शर्मनाक, शिक्षा की जड़ ही कमजोर
- जिन पर है भविष्य की जिम्मेदारी, उन्हें ही नहीं ज्ञान
- देश के बारे में नहीं जानते हैं सिटी के नामचीन निजी और सरकारी स्कूल - शिक्षा क्षेत्र से जुड़े आलाधिकारी को भी नहीं है कोई जानकारी Meerut गणतंत्र दिवस यानी ख्म् जनवरी जिस दिन हमारा संविधान लागू हुआ। विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र की स्थापना का दिन। इस दिन को हर देशवासी बड़े हर्षोल्लास से मनाता है। इससे जुड़ी जानकारी बच्चों को छोटी कक्षाओं में ही दे दी जाती है। लेकिन यह बेहद आश्चर्य की बात है कि बच्चों को स्वतंत्रा व गणतंत्रता का पाठ पढ़ाने वाले स्कूल खुद ही देश की नॉलेज में फेल हैं। आईनेक्स्ट के रियलिटी चेक में कुछ चौंकाने वाली बातें सामने आई। आप खुद पढ़ें क्या रहा रियलिटी चेक का रिजल्ट जड़ ही कमजोरसिटी के वह नामचीन स्कूल जिनमें पेरेंट्स अपने बच्चों को दाखिला दिलाने के लिए हर मुमकिन कोशिश करते हैं, लेकिन क्या आपको पता है कि वहां के मुखिया खुद ही देश और लोकतंत्र से जुड़ी जानकारी से अनजान हैं। आज हम आपको कुछ ऐसा ही सच बताने जा रहे हैं, जिसको सुनकर शायद आप यकीन न करें या फिर ये कहेंगे कि हम मजाक तो नहीं कर रहे।
ऐसे हुई बातचीतआईनेक्स्ट ने जब यह जानने के लिए सिटी के टॉप फाइव प्राइवेट और गवर्नमेंट स्कूलों से बात की क्या वो देश के बारे में कुछ जानते हैं, तो बेहद शर्मनाक तथ्य निकलकर सामने आए।
ये थे आई नेक्स्ट के सवाल सवाल जवाब - राष्ट्रीय वृक्ष कौन सा हैं। - बरगद का पेड़ है।- हमारे मौलिक कर्त्तव्यों को किस देश से इंस्पायर होकर बनाया गया था। - संविधान में हमारे मौलिक कर्तव्यों को सोवियत यूनियन से इंस्पायर होकर मनाया गया था।
- सबसे बड़ा राष्ट्रीय अध्यक्ष का निवास कहां का है। - सबसे बड़ा राष्ट्रीय अध्यक्ष निवास हमारा ही है राष्ट्रपति भवन। - संविधान को किस तारीख को स्वीकृत किया गया था। - भारतीय संविधान को ख्म् नवंबर सन् क्9ब्9 में स्वीकृत किया गया था। - सबसे बड़ा लिखित संविधान किस देश का है। - सबसे बड़ा लिखित संविधान भारत का है। - किस सन में हमारे तिरंगे झंडे को घरों में, निजी संस्थानों में फहराने की स्वीकृती हुई थी। - ख्म् जनवरी ख्00ख् को भारतीय ध्वज संहिता में संशोधन को मंजूरी के बाद देश के हर नागरिकों को अपने घरों, कार्यालयों व फैक्टरी में न केवल राष्ट्रीय दिवसों पर, बल्कि किसी भी दिन बिना किसी रुकावट के ध्वज फहराने की अनुमति मिली। - अशोक चक्र कहां से लिया गया है और किसने लिया था।- तीसरी शताब्दी ईसा पूर्व मौर्य सम्राट अशोक द्वारा बनाए गए सारनाथ स्तंभ से अशोक चक्र लिया गया था, इस चक्र को धर्म का चक्र कहते हैं। इस चक्र को प्रदर्शित करने से आशय है कि जीवन गतिशील है और रुकने का अर्थ मृत्यु है।
