- यूपी मेडिकल सप्लाईज कार्पोरेशन ने सुशांत गोल्फ सिटी थाने में अज्ञात पर कराई एफआईआर

- कूटरचित दस्तावेजों के जरिए नौ करोड़ 62 लाख 90 हजार 726 रुपये की धोखाधड़ी

LUCKNOW:

राजधानी में पीपीई किट खरीद में फर्जीवाड़ा उजागर हुआ है। यूपी मेडिकल सप्लाईज कार्पोरेशन लिमिटेड के नाम का दुरुपयोग कर जालसाजों ने कूटरचित दस्तावेजों के जरिए नौ करोड़ 62 लाख 90 हजार 726 रुपये की धोखाधड़ी की है। कार्पोरेशन की ओर से सुशांत गोल्फ सिटी थाने में अज्ञात के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है।

बीते फरवरी में शिकायत

पानीपत के मेसर्स महादेव एक्सपोर्ट के प्रतिनिधि ने आठ फरवरी को गोमतीनगर पुलिस से शिकायत की थी। कंपनी का कहना था कि कार्पोरेशन के लेटर हेड व अधिकारियों के हस्ताक्षर से पीपीई किट की मांग की गई थी। गोमती नगर पुलिस ने कंपनी की ओर से उपलब्ध कराए गए दस्तावेज की जांच के लिए कार्पोरेशन से संपर्क किया। इस पर सामने आया कि आपूर्ति क्रय के आदेश पर महाप्रबंधक का साइन हैं, जो कार्पोरेशन के अस्तित्व में ही नहीं है। जालसाजों ने ई-मेल आईडी में भी फेरबदल किया था। छानबीन में पता चला कि फर्म ने निगम की ओर से निकाले गए एक टेंडर में प्रतिभाग किया था। हालांकि तकनीकी कारणों से फर्म पहले चरण में ही निविदा से बाहर हो गई थी।

पीजीआई रोड पर नहीं था कोई वेयर हाउस

फर्म की ओर से प्रस्तुत दस्तावेज से पता चला कि पीपीई किट सप्लाई सीएचसी गोमतीनगर, आरएमएलआइएमएस विभूतिखंड, यूपी एमएससीएम वेयर हाउस रायबरेली रोड एसजीपीजीआई वेयर हाउस के पास की गई है। जांच में पता चला कि पीपीई किट की सप्लाई सीधे किसी चिकित्सा इकाई को नहीं की जाती है। यही नहीं, पीजीआई रोड पर कार्पोरेशन का कोई वेयर हाउस ही नहीं है। जालसाजों ने जिन स्थानों पर पीपीई किट मंगवाई थी, उनके पते फर्जी मिले। कार्पोरेशन का आरोप है कि उनकी छवि खराब करने और गलत ढंग से रुपये कमाने के लिए किसी गिरोह ने फर्जीवाड़ा किया है। कार्पोरेशन की ओर से डीसीपी दक्षिणी को शिकायत पत्र देकर कार्रवाई की मांग की गई। इसके बाद शनिवार को पुलिस ने एफआईआर दर्ज की। पुलिस पूरे मामले की पड़ताल कर रही है।