कानपुर(ब्यूरो)। रेलवे दिव्यांगों की सुविधा को देखते हुए जल्द ही नई सुविधा शुरु करने जा रहा है। जल्द ही दिव्यांगों को रियायती रेल टिकट के लिए रेलवे से जारी किए जाने वाले कार्ड को बनवाने के लिए कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। वह घर बैठे या फिर किसी भी नजदीकी कैफे से ऑनलाइन रेल पास बनवा सकेंगे। उनको सिर्फ एक बार रेलवे अधिकारी के पास वैरीफिकेशन के लिए आना होगा। वो भी रेलवे अधिकारी के निर्धारित किए गए डेट के मुताबिक, नई सुविधा लागू होने के बाद दिव्यांगों को कार्यालय के चक्कर नहीं लगाना पड़ेगा।

घर बैठे ऑनलाइन रिन्युअल

रेलवे अधिकारियों के मुताबिक निर्धारित डॉक्टर की ओर से जारी हैंडीकैप्ड सर्टिफिकेट को देखकर रेलवे दिव्यांगों को एक पास जारी करता है। जिसको टिकट विंडो में दिखाकर वह रियायती टिकट आसानी से ले सकते हैं। रेलवे के बनाए गए कार्ड को हर साल रिन्युअल कराने का नियम है। जिसके लिए अभी लाभार्थी को स्टेशन स्थित निर्धारित कार्यालय आना पड़ता है। व्यवस्था ऑनलाइन होने के बाद लाभार्थी को कार्ड रिन्युअल कराने के लिए कार्यालय नहीं आना पड़ेगा। घर बैठे इसको रिन्युअल करा सकेगा।

25 से 75 परसेंट तक

रेलवे अधिकारियों के मुताबिक, आर्थोपेडिक रूप से व पैराप्लेजिक दिव्यांग जो बिना किसी सहयोग के यात्रा नहीं कर सकते है। वह मानसिक मंद व्यक्ति जो बिना किसी सहयोग के यात्रा नहीं कर सकते उनको सेकेंड एसी, स्लीपर, फस्र्ट क्लास व थर्ड एसी व एसी चेयर कार की टिकट में 75 परसेंट की छूट मिलती है। फस्र्ट व सेकेंड एसी में 50 परसेंट व राजधानी, शताब्दी की थर्ड एसी व एसी चेयर कार में 25 परसेंट, एमएसटी व क्यूएसटी में 50 परसेंट की छूट मिलती है। दिव्यांग पैसेंजर के सहयोगी को भी इतनी ही छूट दी जाएगी।

मूक-बधिर दिव्यांग को 50 परसेंट छूट

रेलवे अधिकारियों के मुताबिक मूक-बधिर दिव्यांग को स्लीपर, सेकेंड व फस्र्ट क्लास में 50 परसेंट की छूट मिलती है। वहीं एमएसटी व क्यूएसटी में भी 50 परसेंट की छूट मिलती है। दिव्यांग के साथ सहयोगी को भी रेलवे निर्धारित छूट देता है।

हजारों की संख्या में कानपुर में लाभार्थी

रेलवे अधिकारियों के मुताबिक कानपुर में 5 हजार से अधिक दिव्यांग लाभार्थी है। जिनका रेलवे के पास रजिस्ट्रेशन है। इसके अलावा डेली 5 से 6 नए दिव्यांग रेलवे के रियायती टिकट वाला पास बनवाने के लिए कानपुर सेंट्रल स्टेशन स्थित कामर्शियल डिपार्टमेंट कार्यालय आते हैं। नई सुविधा के शुरू होने से दिव्यांगों को ऑफिस आने की जरूरत नहीं पड़ेगी।

- 25 से 75 परसेंट तक दिव्यांगता पर छूट मिलती है

- 50 परसेंट की छूट मूक-बधिरों को देती है रेलवे

- 5 हजार से अधिक रजिस्ट्रेशन कानपुर में

- 5 से 6 दिव्यांग डेली रजिस्टे्रशन के लिए आते हैं

दिव्यांग पैसेंजर्स की सहूलियत के लिए रेलवे इस सुविधा को ऑनलाइन करने की तैयारी कर रहा है। जिससे घर बैठे-बैठे रियायती टिकट के लिए पास बनवा सकेंगे।

- अमित सिंह, पीआरओ, प्रयागराज डिवीजन