गोरखपुर (ब्यूरो)। मतदान कर्मियों को बूथों पर भेजने, पेट्रोलिंग पार्टी, मजिस्ट्रेट व पुलिस को वाहन उपलब्ध कराया जाना है। इसके लिए गोरखपुर के 9 विधानसभा में 844 से अधिक हल्के और भारी वाहनों को अधिग्रहित किया जा चुका है। अब चुनाव ड्यूटी से वाहन छुड़वाने के लिए वाहन मालिक वाहनों में तकनीकी खराबी का भी बहाना बना रहे हैं।

आरटीओ में आए 300 आवेदन

विधानसभा चुनाव मेंं आरटीओ की ओर से अधिग्रहित वाहनों को ड्यूटी से नाम कटवाने के लिए आरटीओ में आवेदन लेकर पहुंच रहे हैं। अब तक आरटीओ में बोलेरो, सूमो, जीप, मैजिक, मिनी बस को छुड़वाने के लिए करीब 300 से अधिक आवेदन आ चुके हैं। मालिक आरटीओ से वाहन मुक्त कराने के लिए सुबह से ही ऑफिस का चक्कर काट रहे हैं। इतना ही नहीं आवेदक वाहन में तकनीकी खराबी, बीमारी आदि का हवाले देकर इससे पीछा छुड़ाना चाहते हैं।

ऑफिस में वाहन मालिकों के आने का सिलसिला जारी

वाहन छुड़वाने के लिए आवेदन मेंं कारण भी बताए जा रहे हैं। अधिकांश लोग उनके परिवार के किसी न किसी सदस्य को बीमार होने और उसे अस्पताल ले जाने के लिए बोलेरो, जीप छुड़वाने का कारण बता रहे हैं।

विधानसभावार वाहनों की जरूरत

विधानसभा हल्के व भारी वाहनों की संख्या रिजर्व

कैंपियरगंज 101 02

पिपराइच 89 02

गोरखपुर शहर 97 00

गोरखपुर ग्रामीण 90 02

सहजनवां 89 00

खजनी 83 02

चौरीचौरा 88 02

बासगांव 117 02

चिल्लूपार 90 02

वर्जन

आवेदन लेकर पहुंचने वालों से कारण के बारे में पूछताछ की जा रही है। अधिकांश वाहन मालिकों से कहा गया है कि चुनाव के लिए किसी भी गाड़ी का अधिग्रहण किया जा सकता है। सभी की गाड़ी छोड़ दी जाएगी तो चुनाव के लिए गाड़ी कहां से लाएंगे। आवेदन करने वालों को सख्त लहजे में कहा गया है कि वह चुनाव ड्यूटी में अपने वाहन लगाएं।

श्यामलाल, एआरटीओ प्रशासन