-आज है वर्ल्ड ब्लड डोनर्स डे
-इस वर्ष की थीम है 'थैंक यू फॉर सेविंग माई लाइफ'
abhijit.pandey@inext.co.in
JAMSHEDPUR : क्ब् जून को वर्ल्ड ब्लड डोनर डे है। इस वर्ष कैपेंन का थीम 'थैंक यू फॉर सेविंग माई लाइफ' है। इसका उद्देश्य उन सभी ब्लड डोनर्स को थैंक्स कहना है जो ब्लड डोनेशन के जरिए जिंदगियां बचाते हैं। जमशेदपुर में भी ऐसे हजारों ब्लड डोनर्स, कई संस्थाएं हैं जो थैंक्स की हकदार हैं। शहर में क्या है ब्लड डोनेशन कि स्थिति, कितने जागरूक हैं लोग, वर्ल्ड ब्लड डोनर डे के मौके पर आई नेक्स्ट ने जानने की कोशिश की।
ब्लड डोनेशन में कई संस्थाओं का रहता है योगदान
जमशेदपुर में ब्लड डोनेशन में विभिन्न सामाजिक संस्थाओं और कॉरपोरेट का भी सहयोग मिलता है। रेड क्रॉस सोसाइटी के ऑनरेरी सेक्रेटरी विजय सिंह ने बताया कि ब्लड डोनेशन कैंप आयोजित करने में करीब 70 संस्थाओं का योगदान मिलता है। उन्होंने कहा कि शहर में करीब क्भ्0 संस्थाएं ब्लड डोनेशन के लिए कार्य करती हैं। इसके अलावा टाटा स्टील, टाटा मोटर्स, टाटा कमिंस, टिनप्लेट इंडिया, जुस्को, जेएमटी जैसे कॉरपोरेट्स के अलावा एजुकेशनल इंस्टीट्यूशन्स, क्लब्स, रिलीजियस ऑर्गनाइजेशन्स सहित अन्य संस्थाओं द्वारा ब्लड डोनेशन कैंप आयोजित किया जाता है।
देश में फ्0 लाख यूनिट ब्लड की है कमी
देश में हर साल क्ख् से क्फ् मिलियन यूनिट्स ब्लड की डिमांड होती है जबकि कलेक्शन करीब क्0 मिलियन यूनिट्स का ही होता है। ब्लड की इस कमी को पूरा करने के लिए ब्लड डोनेशन के प्रति अवेयरनेस बढ़ाना जरूरी है। दुनियाभर में हर साल क्08 मिलियन ब्लड डोनेशन कलेक्ट किया जाता है। इनमें से करीब आधा हाई इन्कम कंट्रीज में कलेक्ट किया जाता है। वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनाइजेशन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा सभी कंट्रीज के लिए ख्0ख्0 तक क्00 परसेंट ब्लड सप्लाई वालंटरी अनपेड डोनर्स के जरिए किए जाने का लक्ष्य रखा गया है।
ब्लड डोनेशन कर सकते हैं
- क्8 से म्भ् वर्ष की आयु का कोई भी पुरुष या महिला।
-पुरुष तीन महीने में एक बार और महिला चार महीने में एक बार ब्लड डोनेशन कर सकती है
-डोनर का वेट कम से कम ब्भ् किलोग्राम होना चाहिए
-शरीर में हीमोग्लोबिन की मात्रा क्ख्.भ् ग्राम प्रतिलीटर होनी चाहिए
-ब्लड प्रेशर सामान्य होना चाहिए
-ब्लड डोनेशन में एक इंजेक्शन की नोक चुभने के अलावा कोई कष्ट नही होता
-एक बार ब्लड डोनेशन में दस मिनट से अधिक समय नही लगता
-ब्लड डोनर खाली पेट ब्लड डोनेशन ना करें
एमजीएम ब्लड बैंक में ब्लड की किल्लत
महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल स्थित ब्लड बैंक में रोजाना औसतन क्भ् से ख्0 यूनिट ब्लड की डिमांड रहती है, लेकिन शनिवार को ब्लड बैंक में करीब क्0 से क्ख् यूनिट ब्लड ही अवेलेवल था। एमजीएम ब्लड बैंक के लिए यह कोई नई बात नहीं है। यहां पूरे साल ब्लड की अवेलिबिलिटी कमोबेश यही रहती है। शहर में हर साल ब्लड डोनेशन कैंप्स के माध्यम से हजारों यूनिट ब्लड कलेक्ट होते हैं, लेकिन एमजीएम हॉस्पिटल स्थित इस ब्लड बैंक में हमेशा ब्लड की कमी रहती है। ब्लड बैंक के कर्मचारियों ने बताया कि इस साल अब तक क्ख् कैंप्स के माध्यम से क्म्म्ब् यूनिट ब्लड कलेक्ट किए गए हैं, लेकिन भ्क्ब् बेड के एमजीएम हॉस्पिटल में ब्लड के रिक्वायरमेंट को पूरा करने के लिए ये नाकाफी है।
