जीआईसी में कोठार प्रभारी प्यून का काम करने को विवश

डीएचएई अंधेरे कमरे में नमूने की कापियां जांचते रहे

KANPUR: गवर्नमेंट इंटर कॉलेज चुन्नीगंज में बुधवार को बोर्ड मूल्यांकन में पूरा सिस्टम ध्वस्त हो गया। कोठार प्रभारी टीचर प्यून की भूमिका निभा रहे थे। किसी भी कोठार में प्यून नहीं उपलब्ध नहीं था। बिजली व पानी और सफाई का प्रॉपर अरेजमेंट नहीं किया गया था। काफी परीक्षक बाहर बैठकर अरेजमेंट होने का इंतजार करते रहे। ज्यादातर मूल्यांकन केंद्रों में 35 परसेंट परीक्षक व डीएचई पहुंचे।

वेतन रोका जाएगा

जिला विद्यालय निरीक्षक मुहम्मद इब्राहिम ने बताया, पांच सेंटरों पर मूल्यांकन शुरू हो गया है, लेकिन डीएचई (डिप्टी हेड एग्जामनर) व एग्जामनर की अटेंडेंस काफी कम रही है। सेंटरों पर 35 परसेंट डीएचई पहुंचे हैं। गुरुवार तक बोर्ड से तैनात परीक्षक व डीएचई नहीं पहुंचे तो उनका वेतन रोक दिया जाएगा। जीआईसी में स्टाफ की कमी है जिसकी वजह से थोड़ी सी दिक्कत हुई है। गुरुवार से पूरा सिस्टम सही हो जाएगा।

डीएचई व परीक्षक नहीं आए

जीआईसी में अंधेरे कमरे में जीव विज्ञान की कॉपी चेक कर रहे डीएचई ने कहा, रूम में गंदगी बहुत है। इसके अलावा पानी की भी व्यवस्था नहीं है। बाल विद्यालय के प्रिंसिपल मनोज शुक्ला ने बताया, पहले दिन 66 में 27 डीएचई आए हैं। हालांकि परीक्षक करीब दो सौ से ज्यादा पहुंच गए। हिन्दी, मैथ व कम्प्यूटर का मूल्यांकन शुरू करा दिया गया। हरजेन्दर नगर इंटर कॉलेज, डीएवी इंटर कॉलेज, हरसहाय जगदम्बा सहाय कॉलेज में पहले दिन डीएचई व परीक्षक की उपस्थिति काफी कम रही।