- मौसम बदलने से डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल के इमरजेंसी डिपार्टमेंट में बढ़े मरीज

GORAKHPUR:

मौसम का बदला मिजाज आमजन के लिए डैंजरस साबित हो रहा है। डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल की इमरजेंसी में इन दिनों वायरल फीवर के पेशेंट बढ़े हैं। इन पेशेंट में सांस फूलने की भी शिकायत है। इसके अतिरिक्त हार्ट पेशेंट, पैरालिसिस, उल्टी दस्त, वायरल फीवर, फूड प्वाइजनिंग, स्नैक बाइटिंग, एक्सीडेंटल आदि के पेशेंट बढ़े हैं। 9 जुलाई से इनकी संख्या एकाएक बढ़ गई है। इमरजेंसी पेशेंट्स को देखते हुए जिला अस्पताल प्रशासन ने तीनों शिफ्ट में डॉक्टर्स व फार्मासिस्ट की तैनाती बढ़ा दी है। इसके साथ ही एसआईसी ने निर्देशित किया है कि सीरियस पेशेंट्स को तत्काल प्रभाव से हायर सेंटर के लिए रेफर किया जाए।

9 जुलाई से बढ़े केस

डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल ओपीडी में जहां 1500-1600 मरीज इन दिनों दिखाने आ रहे हैं। वहीं, मौसम बदलने के साथ इमरजेंसी में सीरियस मरीजों को देखने वालों की संख्या बढ़ती जा रही है। दैनिक जागरण आईनेक्स्ट रिपोर्टर ने जब डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल के इमरजेंसी डिपार्टमेंट में पड़ताल की तो पता चला कि एक जुलाई से 11 जुलाई तक मरीजों की संख्या में काफी वृद्धि हुई है। 9 जुलाई के बाद वायरल फीवर के पेशेंट्स के साथ सर्दी, जुखाम, खांसी व सांस फूलने वाले रोगी बढ़ गए हैं। जो कोरोना की आशंका के मद्देनजर इमरजेंसी पहुंच रहे हैं।

और मौके पर नहीं हो रहा था कोविड टेस्ट (फोटो के साथ)

सीनियर फिजिशियन डॉ। बीके सुमन ने बताया, इन दिनों इमरजेंसी में पेशेंट की संख्या बढ़ी है। तीन शिफ्ट में मरीजों को देखा जा रहा है। इसके लिए तीन शिफ्ट में एक सीनियर डॉक्टर, एक फार्मासिस्ट, दो स्टाफ नर्स, दो वार्ड ब्वॉय व एक स्वीपर की तैनाती की गई है। चूंकि मरीजों की तादाद बढ़ रही है। ऐसे में कोरोना टेस्ट भी अनिवार्य है। लेकिन मौके पर जब रिपोर्टर ने इमरजेंसी डिपार्टमेंट के बाहर देखा तो मौके पर गार्ड नजर आया। लेकिन कोविड की जांच होती हुई नजर नहीं आई। जबकि दावा किया गया कि इमरजेंसी में आने वाले संदिग्ध मरीजों की कोविड जांच करवाई जाती है।

सूचना पट्ट पर जरूरी है नाम

एसआईसी डॉ। एसी श्रीवास्तव ने बताया कि इमरजेंसी में बढ़ते हुए मरीजों की संख्या को देखते हुए डॉक्टर, फार्मासिस्ट, स्टाफ नर्स, वार्ड ब्वॉय समेत मेडिकल स्टाफ की ड्यूटी के लिए शिफ्ट वाइज ड्यूटी चार्ट पर नाम अंकित करना अनिवार्य है।

इन डिपार्टमेंट में एडमिट हैं मरीज

इमरजेंसी वार्ड - 40

मेल आर्थो वार्ड - 40

फीमेल आर्थो वार्ड - 20

मेल वार्ड - 20

जनरल वार्ड - 20

मेल सर्जिकल वार्ड - 20

फीमेल सर्जिकल वार्ड - 20

पीडियाट्रिक्स वार्ड - 20

पीआईसीयू वार्ड - 20

चिल्ड्रेन वार्ड - 10

टिटनेस वार्ड - 20

बर्न वार्ड - 20

आई वार्ड - 20

आईसीसीयू वार्ड - 10

इमरजेंसी में आने वाले पेशेंट व रेफर केस

डेट इमरजेंसी मरीज रेफर केस

1 जुलाई - 78 - 20

2 जुलाई - 87 - 19

3 जुलाई - 81 - 10

4 जुलाई - 122 - 20

5 जुलाई - 97 - 21

6 जुलाई - 81 - 13

7 जुलाई - 61 - 05

8 जुलाई - 63 - 16

9 जुलाई - 100 - 21

10 जुलाई - 104 - 09

11 जुलाई - 100 - 10

वर्जन

जिला अस्पताल के इमरजेंसी डिपार्टमेंट में मरीजों की संख्या बढ़ी है। जो इमरजेंसी केस होते हैं, उन्हें डायग्नोस करने के बाद ही एडमिट किया जाता है। सीरियस ज्यादा होने पर उन्हें हायर सेंटर के लिए रेफर कर दिया जाता है। लगभग सभी वार्ड फुल भी हो रहे हैं।

डॉ। एसी श्रीवास्तव, एसआईसी, जिला अस्पताल