शो पीस बना सेपरेटर मशीन
एमजीएम हॉस्पिटल में मरीजों को सिर्फ होल ब्लड ही मिल पाता है। ब्लड सेपेरेशन की सुविधा नहीं होने की वजह से प्लाज्मा, प्लैटलेट्स, रेड ब्लड सेल्स जैसे ब्लड कंपोनेंट्स यहां उपलब्ध नहीं हो पाते। ब्लड बैंक में करीब चार साल से कंपोनेंट सेपरेटर मशीन पड़ा है, लेकिन अभी तक इसका यूज शुरू नहीं हुआ है। ब्लड बैंक के डॉ ललित कुमार ने बताया कि एमजीएम ब्लड बैंक के पास कंपोनेंट सेपरेटर मशीन के लिए लाइसेंस नहीं है और न ही इस मशीन को ऑपरेट करने के लिए कोई टेक्निशियन। ब्लड बैंक में अन्य सुविधाओं की भी कमी है। ब्लड बैंक के एक डॉक्टर ने बताया कि यहां सेंट्रलाइज्ड एसी की व्यवस्था होनी चाहिए, लेकिन फिलहाल यहां ऐसी व्यवस्था नहीं है। जो एसी लगाए गए हैं, उनमें भी कई खराब हैं। इन परेशानियों की वजह से ब्लड बैंक के संचालन में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
एक वर्ष में भ्क्900 ब्लड यूनिट्स का हुआ कलेक्शन
जमशेदपर और आसपास के क्षेत्रों में ब्लड का रिक्वायरमेंट पूरा करने में जमशेदपुर ब्लड बैंक का अहम रोल है। ब्लड बैंक द्वारा जमशेदपुर और सराईकेला-खरसावां के करीब 7म् नर्सिग होम्स और हॉस्पिटल्स की जरूरतों को पूरा करता है। ख्0क्ब्-क्भ् के दौरान जमशेदपुर ब्लड बैंक का एनुअल कलेक्शन भ्क् हजार 900 यूनिट रहा। इनमें फ्7 हजार भ्भ्क् यूनिट वालंटरी ब्लड डोनेशन और क्ब् हजार फ्ब्9 यूनिट ब्लड रिप्लेसमेंट के जरिए आया। इस दौरान जमशेदपुर ब्लड बैंक द्वारा ब्79 वालंटरी ब्लड डोनेशन कैंप्स का आयोजन किया गया, जिनमें फ्ख् हजार म्भ्ख् ब्लड यूनिट्स कलेक्ट किए गए। ब्लड बैंक द्वारा इस दौरान 8 हजार 7ब्भ् यूनिट थैलिसिमिया, हीमोफीलिया और सिकल सेल एनिमिया के पेशेंट्स को फ्री में उपलब्ध कराया गया। जमशेदपुर ब्लड बैंक के पास कंपोनेंट सेपरेशन की भी सुविधा है। वर्ल्ड ब्लड डोनर्स के दिन गायत्री परिवार, गोलपहाड़ी, संत निरंकारी मंडल, बागेबड़ा और रेड क्रॉस सोसाइटी, साकची में जमशेदपुर ब्लड बैंक के सहयोग से तीन ब्लड डोनेशन कैंप्स आयोजित किए जाएंगे जहां करीब भ्00 वालंटरी ब्लड यूनिट्स कलेक्ट होने का अनुमान है।
रेड क्रॉस सोसाइटी का अहम योगदान
रक्तदान महादान, इस संदेश को फैलाने और वालंटरी ब्लड डोनेशन को बढ़ावा देने में रेड क्रॉस सोसाइटी का अहम योगदान है। जमशेदपुर और आस पास के क्षेत्रों में रेड क्रॉस सोसाइटी द्वारा समय-समय पर ब्लड डोनेशन कैंप लगाए जाते हैं। इसके जरिए हजारों ब्लड यूनिट्स का कलेक्शन होता है। रेड क्रॉस सोसाइटी, ईस्ट सिंहभूम के ऑनरेरी सेक्रेटरी विजय सिंह ने बताया कि एक वर्ष के दौरान म्ब् ब्लड डोनेशन कैंप्स ऑर्गनाइज किए गए, जिनमें 7ख्00 यूनिट ब्लड कलेक्ट किए गए। 8 मई को वर्ल्ड रेड क्रॉस डे के मौके पर साकची स्थित रेड क्रॉस भवन में आयोजित ब्लड डोनेशन कैंप में क्ख्ख्भ् यूनिट ब्लड कलेक्ट किया गया था। पिछले वर्ष इसी दिन आयोजित कैंप में क्क्क्9 यूनिट ब्लड का कलेक्शन हुआ था।
