PATNA : नोटबंदी, शराबबंदी और सरकार के सहयोगी दलों में मतभेद को लेकर उठ रहे सवालों के बीच सूबे के मुखिया नीतीश कुमार ने अपना स्टैंड साफ किया। एक तरफ दोटूक कहा कि सरकार के मुहिम में कोई झटका बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। वहीं दूसरी तरफ नोटबंदी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का साहसी फैसला बताया। हालांकि यह जरूर कहा कि पहले ही केंद्र सरकार को पर्याप्त संख्या में छोटे नोट बैंकों में उपल?ध करा देने चाहिए थे, जिससे आम लोगों को परेशानी नहीं हो। इससे पहले विधानसभा के शीतकालीन सत्र का पहले दिन शोक प्रस्ताव और पीठासीन पदाधिकारियों की नियुक्ति के बाद कार्यवाही सोमवार तक के लिए स्थगित कर दी गई।

दल अलग तो विचार भी अलग

शीतकालीन सत्र के पहले दिन मुख्यमंत्री ने महागठबंधन विधानमंडल दल की बैठक में नीतीश ने शराब के कारोबार में भी काला धन होने की बात कही और प्रधानमंत्री को बेनामी संपत्ति अर्जित करने वालों के खिलाफ अगली कार्रवाई करने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि जदयू भी भ्रष्टाचार के सख्त खिलाफ है। नोटबंदी पर सत्ता पक्ष के अलग-अलग बयानों पर मुख्यमंत्री ने कहा कि महागठबंधन के तीन घटक दल हैं। सबकी अपनी नीतियां हैं तो विचार भी अलग होना स्वाभाविक है। मगर सरकार के क्रियाकलाप में अंतरविरोध नहीं है।

मील का पत्थर साबित होगा 'सात निश्चय'

PATNA : 'सात निश्चय' का संकल्प राज्य की प्रगति में मील का पत्थर साबित होगा। क्योंकि परिर्वचन के लिए शिक्षा बेहद जरूरी है और शिक्षा को बेहद महत्वपूर्ण स्थान दिया गया है। ये बातें शीतकालीन सत्र के पहले दिन बिहार विधान परिषद के सभापति अवधेश नारायण सिंह ने कही। कहा कि स्टूडेंट्स क्रेडिट कार्ड छात्रों की आगे की पढ़ाई में सहायक साबित होगा।

सभापति ने कहा कि म् बैठकों वाले सत्र में लोकहित एवं राज्य के विकास से संबंधित अधिक से अधिक विषयों को सदन के पटल पर लाया जाएगा। उन्होंने बैडमिंटन खिलाड़ी पीबी सिंधु को चाइना ओपन जीतने तथा ओलम्पिक और पारा ओलम्पिक में पदक विजेता खिलाडि़यों को सदन की तरफ से बधाई दी। इसके बाद देवेश चन्द्र ठाकुर, रामलषण राम रमण, नवल किशोर यादव और केदार पांडेय को अध्यासीन सदन मनोनीत किया। सदन के दौरान देश की सीमा पर शहीद जवान, रेल दुर्घटना में मरने वालों समेत कई दिवंगत राजनेताओं के प्रति शोक प्रकट किया गया।

कुछ लोग दरार पैदा करना चाहते हैं

नोटबंदी एवं यूपी चुनाव को लेकर महागठबंधन में मतभेद के कयास को मुख्यमंत्री ने खारिज करते हुए कहा कि कुछ लोग दरार पैदा करने में लगे हैं, लेकिन सत्ता पक्ष को यह समझ लेना चाहिए कि यह चुनाव बिहार का नहीं है। बिहार में सरकार मजबूती से चल रही है। शराबबंदी, गरीबों के उत्थान एवं सात निश्चय के क्रियान्वयन में कहीं मतभेद नहीं है। जितने भी बड़े काम हुए, सबमें सबकी सहमति है। ऐसा कोई निर्णय नहीं जिसपर बिना सहमति के फैसले लिए गए।