लखनऊ (ब्यूरो) । केजीएमयू के रेस्पिरेट्री मेडिसिन विभागाध्यक्ष और पोस्ट कोविड ओपीडी के इंचार्ज डॉ। सूर्यकांत के मुताबिक कोरोना काल में जिनका ऑक्सीजन लेवल 94 से नीचे रहा हो, उनको हैवी जिम, हैवी एक्सरसाइज या फिर शंख आदि बजाने से बचने की सलाह दी जा रही है। ऐसे लोगों के कोरोना के चलते फेफड़े कमजोर हो चुके हैं और उन्हें रिवाइव होने में अभी समय लगेगा। ऐसे लोग अगर ज्यादा हैवी ब्रीथिंग एक्सरसाइज करते हैं तो उनके फेफड़े फटने का खतरा बना रहता है। हाल में ही यहां एक ऐसा मरीज गंभीर हालत में आया था, जिसे काफी प्रयासों के बाद बचाया जा सका।

उम्र 40 से अधिक तो रखें ध्यान

डॉ सूर्यकांत ने बताया कि यहां कोविड ओपीडी में ऐसे कई मामले आ रहे हैं। सभी को हैवी एक्सरसाइज करने, शंख बजाने आदि से बचने की सलाह दी जा रही है। उनसे कहा जा रहा है कि वे हल्का योग और प्राणायम ही करें। फेफड़ों की क्षमता से अधिक कोई कार्य न करें। इन चीजों से उन लोगों को अधिक बचने की जरूरत है, जिनकी उम्र 40 वर्ष से अधिक है।

एक-तिहाई एलविओलाई बंद

डॉ सूर्यकांत ने बताया कि लंग्स के सबसे छोटे यूनिट को एलविओलाई कहते हैं जो एक अंगूर के गुच्छे की तरह होता है लेकिन एक-तिहाई एलविओलाई बंद रहते हैं। ऐसे में अगर हम शुरुआत से प्राणायाम, भागदौड़ और एक्सरसाइज नहीं करते हैं तो यह कभी खुलते ही नहीं है। ऐसे में जब कोई बीमार पड़ता है तब इनकी जरूरत होती है। वहीं नॉ-एक्टिव होने के कारण यह पूरी तरह से खुले ही नहीं है। ऐसे में समस्या बढ़ जाती है। इसीलिए शुरुआती दौर में इनको खोलने के लिए प्राणायाम और शंख बजाने आदि के कहा जाता रहा है। इससे सांस की मसल्स का स्टेमिना बढ़ता है।

कोरोना के दौरान जिनका ऑक्सीजन लेवल 94 से नीचे रहा हो, उनको हैवी जिम, हैवी एक्सरसाइज या फिर शंख बजाने से बचना चाहिए। ऐसा करने से फेफड़े फटने की आशंका बढ़ जाती है।

डॉ सूर्यकांत, इंचार्ज पोस्ट कोविड ओपीडी