सराहनीय है वीबीडीए की पहल
ब्लड डोनेशन जैसे महत्वपूर्ण कार्य में वालंटरी ब्लड डोनर्स एसोसिएशन (वीबीडीए) अहम भूमिका निभा रहा है। वीबीडीए के वाइस प्रेसिडेंट एसके सिंह ने बताया कि ख्0क्ब्-क्भ् के दौरान संस्था द्वारा ख्भ्0 ब्लड डोनेशन कैंप ऑर्गनाइज किए गए। इसके जरिए क्9 हजार क्भ्भ् यूनिट ब्लड कलेक्ट किया गया। शनिवार को भी वीबीडीए द्वारा जादूगोड़ा में ब्लड डोनेशन कैंप का आयोजन किया गया। वीबीडीए के वाइस प्रेसिडेंट एसके सिंह ने बताया कि संस्था द्वारा पिछले ख्8 वर्षो से ब्लड डोनेशन के लिए काम किया जा रहा है।
सबसे ज्यादा सेंचुरियन ब्लड डोनर्स जमश्ोदपुर में
बात जब ब्लड डोनेशन की हो तो जमशेदपुर पूरे राज्य के लिए एक मिसाल है। राज्य में सबसे ज्यादा सेंचुरियन ब्लड डोनर जमशेदपुर में हैं या यों कहे कि राज्य के सभी सेंचुरियन ब्लड डोनर जमशेदपुर के ही हैं। वालंटरी ब्लड डोनर्स एसोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट एसके सिंह ने बताया कि राज्य में फ्म् सेंचुरियन ब्लड डोनर्स हैं, जिनमें सभी जमशेदपुर के हैं। इनमें से तीन डोनर ऐसे हैं जिन्होंने क्फ्0 या इससे ज्यादा बार ब्लड डोनेट किया है, वहीं क्ख्0 बार से ज्यादा ब्लड डोनेट करने वाले भी 7 डोनर हैं। उन्होंने बताया कि राज्य में भ्0 बार से ज्यादा ब्लड डोनेट करने वाली क्फ् महिलाएं हैं, जिनमे से सभी जमशेदपुर की हैं। वहीं, ख्भ् से भ्0 बार ब्लड डोनेट करने वाली क्ब् महिलाएं भी जमशेदपुर की ही हैं।
ब्लड कंपोनेंट्स और उनका इस्तेमाल
होल ब्लड
कलर - रेड
शेल्फ लाइफ - क्ख्/फ्भ् दिन
मुख्य इस्तेमाल - ट्रॉमा, सर्जरी
रेड ब्लड सेल्स
कलर - रेड
शेल्फ लाइफ - ब्ख् दिनों तक
मुख्य इस्तेमाल - ट्रॉमा, सर्जरी, एनिमिया, ब्लड लॉस, सिकल सेल जैसे ब्लड डिसॉर्डर
प्लैटलेट्स
कलर - कलरलेस
शेल्फ लाइफ - भ् दिन
मुख्य इस्तेमाल - कैंसर ट्रीटमेंट, ऑर्गन ट्रांसप्लांट्स, सर्जरी
प्लाज्मा
कलर - यलो
शेल्फ लाइफ - क् साल
मुख्य इस्तेमाल - बर्न पेशेंट, शॉक, ब्लीडिंग डिसॉर्डर
क्रायोप्रिसिपिटेटेड एएचएफ
कलर - वाइट
शेल्फ लाइफ - क् साल
मुख्य इस्तेमाल - हीमोफीलिया, वॉन विलेब्रांड डिजीज, फाइब्रिनोजेन का रिच सोर्स
ब्लड डोनेशन के प्रति लोगों में जागरूकता बढ़ना जरूरी है। ये सभी की जिम्मेदारी है। अभी भी गर्मियों के दिनों में कभी-कभी ब्लड की किल्लत हो जाती है, ऐसे परिस्थितियों से निपटने के लिए ब्लड डोनेशन को बढ़ाना जरूरी है।
-विजय सिंह, ऑनरेरी सेक्रेटरी, रेड क्रॉस सोसाइटी
ब्लड डोनेशन को बढ़ावा देने के लिए रूरल एरियाज में अवेयरनेस बढ़ाना जरूरी है। इसके अलावा महिलाओं और यूथ में भी ब्लड डोनेशन के प्रति जागरूकता बढ़ाने की जरूरत है।
-एसके सिंह, वाइस प्रेसिडेंट, वीबीडीए
ब्लड डोनेशन के प्रति अवेयरनेस बढ़ाना जरूरी है। ज्यादा से ज्यादा लोग ब्लड डोनेशन के लिए आगे आएंगे तभी ब्लड की जरूरत पूरी की जा सकेगी।
-रजनीश कुमार, मेंबर, मैनेजिंग कमिटी, जमशेदपुर ब्लड बैंक