वाराणसी (ब्यूरो)। यूजीसी यानी यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन की स्पष्ट गाइड लाइन है कि ऑनलाइन क्लास में स्टूडेंट की 55 फीसदी उपस्थिति मस्ट है। लेकिन महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के कैंपस के कई विभागों की ऑनलाइन कक्षाओं में स्टूडेंट की उपस्थिति यूजीसी के मानक से कम है। कमोबेश यही हाल इससे संबद्ध कॉलेजों का भी है। यह खुलासा तब हुआ जब अध्यापन में पिछड़ रहे कोर्स को लेकर स्टूडेंट्स ने विवि प्रशासन को पत्र लिखा। रजिस्ट्रार को दिए गए पत्र के मुताबिक फरवरी के सेकेंड वीक से सेमेस्टर के एग्जाम शुरू होने वाले हैैं। इधर, विद्यापीठ के कई विभागों में ना समय से ऑनलाइन कक्षाएं चल रही हैं और ना ही 40 फीसदी कोर्स पूरा होने की स्थिति है। ऐसे में हजारों स्टूडेंट्स को अच्छे रिजल्ट नहीं आने का डर सता रहा है।
कोर्स की अधूरी कहानी
काशी विद्यापीठ के संबंध मैदागिन स्थित हरीशचंद्र पीजी कॉलेज में एलएलबी फस्र्ट ईयर के स्टूडेंट आनंद मौर्य ने बताया कि अभी 20 से 25 फीसदी ही कोर्स पूरा हो पाया है। इनके जैसे कई सैकड़ों स्टूडेंट को अधूरे कोर्स की वजह से एग्जाम में कम माक्र्स मिलने की डर सता रहा है। हरीश्चंद्रा पीजी कॉलेज में एलएलबी फस्र्ट सेमेस्टर में 350 स्टूडेंट है। ऑनलाइन क्लास में रोजाना महज 50 से 60 की उपस्थित ही रहती है।
ऑनलाइन क्लास में बजता है म्यूजिक
स्टूडेंट्स ने बताया कि ऑनलाइन क्लास में महज कोरमपूर्ति की जाती है। सब्जेक्ट डाउट्स को लेकर कई बार मुश्किल की स्थिति पैदा हो जाती है। एक के डाउट क्लियरेंस में अन्य स्टूडेंट्स बोरिंग फिल करने लगते हैैं। हाल ही में कई ऑनलाइन क्लासेस में स्टूडेंट्स ने म्यूजिक प्ले कर दिया। जो शहर भर के कई सोशल साइट्स और वाट्स ऐप ग्रुप में जमकर बायरल हुआ। बहरहाल, ऑनलाइन क्लास अपने टारगेट को अचीव करने में भटक गया है। काशी विद्यापीठ मेन कैंपस में बीए एलएलबी थर्ड सेमेस्टर की पढ़ाई कर रहे विराट मिश्रा ने बताया कि अभी तक सिर्फ 15 फीसदी ही कोर्स पूरा हो सका है। ऑनलाइन क्लास के दौरान नेटवर्क इश्यू, अचानक से क्लास का सस्पेंड हो जाना और डाउट्स क्लियरेंस में सैटिसफेक्शन नहीं होने से कोर्स की तैयारी मुश्किल में पड़ गई है। बीए एलएलबी थर्ड सेमेस्टर में कुल 66 स्टूडेंट हैैं। इसमें से महज 20 से 24 स्टूडेंट की ऑनलाइन क्लास में प्रजेंट हो पाते हैैं।
विवि प्रशासन को लिखे पत्र में स्टूडेंट्स की मांगें
- ऑनलाइन कक्षाएं सुचारू रूप से चलाने
- जो भी स्टूडेंट नहीं जुड़ पाए हैैं इन्हें फिर जोड़ा जाए
- ऑनलाइन क्लास में अनुशासन पर विवि नियम बनाए
- अधूरे पड़े कोर्स को पूरा करने की बने स्ट्रेटजी
- स्टूडेंट्स के डाउट अच्छे से किए जाए क्लियर
आंकड़ों पर एक नजर
क्लास स्टूडेंट की संख्या
बीए सेकेंड ईयर-पेपर-2 01
बी.कॉम थर्ड ईयर (इनकम टैक्स) 19
बी कॉम फस्र्ट सेमेस्टर सेक्शन-ए 36
बी.कॉम फस्र्ट सेमेस्टर (सेक्शन-बी) 25
एमकॉम फस्र्ट सेमेस्टर- 38
ऑनलाइन क्लास को सुचारू के हरसंभव प्रयास जारी हैैं। जिन स्टूडेंट के डाउट्स और कोर्स से रिलेटेड दिक्कतें हैैं, वे अपने टीचर को बताएं। विभाग द्वारा एक्ट्रा क्लासेज की व्यवस्थाएं की जाएंगी।
डॉ नवरत्न सिंह, पीआरओ, काशी विद्यापीठ