- उप्र इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्च¨रग नीति 2020 में अगले पांच साल का लक्ष्य तय

- अभी तीन साल में ही हुआ 20 हजार करोड़ का निवेश, तीन लाख को दी जॉब

रुष्टयहृह्रङ्ख : यूपी को इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्च¨रग का हब बनाने के लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही है। शनिवार को लोक भवन में पत्रकारों से बातचीत में डिप्टी सीएम डॉ। दिनेश शर्मा ने बताया कि उप्र इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्च¨रग नीति 2020 में अगले पांच वर्षों में इलेक्ट्रानिक्स सेक्टर में 40 हजार करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य रखा गया है और चार लाख लोगों को रोजगार दिलाया जाएगा।

डॉ। शर्मा ने उप्र इलेक्ट्रॉनिक्स नीति 2017 में पांच वर्षो यानी 2022 तक 20 हजार करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य रखा गया था, वह केवल तीन वर्षो में ही हासिल हो गया। 30 निवेशकों ने निवेश किया और तीन लाख लोगों को रोजगार दिलाए गए। उन्होंने बताया कि नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेस वे क्षेत्र को इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्च¨रग जोन घोषित किया गया है। तीन इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्यूफैक्च¨रग क्लस्टर्स की स्थापना के तहत यमुना एक्सप्रेस वे में जेवर एयरपोर्ट के समीप एक इलेक्ट्रॉनिक्स सिटी, बुंदेलखंड में डिफेंस इलेक्ट्रानिक्स मैन्यूफैक्च¨रग क्लस्टर और लखनऊ, उन्नाव व कानपुर जोन में मेडिकल इलेक्ट्रानिक्स मैन्यूफैक्च¨रग क्लस्टर स्थापित किया जा रहा है। लखनऊ में 40 एकड़ भूमि पर थ्री पी मॉडल पर अत्याधुनिक सूचना प्रौद्योगिकी काम्प्लेक्स बनेगा। इसमें एक आईटी पार्क और चार एकड़ भूमि पर एसटीपीआई द्वारा देश का सबसे बड़ा स्टार्टअप केंद्र (इन्क्यूबेशन सेंटर) बनाया जाएगा। वहीं उप्र स्टार्टअप नीति 2020 के अंतर्गत गैर आइटी क्षेत्रों कृषि, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, ऊर्जा आदि क्षेत्रों में भी बढ़ावा दिया जा रहा है।

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हर मंडल में बनेगा एक आईटी पार्क

उप मुख्यमंत्री ने बताया कि मेरठ, आगरा, वाराणसी व गोरखपुर में अगले वर्ष से आईटी पार्को का संचालन शुरू होगा। वहीं लखनऊ, प्रयागराज सहित प्रदेश के अब सभी मंडलों में एक आईटी पार्क बनाया जाएगा। इनके बनने से लोगों को रोजगार मिलेगा।

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10 हजार स्टार्टअप शुरू होंगे, हर जिले में एक केंद्र

प्रदेश में अभी तक तीन हजार स्टार्टअप स्थापित किए जा चुके हैं। अब इन्हें बढ़ाकर 10 हजार किया जाएगा। वहीं 100 स्टार्टअप केंद्र भी स्थापित किए जाएंगे। हर जिले में एक स्टार्टअप केंद्र होगा। अभी 18 स्टार्टअप केंद्र हैं।

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10 डाटा सेंटर पार्क भी बनाए जाएंगे

उप्र डाटा सेंटर नीति के अंतर्गत 250 मेगावॉट का डाटा सेंटर उद्योग विकसित किया जाएगा। तीन अत्याधुनिक निजी डाटा सेंटर पार्क स्थापित किया जाएगा। वहीं कुल 10 डाटा सेंटर पार्क स्थापित किए जाएंगे।

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हर ग्राम पंचायत में अब दो जन सेवा केंद्र

प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में अब दो जन सेवा केंद्र स्थापित होंगे। वहीं शहरों में दस हजार की आबादी पर दो केंद्र खुलेंगे। इससे करीब 4.5 लाख ग्रामीण युवाओं को रोजगार मिलेगा। अब तक 30,167 ग्राम पंचायतों में ऑप्टिकल फाइबर कनेक्टिविटी उपलब्ध करा दी गई है।

Posted By: Inextlive