JAMSHEDPUR: टाटा मोटर्स व उसकी सहायक कंपनी टीएमएल ड्राइवलाइंस में एक से पांच सितंबर तक करीब क्000 अस्थायी कर्मियों को काम से बैठा दिया गया। अब इनकी वापसी क्भ् दिनों के बाद रोटेशन के आधार पर होगी। जितनी संख्या में मजदूरों को काम पर बुलाया जाएगा, उतनी ही संख्या में अन्य को काम से हटाया जाएगा। बीते एक नवंबर से ही डिवीजनवार अस्थायी कर्मियों को काम से बैठाने का सिलसिला जारी है। कंपनी उत्पादों की मांग में आयी गिरावट की वजह से यह निर्णय लिया गया है। बरसात का मौसम व जगह-जगह आई बाढ़ को लेकर वाहनों की बिक्री थम सी गई है। मांग में उछाल आने के बाद ही अब सभी अस्थायी कर्मियों को एक साथ काम मिलेगा। टाटा मोटर्स व टीएमएल ड्राइवलाइंस को मिलाकर अस्थायी कर्मियों की कुल संख्या करीब भ्000 है। इनमें से टाटा मोटर्स के प्लांट थ्री में फ्00, व‌र्ल्ड ट्रक में भी फ्00, प्लांट वन में क्00, इंजन में म्0, सीटीआर भ्0, फाउंड्री क्00 व अन्य विभागों में क्00 से ज्यादा अस्थायी कर्मियों को काम से बैठाने की सूचना है। कंपनी प्रबंधन का कहना है कि प्रतिवर्ष बरसात में कंपनी का उत्पादन कम हो जाता है। इस साल बारिश के साथ-साथ बाढ़ आने की वजह से भी वाहनों की बिक्री में कमी आई है जिससे उत्पादन कम हो रहा है।

पत्नियां भी गेटजाम को पहुंचीं टाटा मोटर्स

भारी बारिश में भी टाटा मोटर्स से निष्कासित कर्मचारी पुत्रों व उनकी पत्‍ि‌नयों ने पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार सोमवार को चेतावनी मार्च निकाला। यह टेल्को डी रोड से होकर टाटा मोटर्स गेट पहुंचा। मार्च में हिस्सा लेने महिलाएं गोद में नन्हे-मुन्ने बच्चों को लेकर भींगते हुए टाटा मोटर्स गेट पहुंची थीं। वहां कंपनी गेट पर लगभग एक घंटे तक प्रदर्शन में शामिल रहीं। भाजपा नेता डीडी त्रिपाठी के नेतृत्व में सैकड़ों की तादाद में पहुंचे कर्मचारी पुत्रों ने हर हाल में नौकरी लेने की बात कही। त्रिपाठी ने कहा कि प्रशिक्षण के नाम पर उत्पादन कराने का सिलसिला बंद नहीं हुआ तथा समय रहते कर्मचारीपुत्रों के नियोजन मामले में सहमति नहीं बनी तो इसके बाद जोरदार तरीके से आंदोलन किया जाएगा।