- हमारे देश के संविधान को लागू हुए अब कितने साल हो गए हैं। - हमारे देश के संविधान को लागू हुए पूरे म्म् साल हो गए, यानि यह हमारा म्म् वां गणतंत्र दिवस है। हमारा संविधान ख्म् जनवरी क्9भ्0 में लागू हुआ था। - राष्ट्रगान स्कूल की लास्ट लाइन जय हो जय हो कितने समय की होती है। - राष्ट्र गान की लास्ट लाइनें जय हो जय हो ख्0 सेकेंड की होती है। टॉप फाइव प्राइवेट स्कूलों का हाल स्कूल वन- रिपोर्टर - सर हमारे मौलिक कर्तव्यों को किस देश से लिया गया है। प्रिंसीपल - ये तो मुझे याद ही नही है। रिपोर्टर - मैडम ये बता दीजिए हमारे देश के संविधान को किस तारीख को स्वीकृति मिली थी। प्रिंसीपल- क्या तुम हमारा जीके टेस्ट ले रहे हो, हम नहीं कर पाएंगे आपके सवालों का आंसर। स्कूल टू- रिपोर्टर - सर हमारे मौलिक कर्त्तव्यों को किस देश से लिया गया है कुछ जानकारी दे दीजिए।प्रिंसीपल- यह तो कंफर्म करके बताना पड़ेगा, हम पढ़कर बताते हैं नेट से।
रिपोर्टर- सर चलिए यह ही बता दीजिए कि हमारा अशोक चक्र क्या दर्शाता है। प्रिंसीपल- अरे यह तो सवाल आप जो कर रहे हैं, इसके बारे में कहीें पढ़ा तो है। आप ऐसा कीजिए हमें सवाल मैसेज कर दो अभी थोड़ी देर में इसका आंसर दे देंगे। स्कूल थ्री- रिपोर्टर- सर हमें यह जानना है कि इंडिया के वर्तमान ध्वज को डिजाइन करने वाला कौन है। प्रिंसीपल- यह सवाल आप हमसे क्यों कर रहे हैं आप तो खुद ही ज्ञानी है, हमारे को तो ऐसे याद ही नहीं है, आप ही बता दो। रिपोर्टर- सर हमारे वर्तमान ध्वज को आंध्र प्रदेश के पिंगाली वेंकैया ने क्9फ्क् में डिजाइन किया था। चलिए यह तो बता दीजिए कि हमारे देश के मौलिक कर्त्तव्यों को कहां से इंस्पायर होकर लिया गया है। प्रिंसीपल- अब आप ये क्या जीके का टेस्ट लेने में लग गई है, हमें तो इसके लिए दोबारा पढ़ना होगा। स्कूल फोर- रिपोर्टर- सबसे बड़ा लिखित संविधान किस देश का है। प्रिंसीपल- अरे हम अभी होल्ड पर रखते हैं आप पांच मिनट रूक जाइए बताते हैं, यह कहकर प्रिंसीपल ने फोन ही काट दिया। स्कूल फाइव- रिपोर्टर- सर हमें एक सवाल में कंफ्यूजन हो रहे हैं क्या आप क्लीयर कर देंगे। प्रिंसीपल- अरे क्यों नहीं, हम तो जरुर करेंगे आप पूछिए। रिपोर्टर- सर ये बता दीजिए कि हमारे संविधान को किस तारीख को स्वीकृति मिली थी। प्रिंसीपल- अरे ये क्या पूछ लिया, सच कहें हमें तो यह भी याद नही है कि हमारे देश का संविधान कौन से सन में लागू हुआ था क्9भ्0 में या फिर भ्क् में, इतने में फोन कट जाता है। प्रिंसीपल का पलटकर फोन आता है- रिपोर्टर - जी बताइए। प्रिंसीपल- अरे हमने यह कहने के लिए फोन किया था आप यह मत लिखना कि इतने बड़े स्कूल के प्रिंसीपल को अपने संविधान के बारे में जानकारी ही नहीं है। रिपोर्टर - अरे नहीं हम तो अपनी नॉलेज के लिए पूछ रहे थे। प्रिंसीपल- फिर तो ठीक है ऐसे ठीक नहीं लगता न इसलिए कह रहे हैं। टॉप फाइव गवर्नमेंट स्कूल स्कूल वन रिपोर्टर - सर हमारा राष्ट्र वृक्ष कौन सा है। प्रिंसीपल- अरे ये तो हमको याद नहीं है। हम साइंस साइड से पढ़े हैं। आर्ट साइड के होते तो शायद बता देते। आप एक काम करें किसी आर्ट साइड के टीचर से पूछ लें मैं नंबर दे देता हूं। स्कूल टू- रिपोर्टर- हम एक सवाल में कंफ्यूज हो रहे हैं क्या आप बता देंगे। प्रिंसीपल- हां क्यों नहीं, हम बताते हैं आप