- मांगों के पूरा न होने पर दी उग्र आंदोलन की चेतावनी

HAZIPUR/ PATNA : समान काम के लिए समान वेतन की मांग को ले पिछले भ् दिनों से शहर के अक्षयवट राय स्टेडियम परिसर में धरने पर बैठे गृह रक्षा वाहिनी स्वयंसेवकों ने राज्य सरकार को उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है। धरना पर बैठे गृह रक्षा वाहिनी स्वयं सेवक संघ के सदस्यों का नेतृत्व कर रहे बिहार रक्षा वाहिनी स्वयं सेवक संघ जिलाध्यक्ष सोनेलाल सिंह ने राज्य सरकार एवं उसके प्रधान सचिव आमिर सुबहानी पर कुंभकर्णी नींद में सोने का आरोप लगाया।

कहा कि समान काम के बदले समान वेतन पर सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के अनुपालन की मांग को ले आंदोलन कर रहे गृह रक्षकों को प्रधान सचिव द्वारा कार्यमुक्त करने के जिला प्रशासन को दिए आदेश के कारण 7भ् हजार से अधिक प्रदेश के गृह रक्षक एवं उसके परिजन आज भूखमरी के कगार पर पहुंच चुके हैं।

राज्य सरकार ने अब तक गृह रक्षकों के शांतिपूर्ण ढंग से किए गए आंदोलन को ही देखा है। इसलिए गृह रक्षकों की क्षमता के विषय पर राज्य सरकार को भ्रम हो गया है। यदि राज्य सरकार ने गृह रक्षकों की मांगों पर अविलंब कोई ठोस निर्णय नहीं लिया तो प्रदेश के 7भ् हजार से अधिक गृह रक्षा वाहिनी सदस्य उग्र हो सड़कों पर उतर आएंगे और तब जो स्थिति उत्पन्न होगी इसके लिए पूरी तरह से राज्य सरकार एवं उसके प्रधान सचिव आमिर सुबहानी उत्तरदायी होंगे।

वहीं संघ के जिला सचिव रघुवंश राय ने कहा कि समान काम के बदले समान वेतनमान पर राज्यपाल से मिले आश्वासन पर काम पर वापस लौटे गृहरक्षकों को काम करता देख बिहार सरकार के पेट में दर्द हो गया और पुलिस बलों के समान ही सुविधाएं देने के बजाए बिना किसी पूर्व सूचना के ही अचानक कार्य मुक्त कर प्रदेश के 7भ् हजार से अधिक गृह रक्षकों को घर बैठा दिया। इससे स्पष्ट है प्रतीत है कि हम गृह रक्षक आंदोलन कर नहीं रहे बल्कि राज्य सरकार हमसे आंदोलन करवा रही है। कहा कि अब हम गृह रक्षकों ने भी ठान लिया है कि जब तक राज्य सरकार हमारी मांगों को मान नहीं लेती, तब तक आंदोलन करते रहेंगे।

धरना-सभा को संबोधित करने वाले संघ के अन्य नेताओं में जिला उपाध्यक्ष विश्वनाथ सिंह एवं राजकिशोर सिंह, उप-सचिव कैलाश राय, संगठन सचिव ज्वाला सिंह, राम प्रवेश सिंह, राजेंद्र सिंह, महीपत सिंह, कोषाध्यक्ष मनोज सिंह, कार्यालय सचिव युगल राय, सुबोध कुमार, डेलीगेट सदस्य रमाशंकर भारती, दीपनारायण सिंह, सदस्य सुरेश प्रसाद सिंह, अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष राजेंद्र पटेल, सदस्य वैद्यनाथ पासवान, गणेश राम, संतोष कुमार सिंह आदि शामिल थे।