-नगर आयुक्त ने टैक्स डिपार्टमेंट और हेल्थ डिपार्टमेंट से मांगी टैक्स न देने वालों की लिस्ट

- होटल्स और रेस्टोरेंट्स पर भी लाखों रुपए टैक्स पेंडिंग, नगर निगम अब कसेगा शिकंजा

बरेली : शहर में चल रहे निजी अस्पताल नगर निगम को संपत्ति कर नहीं चुका रहे हैं। इससे निगम को हर साल करोड़ों रुपये का नुकसान हो रहा है। मामले की जानकारी होने पर नगर आयुक्त ने टैक्स विभाग से सूची तलब की है। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग से भी सूची मांगने के निर्देश दिए हैं।

जारी किए डिमांड ऑर्डर

नगर निगम की सीमा में 234 से अधिक निजी अस्पताल हैं। इनमें से करीब 70 फीसद अस्पतालों से संपत्ति कर (हाउस टैक्स, वाटर टैक्स, सीवर टैक्स) निगम को नहीं मिल रहा है। इन अस्पतालों पर नगर निगम का सौ करोड़ रुपये से भी अधिक बकाया हो गया है। टैक्स विभाग ने बीते दिनों सभी सरकारी-गैर सरकारी विभागों की कुंडली बनाई। ऐसे भवनों को संशोधित बिल जारी करने के साथ ही डिमांड ऑर्डर भी जारी किए।

रिकवरी का बनाया प्लान

अब टैक्स विभाग ने शहर में चल रहे प्राइवेट अस्पतालों व नर्सिग होम पर शिकंजा करने की तैयारी की है। ऐसे भवनों की अलग से सूची बनाई जा रही है। किस भवन पर कितना बकाया है और कब से उस भवन से टैक्स नहीं मिला, इसकी विस्तृत रिपोर्ट बनाई जा रही है। इसके साथ ही होटल व रेस्टोरेंट पर भी निगम का लाखों रुपये बकाया है। उनसे भी टैक्स की रिकवरी को प्लान बनाया है।

कई अस्पतालों, नर्सिग होम, होटल, रेस्टोरेंट वालों ने टैक्स जमा नहीं किया है। उनकी सूची तैयार करवाई जा रही है। फिर बकाएदारों को नोटिस जारी किया जाएगा। उसके बाद अभियान चलाकर टैक्स की वसूली होगी। टैक्स की वसूली से शहर का विकास होगा।

सैमुअल पॉल एन, नगर आयुक्त