उत्तराखंड के बहुचर्चित स्कॉलरशिप घोटाले के मामले में पिछले दो वर्षों के फरार चल रहे एक आरोपी को स्पेशल टास्क फोर्स ने गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी हरिद्वार में अपने एक कॉलेज की आड़ में छात्रवृत्ति घोटाले में लिप्त था। आरोपियों की लिस्ट में नाम आने के बाद से वह फरार चल रहा था। एसटीएफ ने उसे मोहनी रोड दून से गिरफ्तार किया। उस पर पुलिस ने 15 हजार रुपये का इनाम घोषित किया था।

देहरादून ब्यूरो। 2019 में उत्तराखंड में छात्रवृृत्ति घोटाले ने सभी हैरान कर दिया था। यह घोटाला समाज कल्याण विभाग की ओर से अनुसूचित जाति और जनजाति के स्टूडेंट्स को दी जाने वाली छात्रवृत्ति का था। हल्द्वानी के एक वकील चंद्रशेखर करगेती और कुछ अन्य लोगों के प्रयास से यह मामला सामने आया था। आरोप है कि यह घोटाला समाज कल्याण विभाग के कुछ अधिकारियों के साथ मिलकर किया गया था। इसमें विभिन्न जिलों के कई कॉलेज शामिल थे। इस कॉलेजों के संचालक अपने कॉलेज में अनुसूचित जाति और जनजाति के फर्जी स्टूडेंट्स का एडमिशल दिखाकर यह घोटाला करते थे।

एसटीएफ ने की थी जांच
इस मामले में नैनीताल हाईकोर्ट के आदेश पर एक एसआईटी का गठन कर राज्य के विभिन्न जिलों के सभी कॉलेजों में छात्रवृृत्ति के घोटाले को लेकर बड़े पैमाने पर जांच शुरू कराई गई। एसआईटी की जांच में पता चला कि कई कॉलेजों ने फर्जी तरीके से छात्रवृत्ति हासिल कर गबन किया है। इसके बाद राज्य के कई जिलों में अनेक कॉलेजों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया। समाज कल्याण विभाग के अधिकारी और विभिन्न कॉलेजों के संचालकों सहित कई लोग गिरफ्तार किये गये।

राहुल विश्नाई भी था आरोपी
हरिद्वार जिले के थाना सिडकुल में भी वर्ष 2019 में एन पावर एकेडमी, रानीपुर मोड के डायरेक्ट राहुल विश्नोई के खिलाफ छात्रवृत्ति घोटाले के मामले में एक मुकदमा दर्ज किया गया। मुकदमा दर्ज होने के साथ ही आरोपीराहुल विश्नोई पुत्र केके विश्नोई निवासी 546 आवास विकास ऋषिकेश फरार हो गया। पुलिस उसे पिछले दो वर्ष से तलाश रही थी, लेकिन वह हत्थे नहीं चढ़ रहा था। पुलिस ने उस पर 15 हजार रुपये इनाम की भी घोषणा की थी।

25 लाख का गबन
अब तक हुई जांच के अनुसार एन पावर एकेडमी ने करीब 25 लाख रुपये की छात्रवृत्ति राशि का गबन किया है। यह कॉलेज एमबीए, बीबीए, बीसीए और अन्य डिप्लोमा के पाठ्यक्रमों का संचालन करता था। कालेज मानव भारती सोलन हिमाचल प्रदेश से एफिलिएटेड था। कॉलेज इन कोर्सेज में बड़ी संख्या में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के छात्रों का एडमिशन भी दिखाता था, जबकि वास्तव में ये छात्र कॉलेज में होते ही नहीं थी। इस छात्रों को दी जाने वाली छात्रवृत्ति कॉलेज मैनेजमेंट ले लेता था। एसटीएफ ने आखिरकार कॉलेज के डायरेक्टर राहुल विश्नोई को मोहनी रोड देहरादून से गिरफ्तार करने में सफलता हासिल कर ली।

Posted By: Inextlive