भगवान से शुक्र मनाइए कि मेरठ के हॉस्पिटलों में लखनऊ के हजरतगंज स्थित लेवाना होटल जैसी आगजनी की घटना न होने पाए।

मेरठ (ब्यूरो)। दरअसल, अपडेट यह है कि बीते मंगलवार को शहर के कुछ अस्पतालों में अग्निशमन विभाग के अधिकारियों ने चेकिंग अभियान चलाया। जिसमें 30 फीसदी से ज्यादा अस्पतालों में भारी खामियां पाई गई। सूत्रों की मानें तो जांच में ये भी सामने आया कि ज्यादातर अस्पताल फायर एनओसी तो दूर, बिना रजिस्ट्रेशन के संचालित हो रहे हैैं। वहीं एक जागरूक नागरिक महताब अली ने ट्वीट कर डीएम से गली-मोहल्लों में संचालित हो रहे ऐसे अस्पतालों की जांच की मांग की है।

हापुड़ रोड अस्पतालों की मंडी
गौरतलब है कि अस्पतालों में हर आयु वर्ग के मरीजों को बेहतर और सुरक्षित इलाज मिले, इसके लिए शासन स्तर पर अस्पतालों के लिए कुछ मानक निर्धारित किए हुए हैं। यहां दर्जनों अस्पताल में एक्पर्ट डॉक्टर पैनल, मेडिकल स्टोर, आईसीयू, फायर एनओसी, पार्किंग, सीवरेज सिस्टम, कूड़ा निस्तारण आदि तक की व्यवस्था नहीं है। वहीं एक आरटीआई के अनुसार जनपद में 432 के करीब अस्पताल बिना फायर एनओसी संचालित हो रहे हैं। ऐसे में अस्पताल में हादसा हो जाए तो जिम्मेदार कौन होगा।

राम भरोसे मरीज
महताब अली ने हापुड़ रोड पर बने अवैध हॉस्पिटल की जांच की मांग डीएम से करते हुए ट्वीट किया है। हापुड अड्डे से लेकर बिजली बंबा चुंगी तक संचालित हो रहे अधिकतर हॉस्पिटलों के मानक पूरे नहीं हैं।

यह हैं अस्पताल के मानक
डिप्लोमा होल्डर फुल टाइम फार्मासिस्ट
10 बेड पर एक नर्सिंग सहायक
दो लैब टेक्निीशिन व लैब असिस्टेंट
कंसलटेंट डॉक्टर अलग-अलग बीमारी के लिए
ओटी स्टाफ फुल टाइम टेक्निकल
एनेस्थिीसिया, असिस्टेंट व टेक्नीशियन
रजिस्ट्रेशन रूम, रैंप, कॉरिडोर, डायग्नोटिक्स सेक्शन, ब्लड बैंक, ड्रग स्टोर
पार्किंग, फायर एनओसी, पॉल्यूशन एनओसी, मेडिकल वेस्ट डिस्पोजल सिस्टम

हापुड़ रोड पर अधिकतर अस्पताल के मरीजों की जान से खिलवाड़ कर रहे हैं। आए दिन अस्पतालों में मरीज की मौत के बाद हंगामा होता रहता है। जांच हो तो अस्पताल बंद हो जाएं।
रामकिशन

कुछ अस्पताल तो ऐसे हैं जिनमें डॉक्टर तक फर्जी है। नाम के आगे डॉक्टर लगा हुआ है लेकिन डिग्री नहीं है। जांच होगी तो पता चलेगा कि किसी अस्पताल में मानक पूरे नहीं हैैं।
फैयाज

फायर एनओसी, पार्किंग, स्टाफ यहां तक मेडिकल स्टोर तक के मानक पूरे नहीं हैं। यहां डॉक्टर से लेकर मेडिकल स्टाफ तक ट्रैंड नहीं है। जांच होनी जरुरी है।
हसीन

जहां-जहां नियमों का उल्लंघन मिला है। उनके भवन स्वामी और प्रबंधन को मानकों के अनुसार अग्निसुरक्षा व्यवस्था स्थापित कराकर दमकल विभाग की वेबसाइट पर आवेदन कर एनओसी लेने के लिए कहा है।
संतोष कुमार राय, सीएफओ

रिन्यूअल के बाद भी जिन हॉस्पिटल ने रजिस्ट्रेशन नहीं कराया था उनको दोबारा नोटिस भेजा जा चुका है। अब उन हॉस्पिटल्स पर एक्शन होगा। बिना एनओसी किसी भी अस्पताल का संचालन नहीं होने दिया जाएगा।
डॉ। अखिलेश मोहन, सीएमओ

Posted By: Inextlive