रंगे हुये बालों से कीर्तन पर रोक
खबरों के मुताबिक, शिरोमणी गुरुद्वारा मैनेजमेंट कमेटी ने यह फैसला लिया है कि वे महिलायें जो अपने बालों पर हेयर कलर लगाती हैं, उन्हें गुरुबानी पढ़ने की इजाजत नहीं दी जा सकती है. मीडिया रिपोर्ट्स का कहना है कि यह घटना अमृतसर के गुरुद्वारा संतोखसर साहिब की है. शिरोमणी अकाली दल के पंच प्रधानी के नेता बलदेव सिंह सिरसा ने दावा किया कि कुछ महिलायें काफी समय से गुरद्वारे में कीर्तन करती आ रहीं थीं, लेकिन अब डाई किये गये बालों की वजह से उन्हें रोक दिया गया है. हालांकि स्वर्ण मंदिर के मैनेजर प्रताप सिंह ने इस फैसले का बचाव किया.

सस्ती लोकप्रियता को बढ़ावा
प्रताप सिंह ने कहा कि सिख रहत मर्यादा के मुताबिक, ऐसी महिलाओं को कीर्तन करने की इजाजत नहीं है. उन्होंने कहा कि महिलाओं से कई बार कहा गया था कि वह बालों को कलर करना छोड़ दें. अगर वे बाल कलर करना छोड़ देतीं तो उन्हें कीर्तन करने दिया जा सकता था. हालांकि प्रताप सिंह ने बलदेव सिंह सिरसा पर 'सस्ती लोकप्रियता' के लिये मामले को बढ़ावा देने का आरोप लगाया है. वहीं सिरसा ने एसजीपीसी पर पलटवार करते दोहरे मानदंड अपनाने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा,'सिख रहत मर्यादा सबके लिये एक होनी चाहिये. एसजीपीसी के मेंबर्स ने भी अपने बाल कलर कर रखे हैं. इसके साथ ही कई मामले ऐसे हैं कि एसजीपीसी मेंबर्स के बच्चों ने दाढ़ी नहीं रखी है. उन पर भी रहत मर्यादा लागू होनी चाहिये.

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