कानपुर (ब्यूरो) पार्षद प्रत्याशियों ने भी आखिरी दिन पूरी ताकत झोकते हुए धुआंधार प्रचार किया। कई प्रत्याशियों ने जूलूस निकालकर ताकत दिखाई। ज्यादातर प्रत्याशियों ने समर्थकों के साथ लाउडस्पीकर के साथ जुलूस निकाले और गली-गली घूमे। इसी वजह से गाडिय़ों की स्पीड पर ब्रेक लगा रहा। सफाई के नाम पर वोट मांगने वाले प्रत्याशियों ने जमकर चुनावी पम्फलेट और पर्चे उड़ाए। जिससे सडक़े पट गईं। वहीं इलेक्शन कमीशन की गाइडलाइंस के मुताबिक चुनाव प्रचार की सीमा खत्म हो जाने के बाद प्रत्याशियों के कार्यालयों में वोटर स्लिप बनाने का काम शुरू हो गया। वोटर स्लिप देने के बहाने प्रत्याशी और उनके समर्थक वोट मांगते रहे।

864 कैंडीडेट मैदान में
पिछले महीने 17 अप्रैल को नगर निगम इलेक्शन में महापौर व पार्षद प्रत्याशियों के नॉमिनेशन का सिलसिला शुरू हुआ था, जो 24 अप्रैल तक चला था। नामिनेशन फॉर्म की जांच और नाम वापसी के बाद 110 वार्डो के लिए 851 पार्षद प्रत्याशी और महापौर पद के लिए 13 प्रत्याशी चुनावी मैदान में बचे थे। हालांकि चुनाव लडऩे की तैयारी कर चुके पार्षद प्रत्याशियों ने नामिनेशन से पहले ही जनसम्पर्क शुरू कर दिया था।

वोटर्स को निकालने पर जोर
समर्थकों के साथ-साथ घर-घर जाकर प्रचार में जुट गए थे। इनमें ज्यादातर निर्दलीय प्रत्याशी थे। वहीं राजनीतिक दलों के प्रत्याशी घोषित करने और उनके नामिनेशन कराने के बाद प्रचार का सिलसिला और बढ़ गया था। प्रत्याशियों ने चुनाव कार्यालय खोले, लाउड स्पीकर लगाकर चुनाव प्रचार शुरू कर दिया। इसी तरह ई रिक्शा, ऑटो, टेम्पों और लोडर में भी लाउडस्पीकर रखकर गानों, चुनावी नारों के जरिए प्रचार व वोट मांगने का सिलसिला शुरू हो गया था। चुनाव प्रचार खत्म होने के बाद अब प्रत्याशियों का सारा फोकस ज्यादा से ज्यादा वोटर्स को पोलिंग बूथ पहुंचाने पर है।