- तत्कालीन मुख्य सचिव के आदेश का पालन नहीं

- नगर निगम रिपोर्ट दबाने में जुटा

आगरा। शहर को साफ-सुथरा रखने के लिए चलाए गए अभियान का समय खत्म हो चुका है। प्रदेश के सबसे आला अधिकारी के फरमान के अनुसार अब रिएक्शन का टाइम है। लेकिन शहर की गंदगी के हालत जस के तस होने पर नगर निगम अधिकारी इस अभियान को कागजों में बेहतर दिखाकर खानापूर्ति में जुटे हैं।

तत्कालीन मुख्य सचिव दीपक सिंघल के आदेश पर 16 अगस्त से 15 सितंबर तक सफाई पर विशेष अभियान चलाकर क्लीन सिटी करना था। इसके बाद वार्डवार साफ और खराब वार्ड का चयन होना है। इसी के मुताबिक कार्रवाई तय करनी है। इस आदेश का असर शहर में कहीं नहीं दिखा। इस एक महीने में तीन महीने पहले नालियों से निकाला गया मलबा तक नहीं उठाया गया। इतना ही नहीं यहां कचरा और डाल दिया गया। ऐसे ही हालात शहर के चारों ओर हैं। लेकिन शासन को रिपोर्ट भेजने के लिए कागजों में सफाई दिखाने के लिए हर जोड़ तोड़ किए जा रहे हैं।

गंदगी तक नहीं उठी

बोदला बिजपुरी रोड के नालियों को साफ करके कचरा किनारे डाल दिया गया था। इसे सूखने के बाद उठाना था, लेकिन तीन-चार महीने बाद तक कचरा नहीं उठाया गया। हद यह है कि कचरा के ऊपर कचरा डाल दिया गया है। इससे रहवासी परेशान हैं। ऐसी ही हालात बल्केश्वर श्मशान घाट रोड के पास हैं। गंदगी चारों ओर फैली हुई है। कमोबेश यही हाल पूरे शहर का है।