आगरा: 5.30 करोड़ की लागत से शहर में अंडरग्राउंड डस्टबिंस लगाए जाएंगे। डलावघरों को हटाया जाएगा। पिछले दिनों हुई 15वें वित्त आयोग की मीटिंग इस प्रस्ताव को स्वीकृति दे दी गई। शहर के लिए जो प्रस्ताव तैयार किया गया है, उसमें अंडरग्राउंउ बिन्स, कूड़ा ट्रांसफर स्टेशन, कंपोस्ट प्लांट एवं रोड स्वीपिंग का कार्य किया जाएगा। तीन करोड़ की व्यवस्था से शहर में डोर- टू- डोर कूड़ा कलेक्शन मैकेनाइज्ड और मैनुअल स्वीपिंग की व्यवस्था की जाएगी।

ताजगंज एरिया से हटाए गए डलावघर

शहर में से डलावघरों को हटाने का काम पहले से ही किया जा रहा है। अभी तक ताजगंज क्षेत्र में ज्यादातर हटाए गए हैं। इसमें गीले-सूखे और बिल्डिंग मेटेरियल के अलग-अलग डलावघर हैं।

जोन का नाम डलावघरों की संया

लोहामंडी 50

छत्ता 52

हरीपर्वत 39

ताजगंज 25

नोट: इनके अलावा 7 डलावघर अन्य स्थानों पर थे। कुल 173 में से 38 को समाप्त कर दिया गया है।

जोन वाइज वार्ड

हरीपर्वत- 21 वार्ड

ताजगंज- 23 वार्ड

लोहामंडी- 26 वार्ड

छत्ता- 30 वार्ड

ये हैं शहर के ट्रांसफर स्टेशन

शहर में जमीन पर कूड़ा न पड़े रहे। इसके लिए 8 ट्रांसफर स्टेशन बनाए गए है। जहां पर डोर-टू- डोर कूड़ा कलेक्शन के बाद गीला एवं सूºा कूड़ा अलग-अलग रखे जाने की व्यवस्था की गई है।

ये हैं ट्रांसफर स्टेशन

जूता मंडी के पास राजनगर लोहामंडी-

पुरानी मंडी चौराहे के पास ताजगंज

ताजमहल के पूर्वी गेट के पास ताजगंज

संजय प्लेस स्थित सीडल्यूआर के सामने

ट्रांसपोर्ट नगर स्थित आईएसबीटी के पीछे

डिवाइस से हो सके गी मॉनीटरिंग

स्मार्ट सिटी के तहत शुरू की गई आरएफआईडी (रेडियो फ्रीक्वेंसी आईडेंटिफिकेशन डिवाइस) से डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन में फर्जीवाड़े को रोका जा सकेगा। हालांकि पिछले महीने में इनके सॉप्टवेयर में दिक्कत आ गई थी। स्मार्ट सिटी द्वारा इनको सही करवाकर सभी सेनेटरी इंस्पेक्टर को मुहैया कराया गया है। वहीं, गलियों में कचरा कलेक्शन के लिए रिक्शा मुहैया कराए गए हैं।

तंग गलियों के लिए रिक्शा मुहैया करा दिए हैं। इनमें तीन प्रकार के डस्टबिन भी रखवा दिए हैं। इनमें गीले-सूखे कूड़े का कलेक्शन किया जा सकेगा। इसकी रोज रिपोर्ट ली जा रही है।

निखिल टीकाराम फुंडे, नगर आयुक्त