर डॉक्टर्स की मदद करेंगे. इस सुविधा के शुरू होने के बाद जिला अस्पताल में डॉक्टर्स की कमी तो दूरी होगी ही साथ ही सीनियर डॉक्टर्स को भी आराम मिलेगा. अब तक पीजी के डॉक्टर बीआरडी में ही इंटर्नशिप करते हैं.


गोरखपुर (ब्यूरो).नेशनल मेडिकल कमीशन ने (एनएमसी) छह माह पहले ही नए निर्देश जारी किए थे। इस निर्देश के तहत विशेषज्ञ डॉक्टर पढ़ाई पूरी करने के बाद दो साल तक प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेजों में सुपर स्पेशियलिटी विभाग में बांड के तहत सेवा देंगे। इस सुविधा शुरू होने के बाद बीआरडी मेडिकल कॉलेज में 200 बेड का सुपर स्पेशियलिटी सेवा शुरू की गई। इसके तहत बीआरडी को 13 विशेषज्ञ डॉक्टर भी मिले हैं। इनमें ह्दय रोग विभाग से लेकर न्यूरो सर्जरी, न्यूरो फिजिशियन, आंकोलॉजी, नेफ्रोलॉजी जैसे विशेषज्ञ शामिल हैं। बताया जा रहा है कि यह प्रयोग एनएमसी का सफल रहा है। इसी देखते हुए अब पीजी की पढ़ाई करने वाले डॉक्टर नजदीकी जिला अस्पताल में पढ़ाई पूरी करने के बाद छह माह तक ट्रेनिंग करेंगे। इस दौरान वह पेशेंट्स की जांच करेंगे। इसके तहत बांड भराए जाने की तैयारी भी चल रही है।


दूर होगी जिला अस्पतालों में डॉक्टरों की कमीइस नियम के बाद से जिला अस्पताल में डॉक्टर्स की कमी काफी हद तक दूरी हो जाएगी। हर साल बीआरडी में पीजी के 90 से अधिक डॉक्टर निकलते हैं, ऐसे में सभी विभागों के डॉक्टर मिलने से जिला अस्पताल की ओपीडी में अन्य डॉक्टर्स पर बोझ भी कम होगा। साथ ही सीनियर डॉक्टर्स को भी आराम मिलेगा।

बीआरडी के पीजी के डॉक्टर जिला अस्पताल में छह माह की ट्रेनिंग देंगे। इससे जिला अस्पताल में डॉक्टरों की कमी दूर होगी। साथ ही सीनियर डॉक्टर्स पर पेशेंट्स का बोझ भी कम होगा।- डॉ। राजेंद्र ठाकुर, एसआईसी, जिला अस्पताल

Posted By: Inextlive