पूछें। रिपोर्टर- ये बता दीजिए कि हमारे संविधान को लागू हुए कितने साल हो गए हैं। प्रिंसीपल- मैं तो इसके बारे में पहले हिसाब लगाऊंगा फिर बता सकता हूं आप मुझे दो-तीन घंटे का समय दोगी तो बताता हूं। स्कूल थ्री- रिपोर्टर- हमारा आशोक चक्र क्या दर्शाता है, हमें क्या संदेश देता है। प्रिंसीपल -अरे हम तो ज्यादा हिस्ट्री में इंट्रस्ट नहीं रखते हैं आप क्यों पूछ रही हो। रिपोर्टर - अच्छा ये बता दे कि हमारे संविधान को किसी तारीख को स्वीकृती मिली थी। प्रिंसीपल- अरे मैं बोल तो रहा हूं आप मत पूछिए ये सब कहां याद रहता है। स्कूल फोर रिपोर्टर - सर एक सवाल था मुझे कल से समझ नहीं आ रहा सोचा आपसे पूछ लूं। प्रिंसीपल- अरे बताओ बताओ क्या बात है। रिपोर्टर - हमारे राष्ट्रगान और राष्ट्रगीत में कोई अंतर है क्या। प्रिंसीपल- मुझे भी इन दोनों के बोल में थोड़ा कंफ्यूजन रहता है। राष्ट्रगान कौन सा है और राष्ट्रगीत कौन सा है। स्कूल फाइव- रिपोर्टर- सर कुछ सवाल पूछने हैं मुझे उनके जवाब में थोड़ा कंफ्यूजन है। प्रिंसीपल- अब क्या सवाल करने वाले हैं आप, बताइए। रिपोर्टर- मुझे यह पूछना था कि अशोक चक्र कहां से लिया गया है। प्रिंसीपल- अब यह तो याद नहीं हैं किसी मंदिर का नाम तो लिया जाता है मुझे ध्यान नहीं आ रहा है। रिपोर्टर- सर ये तो बता सकते हैं कि सबसे बड़ा लिखित संविधान किस देश का है। प्रिंसीपल- अरे याद नहीं है। हम तो इंग्लिश के बारे में ज्यादा बता सकते हैं क्योंकि इंग्लिश से जो पढ़े हैं। आलाधिकारी और शहर के मेयर भी फेल बीएसए से सवाल रिपोर्टर- सर ये बता दीजिए कि यह हमारा कौन सा गणतंत्र दिवस है, कितने साल हो गए हैं संविधान को लागू हुए। बीएसए- अरे आप यह क्या सवाल कर रहे हैं यह तो कंफ्यूजन करता ही है। हर बार, कभी कोई एक साल घटाता है तो कभी बढ़ा देता है। रिपोर्टर- सर हमारे मौलिक अधिकारों के बारे में बता दीजिए। बीएसए- अरे आप ये सब हमसे क्यों पूछ रहे हैं। फोन कट। तो यह हैं शहर के मेयर के जवाब रिपोर्टर - सर हमारा अशोक चक्र क्या दर्शाता है। मेयर- अरे हमें तो इसके लिए अब किताबें पढनी होंगी एकदम से याद नहीं रहता ये तो राष्ट्र हित से जुडे़ सवाल हैं गलत बताना भी ठीक नहीं है। रिपोर्टर - सर ये तो बता सकते हैं हमारे मौलिक अधिकारों का कहां से इंस्पायर होकर लिखा गया है। मेयर- आप तो खुद ही हमसे ज्यादा ज्ञानी लोग हैं, हमसे ज्यादा तो आप लोगों को पता होगा। हमें इतना याद नहीं है। तो यह हैं हालात सिटी के बड़े स्कूल जहां पर नर्सरी क्लास में एडमिशन कराना तो दिल्ली यूनिवर्सिटी से भी ज्यादा मुश्किल हो जाता है। जो स्कूल एक छोटे से बच्चे को पहली कक्षा में दाखिला देने के लिए पेरेंट्स तक का टेस्ट ले डालते हैं, वह तो खुद ही सवालों के घेरे में खड़े हैं। उधर खुद को शिक्षा विभाग के आलाधिकारी कहने वाले बीएसए भी नॉलेज के मामले में फेल हैं। वहीं हमारे शहर के मुखिया मेयर ने भी सवालों का जवाब देने के लिए किताबों को पढ़ने की बात कह दी। नोट- आई नेक्स्ट के पास इस बातचीत का पूरा रिकॉर्ड सुरक्षित है।