नक्सल आंदोलन के सपोर्ट में मांझी

बिहार के चीफ मिनिस्टर जीतन राम मांझी ने एक बार फिर से विवादित बयान देकर एक कंट्रोवर्सी खड़ी कर दी है. मांझी ने नक्सलवादियों के सपोर्ट में बोलते हुए कहा कि जो नक्सली ठेकेदारों से उगाही करते हैं वे कोई गलत काम नहीं करते हैं. मांझी ने कहा कि सीएम बनने से पहले वह दो नक्सलियों से मिले थे और उन्होंने पूछा कि आखिर वे लोग ठेकेदारों से लेवी यानी उगाही क्यों वसूलते हैं. मांझी ने कहा, 'बातचीत में जो मैंने पाया वह यह कि ज्यादातर ठेकेदार बहुत मोटा रकम लेकर बहुत कम खर्च करते हैं. अगर कोई ठेकेदार 50 हजार रुपये लेकर महज पांच हजार रुपये खर्च करता है तो नक्सलियों द्वारा उनसे लेवी मांगने में गलत क्या है?'

चुनिंदा लोगों को ना मिले लाभ

बिहार सीएम ने कहा कि बिहार सरकार ने ठेका व्यवस्था में आरक्षण नीति लागू की है. इससे आरक्षण देने की प्रक्रिया को डेमोक्रेटिक बनाया जा सकता है. इससे कुछ चुनिंदा लोगों को ही ठेका नही मिलता रहेगा. इसके बाद मांझी ने कहा , 'वे जिन्होंने गलत रास्ता अपना लिया है (उग्रवादी), अब कुछ काम पाएंगे और उन रास्तों को छोड़ देंगे.' हालांकि, सीएम ने यह साफ नहीं किया कि क्या आपराधिक मामले के आरोपी नक्सलियों को भी सरकारी ठेका दिया जाएगा?

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