कोरोना की सेकेंड वेव में ऑक्सीजन की जबरदस्त क्राइसिस हुई. सरकारी हो या निजी अस्पताल हर जगह ऑक्सीजन की मारामारी देखने को मिली. इसको देखते हुए कई शहरों में ऑक्सीजन प्लांट लगाए गए. गोरखपुर में भी कई स्थानों पर प्लांट स्थापित किए गए. मगर अब जब पॉजिटिव केस बढऩे लगे हैं तो ऐसे में जिले में लगे ऑक्सीजन प्लांट्स की दैनिक जागरण आईनेक्स्ट टीम ने हकीकत परखी. प्लांट्स की क्या स्थिति है. इसे जानने के लिए टीम ने मेडिकल कॉलेज जिला अस्पताल महिला अस्पताल एम्स टीबी अस्पताल सहजनवां गगहा एरिया का जायजा लिया. इसमें कुछ जगहों पर खामियां मिलीं.


गोरखपुर (ब्यूरो)। जिला अस्पताल में दो ऑक्सीजन प्लांट में से एक प्लांट परीक्षण के दौरान बंद पाया गया। जबकि मेडिकल कॉलेज और टीबी अस्पताल में बने ऑक्सीजन प्लांट चालू हालत में मिले। वहीं, जिला महिला अस्पताल और एम्स में भी प्लांट चलता हुआ पाया गया। हेल्थ डिपार्टमेंट का दावा है कि कोरोना से निपटने के लिए ऑक्सीजन प्लांटों को रन करवाया जा रहा है। साथ ही उसकी ऑनलाइन निगरानी भी कराई जा रही है। प्रतिदिन रिपोर्ट पोर्टल पर अपलोड करने के लिए भी कही गई है। हालांकि, अभी पेशेंट्स को ऑक्सीजन की सप्लाई नहीं दी जा रही है।ये है स्टेटस स्थान संख्या क्षमता (एलपीएम में)मेडिकल कॉलेज 02 1000-1000
जिला अस्पताल 02 1000-960महिला अस्पताल 01 1000 एम्स 01 400


टीबी अस्पताल 01 400ऑक्सीजन प्लांटों की डेली की पूरी गतिविधि पोर्टल पर अपलोड करने की जिम्मेदार मुझे मिली है। यह कार्य शुरू हो गया है। इससे यहां के सभी प्लांटों की गतिविधि की शासन से निगरानी की जा सकेगी। - डॉ। एके प्रसाद, नोडल अधिकारी टेस्टिंग के बाद बंद पड़ा है सीएचसी का ऑक्सीजन प्लांटसहजनवां. कोरोना की सेकेंड वेव में हुई ऑक्सीजन की किल्लत दूर करने के लिए सहजनर्वं सीएचसी में ऑक्सीजन प्लांट लगाया गया था। प्लांट लगने के बाद टेस्टिंग तो हुई, लेकिन तकनीकी खराबी के कारण नहीं चल रहा। यह कहना गलत नहीं होगा कि यहां लगा ऑक्सीजन प्लांट शोपीस बना हुआ है। सीएचसी अधीक्षक डॉ। एसके सिंह ने बताया कि प्लाटं लगा है। वोल्टेज की वजह से कुछ तकनीकी खराबी आई है। विभाग को जानकारी दी गई है। जल्द ही ठीक हो जाएगा।पेशेंट्स को कर देते हैं गोरखपुर रेफर गगहा. एरिया के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र गगहा में ऑक्सीजन प्लांट नहीं है। कोविड से निपटने के लिए अस्पताल में ऑक्सीजन उपलब्ध है। अस्पताल परिसर में प्रतिदिन कोविड

टेस्ट होता है। यहां 100 प्रतिशत लोगों को पहली डोज लग चुकी है। वहीं, दूसरी डोज अभी लगाई जा रही है। बच्चों को भी प्रतिदिन टीकाकरण हो रहा है। अस्पताल में कोविड मरीजों की भर्ती का कोई व्यवस्था नहीं है। अगर कोई कोविड का मरीज गंम्भीर अवस्था में है तो अस्पताल में उपलब्ध ऑक्सीजन मरीज का उपलब्ध कराने एंबुलेंस से गोरखपुर सम्बन्धित अस्पताल में भेज दिया जाता है। वहीं सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉ। बृजेश बरनवाल ने बताया कि यहां लेवल-वन की व्यवस्था नहीं है। अस्पताल में टीकाकरण के साथ प्रतिदिन कोविड टेस्ट हो रहा है। गांवों में आशा द्वारा लोगों को अवेयर किया जा रहा है।

Posted By: Inextlive