इस बार टूट सकता है रिकॉर्ड
वेटलिफ्टर कर्णम मल्लेश्वरी ओलम्पिक में पदक हासिल करने वाली पहली और अब तक की एकमात्र भारतीय महिला खिलाड़ी हैं। उनके बाद से कोई महिला खिलाड़ी ने ओलम्पिक में पदक नहीं जीत सकी। इस बार लंदन ओलम्पिक में यह रिकार्ड टूट सकता है। लंदन ओलम्पिक में जगह बनाने वाली एथलीट सुधा सिंह और वेटलिफ्टर सोनिया चानू के कोचेस का तो यही कहना है।

बहुत मेहनत की है
इंडिया एथलेटिक्स कोच जेएस भाटिया ने बताया कि सुधा ने जिस तरह से तैयारी की है और उसका प्रदर्शन लगातार चल रहा है, उसके अनुसार इस बार उसका ओलम्पिक में मेडल पक्का है। कीनिया में लगे कैम्प का भी उसे फायदा मिला है। ओलम्पिक से पहले उसने दो इंटरनेशनल लेवल की प्रतियोगिताओं में हिस्सा लिया जहां उसका टाइमिंग में काफी सुधार दिखा।
ओलम्पिक के लिए जो टाइम उसे चाहिए, वह टाइम अब उसके लिए आसान हो गया है। इसी आधार पर मैं यह कह सकता हूं कि ओलम्पिक में मेडल लाने से उसे कोई नहीं रोक सकता। इस मंजिल तक पहुचंने के लिए उसने खासी मेहनत की है। निश्चित रुप से ओलम्पिक में मुकाबला आसान नहीं होगा। लेकिन इंडिया के लिए इस बार सुधा मेडल लाकर यहां महिला वर्ग में ओलम्पिक में सूखे को खत्म कर देंगी।

सबको इंतजार है
वहीं वेटलिफ्टर सोनिया चानू के पूर्व कोच रहे जीपी शर्मा ने बताया कि कर्णम मल्लेश्वरी का रिकार्ड सोनिया चानू तोड़ सकती है। दिल्ली में हुए कॉमनवेल्थ गेम्स में भी सोनिया चानू का सिल्वर मेडल रहा है। ओलम्पिक के लिए उसने खासी तैयारी कर रखी है। कैम्प ना होने पर भी उसने लखनऊ में भी अपनी प्रैक्टिस नहीं छोड़ी। साई की इस खिलाड़ी ने स्पोट्र्स कॉलेज स्थित वेटलिफ्टिंग सेंटर से कॅरियर की शुुरुआत की है। हम सभी को उसकी कामयाबी का बेताबी से इंतजार है।