मेरठ (ब्यूरो)। शहर के कई प्रसिद्ध डॉक्टर्स के क्लीनिक में अवैध रूप से मेडिकल स्टोर संचालित हो रहे हैं। इनमें मरीजों को कई गुना कीमत पर दवाएं बेची जा रही हैं। जबकि बाजार के मेडिकल स्टोर पर काफी कम कीमत पर दवाएं उपलब्ध रहती हैं। ड्रग विभाग के अधिकारियों की मिली भगत के चलते क्लीनिक के अवैध मेडिकल स्टोर की आड़ में मरीजों को ठगा जा रहा है। यह बात होलसेलर एंड रिटेलर केमिस्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष इंद्रपाल ङ्क्षसह ने कही। दरअसल, इस मुद्दे पर रविवार को होलसेलर एंड रिटेलर केमिस्ट एसोसिएशन ने बैठक की। उन्होंने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की। वहीं, समस्याओं का निस्तारण न होने पर आंदोलन की चेतावनी दी।

करोड़ों रुपए का अवैध कारोबार
संस्था के अध्यक्ष इंद्रपाल ङ्क्षसह ने कहा कि प्राइवेट डॉक्टर अपने क्लीनिक में मेडिकल स्टोर संचालित कर रहे हैं। यहां पर मनमाने दामों पर दवाएं बेच रहे हैं। उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और हरियाणा में निर्मित ये दवाएं बाजार में किसी भी मेडिकल स्टोर से नहीं मिलतीं हैं। जिले में औषधि व वाणिज्य कर विभाग संरक्षण में यह 100 करोड़ का व्यापार हो रहा है।

आंदोलन की चेतावनी
इस दौरान महामंत्री घनश्याम मित्तल ने कहा कि सरकार से मांग है कि जनहित और व्यापारी हित में इस कारोबार पर प्रतिबंध लगाया जाए। सरकार के इसे गंभीरता से न लेने पर प्रदेश के दवा व्यापारियों की सहमति के बाद आगामी एक अगस्त से विभाग के खिलाफ आंदोलन किया जाएगा। इसमें व्यापार बंद करने जैसा निर्णय भी लिया जा सकता है। दवा व्यापारियों के यहां होने वाली औषधि विभाग की कार्रवाई में पारदर्शिता नहीं है।

ये लोग रहे मौजूद
इस दौरान संस्था के संरक्षक गोपाल अग्रवाल, दिनेश गोयल, विकास गुप्ता, राजेश अग्रवाल, गगन गुप्ता, अरूण शर्मा व रामोतार तोमर सहित कई पदाधिकारी और व्यापारी उपस्थित रहे।