प्रयागराज ब्यूरो । नवरात्र चल रहा है। दुर्गा पूजा करिए। भंडारा कीजिए। मगर दुर्गा पूजा पांडालों में आग से बचाव का इंतजाम भी रखिए। वरना सख्त कार्रवाई होगी। यह चेतावनी फायर ब्रिगेड दुर्गा पूजा कमेटियों को दे रहा है। फायर ब्रिगेड ने दुर्गा पूजा पांडालों में चेकिंग अभियान शुरू कर दिया है। जिन पांडालों में आग से बचाव के उपाय में कमी पाई जा रही है वहां पर इंतजाम को लेकर सलाह दी जा रही है। वहीं पांच बड़ी दुर्गा पूजा कमेटियों को नोटिस देने की भी तैयारी है।
पांच सौ से अधिक हैं पूजा पांडाल
पूरे जिले में पांच सौ से अधिक दुर्गा पूजा पांडाल हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में गनीमत है। क्योंकि वहां पर पर्याप्त जगह है। ऐसे में ग्रामीण इलाकों में फायर ब्रिगेड ज्यादा सख्ती नहीं बरत रहा है मगर ग्रामीण इलाके के प्रमुख बाजारों और शहरी क्षेत्र में फायर ब्रिगेड कोई चूक नहीं चाहता है। जिसकी वजह से लगभग सभी पांडालों का निरीक्षण किया जा रहा है। सीएफओ आरके पांडेय ने इसके लिए जिला स्तर पर आठ टीमें बनाई हैं। जोकि दुर्गा पूजा पांडालों का निरीक्षण कर रही हैं। सीएफओ ने अग्निशमन अधिकारी, प्रभारी अग्नि शमन केंद्र सिविल लाइंस, सोरांव, हंडिया, नैनी, मेजा, बारा, कोरांव और फूलपुर को पत्र भेजकर निरीक्षण आख्या तलब की है। वहीं, शहरी क्षेत्र में दस प्रमुख दुर्गा पूजा पांडालों पर ज्यादा फोकस किया जा रहा है।

बनाए गए हैं ये मानक
- पांडाल तीन मीटर से कम ऊंचाई के न बनाए जाएं।
- पांडाल बनाने में सिन्थेटिक कपड़ों, रस्सी का इस्तेमाल न किया जाए।
- पांडाल के चारों तरफ साढ़े चार मीटर खुला स्थान रखा जाए।
- पांडाल बिजली लाइन के नीचे न लगाया जाए।
- बाहर निकलने का गेट पांच मीटर से ज्यादा का हो।
- सड़क से पांडाल की दूरी 45 मीटर से अधिक नहीं होनी चाहिए।
- बाहर निकलने के लिए दो गेट होने चाहिए।
- पांडाल में बिजली के तारों को पोर्सलीन कनेक्टर से जोड़ा जाए।
- निकास द्वारा पांच मीटर ऊंचा होना चाहिए।
- इमरजेंसी लाइट की व्यवस्था पांडाल में होनी चाहिए।
आतिशबाजी का इस्तेमाल पांडाल के निकट न किया जाए।
- पांडाल के पास पानी से भरा ड्रम रखा जाए।
- पांडाल में दो फायर इंस्टिंग्यूसर लगाया जाए।

दरभंगा पूजा पांडाल में हुई चेकिंग
दरभंगा कालोनी में सजने वाले दुर्गा पूजा पांडाल में हर वर्ष भारी भीड़ जुटती है। ऐसे में वहां पर आग से बचाव का इंतजाम देखने के लिए खुद सीएफओ आरके पांडेय पहुंचे। सीएफओ आरके पांडेय ने कमेटी के पदाधिकारियों को आग से बचाव के इंतजाम रखने की जानकारी दी। साथ ही पूछा आग से बचाव के लिए कमेटी ने क्या इंतजाम किया है।


500 से ज्यादा दुर्गा पूजा पांडाल बनते हैं जिले में
10 प्रमुख पूजा पांडाल हैं शहर में।
8 टीमें कर रही हैं दुर्गा पूजा पांडालों का निरीक्षण
3 मीटर से ऊंचा होना चाहिए पांडाल।
5 मीटर से ज्यादा चौड़ा हो निकास द्वार।
45 मीटर से ज्यादा दूर न हो पांडाल सड़क से।


दुर्गा पूजा पांडालों में भारी भीड़ जुटती है। इस दौरान आरती होती है। धूप दीप जलाए जाते हैं। जिसकी वजह से आग से हादसे का खतरा रहता है। ऐेसे में प्रीकासन लेकर कमेटियों को दुर्गा पूजा सम्पन्न करवाना है। फायर ब्रिगेड की टीमें लगातार निरीक्षण कर रही हैं। कमेटी के पदाधिकारियों को सावधानी रखने के लिए सुझाव दे रही हैं।
आरके पांडेय, सीएफओ