- हजरतगंज में खोया पाया सेल में हर दिन आते हैं 10 से 15 मामले

- चोरों से बरामद मोबाइल की चोरी के मामले में नहीं दर्ज थी रिपोर्ट

- पुलिस कई मोबाइल चोर को कर चुकी है गिरफ्तार

द्यह्वष्द्मठ्ठश्र2@द्बठ्ठद्ग3ह्ल.ष्श्र.द्बठ्ठ

रुष्टयहृह्रङ्ख : जनाब, नवाबी शहर में मोबाइल चोरी ही नहीं होते हैं बल्कि यहां पर मोबाइल केवल खो जाते हैं। यह हम नहीं कह रहे हैं बल्कि पुलिस के रिकॉर्ड में दर्ज आंकड़े बयां कर रहे हैं। हैरान होने वाली बात तो यह है कि मोबाइल चोरी नहीं होते फिर भी कई मोबाइल चोर सैकड़ों मोबाइल के साथ दबोचे भी जा रहे हैं। आखिर क्या है पूरा माजरा आपको बताते हैं।

पुलिस की नजर में मोबाइल चोरी अपराध नहीं

पुलिस के रिकॉर्ड के आंकड़े पर नजर डालिए तो चोरी, मर्डर, लूट, डकैती मामले आपको जरूर मिलेंगे, मोबाइल चोरी, साइकिल चोरी के आंकडे़ नहीं मिलेंगे। जो यह दर्शाते हैं कि पुलिस मोबाइल चोरी और साइकिल चोरी को अपराध नहीं मानती है। इसके बावजूद मोबाइल चोर पर नकेल कसने के लिए उन्हे दबोचती है और उनके पास से भारी संख्या में चोरी के मोबाइल बरामद करती है। दरअसल, हमारी मित्र पुलिस चोरी के मोबाइल की तहरीर में फेरबदल कराकर उसे गुम होने की धाराओं में रिपोर्ट दर्ज करती है ताकि चोरी की रिपोर्ट के आंकड़ों को कम किया जा सके।

रसूखदारों की ही दर्ज होती है रिपोर्ट मोबाइल चोरी की रिपोर्ट केवल किसी बड़ी क्राइम की वारदात और रसूखदार लोगों की रिपोर्ट पर ही दर्ज होती है। जैसे लूट, डकैती व मर्डर केस में मोबाइल गायब होता है तो पुलिस अन्य धारा के साथ मोबाइल चोरी की भी रिपोर्ट दर्ज करती है। इसके अलावा किसी बड़े रसूखदार व्यक्ति का मोबाइल चोरी होता है तो उसे चोरी की धारा में दर्ज किया जाता है, लेकिन आम आदमी का मोबाइल चोरी भी होता है तो उसे केवल खोया पाया सेल और गुम होने की तहरीर पर ही दर्ज किया जाता है।

अपराध की संख्या न बढ़ने का कारण

सूत्रों के मुताबिक मोबाइल के चोरी होने की रिपोर्ट इसलिए दर्ज नहीं की जाती है क्योंकि सबसे ज्यादा संख्या मोबाइल चोरी की होती है। हर दिन शहर में 15 से 20 फोन चोरी होते हैं। अगर इनकी रिपोर्ट चोरी में दर्ज की जाएगी तो चोरी के आंकड़े बढ़ जाएंगे, जिसे पुलिस विभाग बिल्कुल भी नहीं चाहता है।

पुलिस के गुडवर्क पर खड़े हो रहे सवाल

पुलिस के रिकॉर्ड में भले ही चोरी के मोबाइल की रिपोर्ट दर्ज न हो, लेकिन वह कई गैंग और शातिर मोबाइल चोर को दबोच चुकी है। इतना ही नहीं उसके पास से बड़ी संख्या में चोरी के मोबाइल बरामद कर चुकी है।

खड़े हो रहे सवाल

गोमतीनगर

- वर्ष 2018 में गोमतीनगर पुलिस ने चोरी के सौ मोबाइल बरामद किये थे।

- मामले में तीन नाबालिग बच्चों को हिरासत में लिया था

- बरामद मोबाइल की कीमत 15 लाख बताई गई थी।

- उस समय गैंग का मास्टरमाइंड सुनील फरार हो गया था

आशियाना

- फरवरी 2021 में आशियाना पुलिस ने तीन मोबाइल चोर आरोपियों को दबोचा।

- उनके पास से चोरी के 118 मोबाइल बरामद हुए थे।

- वारदात में सात नाबालिग बच्चों की संलिप्तता भी मिली थी।

बॉक्स

खोया पाया सेल में केवल शिकायत

हजरतगंज में खोया पाला सेल है। जहां मोबाइल खोने, पर्स गिरने की की शिकायत दर्ज की जाती है। मोबाइल चोरी होने पर अगर पीडि़त व्यक्ति किसी थाने पर जाता भी है तो उसे इस सेल का हवाला देकर हजरतगंज थाने भेज दिया जाता है। जहां केवल मोबाइल गुम होने की शिकायत दर्ज होती है। रजिस्टर में उसका नाम, पता और मोबाइल नंबर दर्ज कर उसकी शिकायत की कॉपी की रिसीविंग दे दी जाती है। ताकि वह अपना दूसरा सिम खरीद सके।

Posted By: Inextlive