कानपुर (इंटरनेट डेस्क)। Union Budget 2023 : देेश की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बजट 2023 आगामी 1 फरवरी को सुबह 11 बजे संसद में पेश करने के लिए तैयार हैं। वित्त मंत्री इस साल भी पेपरलेस मोड में ही बजट पेश करेंगी। सबसे पहले साल 2021 का बजट टैबलेट से पेश किया। यह डिजिटल इंडिया का प्रतीक था। इससे पहले यह बजट पारंपरिक बही-खाते के रूप में पेश किया जाता था। बजट पेश करने की परंपरा भी समय के साथ बदलती गयी। इतिहास पर नजर डाले तो कभी यही बजट चमड़े के ब्रीफकेस में पेश होता था। इसके बाद बही-खाते ने इसकी जगह ली।

ब्रीफकेस से बही-खाता तक
अंग्रेजों के जमाने से शुरू चमड़े के ब्रीफकेस में बजट पेश किए जाने की परंपरा लंबे समय तक चली। हालांकि 1947 से चली आ रही इस परंपरा को मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल 2019 में एक नया रूप दिया गया। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ब्रीफकेस की जगह लाल कपड़े में लिपटा बही-खाता लेकर संसद पहुंची। इस बड़े बदलाव को लेकर उन्होंने कहा कि देश का बजट दरअसल देश का बही-खाता होता है। इसलिए बजट को बही-खाते के रूप में पेश किया जा रहा है। बही-खाते में लेन-देन के रिकॉर्ड को मैन्‍युअली रखा जाता है।

समय के साथ बदला बजट
1999 से पहले, भारत का केंद्रीय बजट शाम को लगभग 5 बजे पेश किया जाता था। पहले ब्रिटिश शासन था और ब्रिटेन के संसदों के सदस्य आजादी से पहले भारत का बजट सुनते थे। इसलिए बजट का समय ब्रिटिश संसद के आधार पर तय किया गया था ताकि सांसद इसे आराम से सुन सकें। आजादी के बाद भी यह परंपरा लंबे समय तक चली। हालांकि 1999 में अटल बिहारी बाजपेयी के कार्यकाल में शाम को बजट पेश करने का पैटर्न बदल गया। तत्कालीन वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने सुबह 11 बजे बजट पेश करने की परंपरा शुरू की।

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