- जिनके बच्चे दूसरे शहरों में, ऐसे पैरेंट्स उनकी हेल्थ को लेकर खासे चिंतित

- दिन में तीन से चार बार कॉल करके ले रहे हेल्थ संबंधी जानकारी

दिन में तीन बार कर रहे कॉल

इंदिरानगर निवासी सतीश का बेटा पुणे में एक कंपनी में जॉब करता है। जब से लखनऊ में कोरोना केस बढ़े हैं, सतीश अपने बेटे की हेल्थ को लेकर खासे चिंतित हैं। वह दिन में दो से तीन बार उसे कॉल करके हालचाल लेते रहते हैं। साथ ही गर्म पानी पीने इत्यादि की जानकारी भी देते रहते हैं।

बेटियों का ले रहे हालचाल

आलमबाग निवासी अखिलेश की दो बेटियां मुंबई में रहकर पढ़ाई कर रही हैं। कोरोना के चलते वे घर नहीं आ पा रही हैं। ऐसे में नरेंद्र को खासी टेंशन है और वह भी दिन में कई बार कॉल करके दोनों बेटियों का हालचाल लेते रहते हैं।

कोरोना केस को देखते हुए हो रही चिंता

इंदिरानगर निवासी नरेंद्र का भाई मुंबई में जॉब करता है। चार दिन पहले ही वह लखनऊ से मुंबई गया है। कोरोना केसेस को देखते हुए नरेंद्र भाई की सेहत को लेकर खासे चिंतित रहते हैं और दिन में दो बार वीडियो कॉल करके उसका हालचाल लेते रहते हैं।

LUCKNOW: यह तो महज एक उदाहरण है, लेकिन हकीकत यह है कि ऐसे पैरेंट्स जिनके बच्चे दूसरे शहरों में हैं वे खासे परेशान हैं। उन्हें हर पल अपने बच्चों की सेहत की चिंता सता रही है। पैरेंट्स की ओर से दिन में कई कई बार कॉल करके बच्चों का हालचाल लिया जा रहा है। पैरेंट्स की ओर से बच्चों को कोविड से बचाव संबंधी जानकारियां भी दी जा रही है, जिससे उनके बच्चे कोविड के संक्रमण से खुद को सेफ रख सकें।

बाहर का कुछ मत खाना

पैरेंट्स की ओर से अपने बच्चों से अपील की जा रही है कि बाहर का कुछ भी मत खाएं। जैसे भी हो, घर में ही खाना बनाकर खाएं। साथ ही जरा सी तबीयत खराब होने पर तुरंत डॉक्टर्स से संपर्क करें।

कर रहे हैं वीडियो कॉल

पैरेंट्स की ओर से दिन में कम से कम एक बार अपने बच्चों को वीडियो कॉल की जा रही है, जिससे वह देख सकें कि उनका बच्चा अपनी हेल्थ को लेकर कोई बात तो नहीं छुपा रहा है जबकि कई पैरेंट्स ऐसे भी हैं, जो खुद ही बच्चों के पास पहुंच गए हैं और उनके साथ रहकर उनका ध्यान रख रहे हैं।

बच्चे भी ले रहे हालचाल

दूसरे शहरों में रह रहे बच्चे भी अपने पैरेंट्स का लगातार हालचाल ले रहे हैं। बच्चों की ओर से पैंरेट्स को कोविड से बचाव संबंधी जानकारियां भी दी जा रही हैं। खासतौर पर वो बच्चे ज्यादा परेशान हैं, जिनके पैरेंट्स बुजुर्ग हैं और राजधानी में अकेले रह रहे हैं।