प्रयागराज ब्यूरो । कलेक्ट्रेट मुख्य कोषागार से जुड़े हजारों पेंशनर्स के लिए राहत भरी खबर है। इस बार उन्हें जीवित प्रमाण पत्र जमा कराने के लिए लंबी लाइन नहीं लगानी होगी। इसके लिए कोषागार में हर कैटेगरी के लिए अलग अलग पटल बनाए गए हैं। जिससे बिना अपनी बारी का इंतजार किए फटाफट जीवित प्रमाण पत्र जमा कराया जा सकेगा। बता दें कि साल में एक बार देना होता है पेंशनर्स को यह प्रमाण पत्र।

20 दिसंबर तक चलेगी प्रक्रिया

पेंशनर्स के लिए जीवित प्रमाण पत्र जमा कराने की प्रक्रिया एक नवंबर से शुरू होकर बीस दिसंबर तक चलेगी। पेंशनर चाहें तो साल में कभी भी अपना जीवित प्रमाण पत्र दे सकते हैं। हालंाकि जिनका प्रमाण पत्र नवंबर-दिसंबर में जमा कराना अपेक्षित है उनके लिए यह सुविधा दी गई है। बता दें कि कलेक्ट्रेट कोषागार से 45 हजार से अधिक पेंशनर जुड़े हैं। जिनमें से 90 फीसदी से अधिक का प्रमाण पत्र नवंबर दिसंबर में जमा कराया जाना है।

किस पटल में कौन जमा करा सकेगा प्रमाण पत्र

पटल एक- समस्या दिव्यांग व अशक्त पेंशनर

पटल दो- महिला पेंशनर

पटल तीन- बेसिक शिक्षा पेंशनर

पटल चार- माध्यमिक शिक्षा पेंशनर

पटल पांच- सिविल व उच्च शिक्षा पेंशनर

पटल छह- सिविल पेंशनर

पटल सात- सिविल पेंशनर

पटल आठ- अन्य राज्य व रेलवे व राजनीतिक पेंशनर

पटल नौ- पुलिस विभाग

पटल दस- बिजली विभाग

पटल 11- विधायक पेंशन, न्यायिक पेंशन, अखिल भारतीय सेवा के पेंशनर

इनमें से एक अभिलेख साथ लाना जरूरी

- पेंशनर परिचय पत्र

- फोटोयुक्त पेंशन भुगतान आदेश

- आधार कार्ड

- वोटर आईडी कार्ड

- बैंक पासबुक जिसमें बैंक मैनेजर द्वारा प्रमाणित फोटोग्राफ लगी हो

ये हैं प्रमाण पत्र जमा कराने के आप्शन

- जिस बैंक में खाता है उसके मैनेजर को पेंशनर जीवित प्रमाण पत्र दे सकते हैं। वह सीधे इसे कोषागार को उपलब्ध कराएंगे।

- पेंशनर निजी स्मार्ट फोन, कम्प्यूटर इंटरनेट बायोमेट्रिक डिवाइसज के माध्यम से जनरेट, रेमिट कर अथवा अपने निकटस्थ जनसुविधा केंद्र, साइबर कैफे जाकर जीवित प्रमाण पत्र उपलब्ध करा सकते हैं। इसके अलावा एरिया के पोस्टमैन, ग्रामीण डाक सेवक को घर बुलाकर अपना डिजिटल जीवन प्रमाण पत्र कोषागार को आूनलाइन पोर्टल पर उपलब्ध करा सकते हैं।

इन बातों का रखना होगा ख्याल

जीवित प्रमाण पत्र भरते समय बैंक का नाम, शाखा का नाम, बैंक खाता संख्या सही सही भरा जाए। पेंशनर किसी को भी मोबाइल नंबर पर अपना पेंशन या बैंक खाता विवरण या ओटीपी न बताएं। ऐसा करने से उनको आर्थिक नुकसान का सामना करना पड़ सकता है। नए पेंशनर या पारिवारिक पेंशनर जिनकी पेंशन प्रारंभ हुए साल भर नही हुआ है, उनको जीवित प्रमाण पत्र साल बीतने जिस माह पेंशन प्रारंभ हुई है। उसी माह में जीवित प्रमाण पत्र जमा कराना होगा।

जीवित प्रमाण जमा कराने के लिए पेंशनर्स को तमाम सुविधा उपलब्ध है। वह चाहे तो कोषागार में आकर जमा कराएं या अन्य विकल्प के जरिए अपना जीवित प्रमाण पत्र उपलब्ध करा सकते हैं। निश्चित समय सीमा में जमा कराने से उनकी पेंशन में कोई बाधा नही आएगी।

प्रत्यूष कुमार, मुख्य कोषाधिकारी प्रयागराज