लखनऊ (ब्यूरो)। डॉ। एपीजे अब्दुल कलाम टेक्निकल यूनिवर्सिटी में मंगलवार को टे्रनिंग एंड प्लेसमेंट विभाग की ओर से कुलपति प्रोफेसर जेपी पांडे की अध्यक्षता में टीपीओ संवाद कार्यक्रम हुआ। कार्यक्रम में विवि के संबद्ध संस्थानों के ट्रेनिंग एंड प्लेसमेंट ऑफिसर शामिल हुए। इसमें छात्रों को अधिक से अधिक प्लेसमेंट कराने और उनके प्रशिक्षण को लेकर मंथन किया गया। इस मौके पर बतौर मुख्य अतिथि प्राविधिक शिक्षा मंत्री आशीष पटेल ने मेंटर एंड मेंटी पोर्टल और ट्रेनिंग कोर्सेस पोर्टल लांच किया। साथ ही उनकी मौजूदगी में चार बड़ी कंपनियों से एमओयू किया गया। उन्होंने मेगा जॉब फेयर और एचआर कॉन्क्लेव को लांच किया। इस मौके पर मंत्री आशीष पटेल ने कहा कि हमें समय के साथ खुद में बदलाव लाते रहना चाहिए। जरूरी है कि छात्रों को इंडस्ट्री की मांग के अनुसार तैयार किया जाए। सरकार जल्द ही वर्किंग प्रोफेशनल के लिए बीटेक डिग्री कोर्स शुरू करने जा रही है।

स्किल डेवलप करने पर जोर

कार्यक्रममें बतौर विशिष्ट अतिथि प्रमुख सचिव प्राविधिक शिक्षा एम देवराज ने कहा कि छात्रों को अधिक से अधिक स्किल डेवलप करने पर जोर देना होगा। कंपनियों के साथ एमओयू करके छात्रों को प्रशिक्षित करना होगा। एकेटीयू के कुलपति प्रो। जेपी पांडेय ने कहा कि यह कार्यक्रम टीपीओ के बीच समन्वय स्थापित करने के साथ ही उन्हें ज्यादा से ज्यादा प्लेसमेंट कराने के लिए तैयार करना भी है। प्रशिक्षण, वर्कशॉप के जरिये छात्रों को प्लेसमेंट के लिए तैयार करना होगा।

दो पोर्टल की हुई लांचिंग

कार्यक्रम के दौरान मंत्री आशीष पटेल जी ने मेंटर एंड मेंटी पोर्टल और ट्रेनिंग कोर्सेस पोर्टल लांच किया। मेंटर एंड मेंटी पोर्टल के जरिये संस्थानों में प्लेसमेंट के लिए समन्वय स्थापित होगा। वहीं ट्रेनिंग कोर्सेस पोर्टल में छात्रों को विभिन्न प्रकार की ट्रेनिंग से संबंधित कार्यक्रम कराए जाएंगे।

कंपनियों के साथ हुआ एमओयू

एचसीएल एंड गुवी, टीसीएफएस, सॉफ्ट प्रो, नैस्कॉम और एल एन टी के साथ एमओयू हस्तांतरण हुआ। कंपनियों के अधिकारियों और कुलसचिव रीना सिंह के बीच एमओयू का आदान-प्रदान हुआ। ये कंपनियां छात्रों को प्रैक्टिकल प्रशिक्षण समय-समय पर देंगी। वहीं नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इलेक्ट्रिॉनिक्स इंनफॉरमेशन टेक्नोलॉजी गोरखपुर के साथ हुए एमओयू में कम से कम पांच दिन का निशुल्क इंस्ट्रक्टर लेड ऑनलाइन साइबर सिक्योरिटी अवेयरनेस प्रोग्राम भी छात्रों के लिए होगा। साथ ही सीडेक की ओर से एआई और एमएल तकनीक पर विशेषज्ञों ने अपने अनुभव साझा किये।