(बरेली ब्यूरो)। नगर में 35 हजार वाहन ऐसे हैं, जो अनफिट डिक्लेयर होने के बावजूद सडक़ पर फर्राटा भरते घूम रहे हैं। ऐसा तब है, जबकि इनका रजिस्ट्रेशन भी परिवहन विभाग द्वारा खत्म किया जा चुका है। विभाग की जानकारी में मामला होने के बावजूद इन वाहन स्वामियों पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही हैै। ऐसे में ये वाहन प्रदूषण के लिए भयंकर खतरा बन रहे हैं। इसके साथही अक्सर ये हादसों का भी कारण बन जाते हैं। अब शासन की ओर से स्क्रैप पॉलिसी लागू होने के बाद ऐसे वाहनों पर अंकुश लग सकेगा। लेकिन, विभाग अभी भी इसको लेकर गंभीर नजर नहीं आ रहा है।


उदासीन पड़ा विभाग
उम्र पूरी कर चुके वाहन अब सडक़ों पर फर्राटा नहीं भर सकेंगे। इसके लिए टेस्टिंग सेंटर के साथ स्क्रेप सेंटर भी खोले जाने हैं। आपकी बाइक या कार की उम्र अगर पूरी हो चुकी है और वह टेस्टिंग में फेल हो जाती है तो उसे अनफिट डिक्लेयर कर स्क्रेप सेंटर भेज दिया जाएगा। चेकिंग दस्ते ऐसे अनफिट एवं खटारा वाहनों को जब्त कर स्क्रेप सेंटर के हवाले करेंगे। अपने सिटी में 1,46,186 वाहन इस श्रेणी में आ चुके हैं। एक अप्रैल से इसकी प्रक्रिया स्टार्ट की जानी थी। लेकिन, परिवहन विभाग की उदासीनता की स्थिति यह है कि अब तक उनकी ओर से इसको लेकर कुछ भी गंभीरता नहीं दिखाई जा रही है। नगर में एक भी स्क्रैप सेंटर स्टार्ट नहीं हो सका है। इस पॉलिसी के अंतर्गत अब पेट्रोल के 15 साल पुराने और डीजल के 10 वर्ष पुराने वाहन बिना फिटनेस के सडक़ों पर नहीं दौड़ सकेंगे। ऐसे वाहन यदि रोड पर बिना फिटनेस चलते पकड़े गए तो प्रवर्तन दस्ते इन्हें अनफिट मानते हुए जब्त कर स्क्रेप सेंटर के हवाले कर देंगे। यहां पर मालिक पकड़ी गई गाडिय़ों को सौंप कर सर्टिफिकेट प्राप्त कर सकेंगे। उन्हें उनके वाहन की उचित कीमत भी मिलेगी। इस पॉलिसी के लागू होने से वाहन संबंधी अपराधों में भी कमी आएगी।


मिलेंगे कई लाभ
पुरानी गाड़ी को स्क्रैप कराने पर मिले सर्टिफिकेट को नई गाड़ी खरीदते समय दिखानेे पर रजिस्ट्रेशन के लिए पैसा नहीं देना होगा। साथ ही रोड टैक्स में भी कुछ छूट दी जाएगी। नई कार से मेंटेनेंस में बचत होगी और रोड एक्सीडेंट का खतरा टलेगा। इसके अलावा पुरानी गाडिय़ों से होने वाले प्रदूषण से भी मुक्ति मिलेगी।


यह है पॉलिसी
इस पॉलिसी के अंतर्गत कमर्शियल गाडिय़ों को 15 साल और प्राइवेट व्हीकल को 20 साल बाद कबाड़ घोषित किया जाएगा। नए नियम के चलते अब वाहन की उम्र देखकर ही नहीं बल्कि फिटनेस टेस्ट में अनफिट होने पर भी स्क्रेप डिक्लेयर किया जाएगा। इस पॉलिसी के तहत कार मालिकों को कैश तो मिलेगा ही, सरकार की तरफ से नई कार खरीदने पर सब्सिडी भी दी जाएगी।


ऐसे करना होगा आवेदन
इस पॉलिसी के लागू होने के बाद स्क्रेप डिक्लेयर हो चुके वाहन की कुल कीमत का छह परसेंट अमाउंट कैश दिया जाएगा। इसके अलावा एकसर्टिफिकेट उन्हें मिलेगा, जिसे दिखाकर वाहन खरीद पर टैक्स में भी फाइव परसेंट छूट मिलेगी। परिवहन विभाग के अनुसार लोग वाहन को स्क्रेप घोषित करने के लिए विभाग की वेबसाइट पर आवेदन कर सकेंगे।


पांच साल की मिलेगी छूट
आरटीओ (ई) दिनेश गुप्ता ने बताया कि पहले यह प्रॉसेस फस्र्ट अप्रैल से स्टार्ट होनी थी। लेकिन, कुछ लोगों की आपत्ति के कारण इसे आगे बढ़ा दिया गया है। उन लोगों का कहना था कि उनकी गाड़ी की आयु तो पूरी हो चुकी है किंतु वह अधिक न चल पाने के कारण पूरी तरह फिट कंडीशन में है। ऐसे में उसे कबाड़ घोषित नहीं किया जा सकता। इसको देखते हुए निर्णय लिया गया है कि अब टेेस्टिंग सेंटर भी खोले जाएंगे, जहां पर उनकी फिटनेस चैक की जाएगी। टेस्टिंग में फिट पाए जाने पर उनकी अवधि पांच वर्ष के लिए बढ़ा दी जाएगी। इसके लिए सिटी में दो एकड़़ जमीन पर यह सेंटर खोला जाना है, जिसकी तैयारी चल रही है।


फैक्ट एंड फिगर
08 लाख पंजीकृत वाहन हैं शहर में
1.46 लाख को स्क्रेप डिक्लेयर किया जाना है
35 हजार वाहनों का रजिस्ट्रेशन हो चुका है कैंसिल