मुंबई, (आईएएनएस)। Coronavirus: सांग राइटर - पोएट और सेंसर बोर्ड के प्रमुख प्रसून जोशी ने 21 दिन के नेशनल लॉकडाउन पर एक कविता लिखी है। उनकी पोइट्री कोरोनानावायरस से खतरे और ल़ॉकडाउन की जरूरत को बहुत अच्छी तरह से एक्सप्रेस कर रही है। COVID-19 महामारी के चलते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के लोगों से कहा है कि सभी को 21 दिनों से अधिक समय तक घर के अंदर रह कर इस खतरनाक बीमारी के असर से लड़ना है।

इमोशनल मैसेज

हां घर में रहगा देश टाइटिल से लिखी इस कविता को प्रसून ने अपने ट्विटर हैंडल पर शेयर किया है। ये एक इमोशनल पोएम है, पर साथ ही साथ देश के कल्चर और परंपरा कोे बताने वाली भी है। इस वायरस का सबसे ज्यादा प्रभाव बुजुृुर्गों औऱ बच्चों पर पड़ता है और प्रसून की ये कविता बताती है कि हमारे देश में इन दोनों को पूरा सम्मान और परवाह दिया जाता रहा है।

खतरे से किया आगाह

इसके साथ ही जोशी की कविता ने सभी भारतीयों से फेलेक्सिबल रहने और आत्मविश्वास को कभी न खोने का आग्रह किया। इस तरह कविता में यह बताते हुए कि संकट राष्ट्र को कैसे प्रभावित करने वाला है, वह कहते हैं, कि कई चीजें हैं जो इस संकट में महसूस करने वाली हैं, और हम में से प्रत्येक की इस लड़ाई में महत्वपूर्ण भूमिका है। कोरोनावायरस के खिलाफ इस युद्ध के बारे में सबसे अजीब बात है कि दवाओं से ज्यादा संयम हमारा हथियार है।

coronavirus: सेंसर बोर्ड चीफ प्रसून जोशी ने लॉकडाउन पर लिखी कविता

अलग हैं लड़ाई के तरीके

कविता में प्रसून राष्ट्र के प्रति अपनी जिम्मेदारी को समझाते हुए कहते हैं कि हमें इस वायरस से नए नियमों के साथ लड़ना होगा। जैसा कि डॉक्टर्स और एडमिनिस्ट्रेशन हमें बता रहा है। हमें लॉकडाउन का समर्थन करना चाहिए। यह देश के नागरिक होने के नाते हमारा कर्तव्य है। उन्होंने उम्मीद जताई है कि यह मैसेज लोगों को अपनी जिम्मेदारी निभाने और इस महत्वपूर्ण अवधि में घर पर रहने के लिए इंस्पायर करेगा।

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