- दैनिक जागरण आई नेक्स्ट सर्वे में सामने आया सच

- पुरुषों ने माना 52 और महिलाओं ने 48 फीसदी माना सही

GORAKHPUR: शहर में बच्चों संग यौन शोषण करने वाले इंसान मेंटल डिसऑर्डर से पीडि़त होते हैं। दैनिक जागरण आई नेक्स्ट, रेडियो सिटी और परवरिश संस्था की तरफ से हुए एक्सक्लूसिव सर्वे में यह जानकारी सामने आई। शहर में किए गए सर्वे में लोगों ने बच्चों के साथ यौन शोषण करने वाले इंसान मेंटल डिसऑर्डर से पीडि़त होते हैं, के सवाल पर अपनी आधी-आधी राय दी। सभी लोगों ने 50-50 अंक दिए। जबकि पुरुष वर्ग ने 52 प्रतिशत सहमति और 48 फीसदी असहमति जताई। डिसऑर्डर के बारे में महिलाओं ने कहा कि सिर्फ 48 प्रतिशत आरोपित ही मेंटल डिसऑर्डर के पीडि़त होते हैं जबकि 52 फीसदी बिल्कुल दोषी नहीं पाए जाते हैं। मेल और फीमेल कटैगरी में महज चार फीसदी का अंतर है। जबकि ओवरऑल में 50-50 का रेश्यो साबित करता है कि आधे यौन शोषण करने वाले इंसान मेंटल डिसऑर्डर से पीडि़त होते हैं।