RANCHI: सुपरस्पेशियलिटी सदर हॉस्पिटल में लगातार व्यवस्था सुधारने का काम चल रहा है। इसी के तहत हास्पिटल अपग्रेडेशन के तहत अगले हफ्ते पांच सौगात मिलने वाली हैं, इसमें डिजिटल एक्सरे से लेकर ब्लड बैंक और डे केयर फैसिलिटीज शामिल हैं। इससे मरीजों को बेहतर सुविधाएं तो मिलेगी ही, वे दिन में ही इलाज कराकर अपने घर भी लौट सकेंगे। बताते चलें कि पिछले साल 4 अगस्त को सुपरस्पेशियलिटी सदर हास्पिटल का उद्घाटन किया गया था।

डिजिटल एक्सरे

चोट लगने, इंफेक्शन होने या किसी अन्य तरह की बीमारी का पता लगाने के लिए डिजिटल एक्सरे कराया जाता है, ताकि बीमारी के बारे में सही जानकारी मिल सके। हास्पिटल में मरीज काफी संख्या में इलाज कराने पहुंचते हैं, जहां मरीजों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए नई एक्सरे मशीन लगाई गई है। डिजिटल एक्सरे के लिए मरीजों को केवल 100 रुपए ही चुकाने होंगे, जबकि इसी एक्सरे के लिए प्राइवेट सेंटरों में दो से तीन गुना तक अधिक पैसे चुकाने पड़ते हैं।

ब्लड बैंक

सदर हास्पिटल का अपना ब्लड बैंक नहीं है। ऐसे में ब्लड स्टोरेज में कुछ यूनिट ब्लड ही इमरजेंसी के लिए रखा जाता है, ताकि आपरेशन के दौरान मरीजों को चढ़ाया जा सके। वहीं जरूरत पड़ने पर ब्लड बैंकों की भी दौड़ लगानी पड़ती है। ऐसे में ब्लड बैंक के चालू होने से ब्लड की शॉर्टेज नहीं होगी। इतना ही नहीं, डोनर्स भी आकर ब्लड डोनेट कर सकेंगे।

सिकल सेल एनीमिया डे केयर

बॉडी में लाल रक्त कोशिकाओं में होने वाली अनियमित वृद्धि को सिकल सेल एनीमिया कहते हैं। इससे छोटे बच्चों में जांडिस के लक्षण दिखने लगते हैं। इसके अलावा सिकल सेल एनीमिया से ग्रस्त मरीजों में सीने, पेट, बांहों, पैरों और शरीर के अन्य हिस्सों में दर्द की शिकायत होती है। ऐसे मरीजों के लिए डे केयर सेंटर खुलने से इलाज कराना आसान होगा। वहीं सेपरेट यूनिट होने से परेशानी भी नहीं झेलनी पड़ेगी।

थैलेसीमिया डे केयर सेंटर

यह आनुवांशिक बीमारी है, जो काफी खतरनाक है। इसमें रेड ब्लड सेल्स की उम्र घट जाती है। ऐसे में 120 दिनों की जगह 20 दिन में ही नष्ट होने लगते है। इसका सीधा प्रभाव शरीर पर पड़ता है। हीमोग्लोबीन कम हो जाने से शरीर कमजोर हो जाता है। यह बीमारी बच्चों को अपनी चपेट में लेती है। समय पर ट्रीटमेंट न होने पर बच्चे की मौत भी हो जाती है। इस तरह के बच्चों और अन्य मरीजों को भी टाइम से ट्रीटमेंट मिलेगा।

कंगारू मदर केयर

समय से पहले जन्म लेने वाले बच्चों को कई तरह की परेशानियां होती हैं। वहीं कई बार बच्चों की मौत भी हो जाती है। ऐसे ही बच्चों की मृत्यु दर में कमी लाने के लिए कंगारू मदर केयर यूनिट की शुरुआत की जा रही है। जहां बच्चों को कई तरह की बीमारियों से बचाने के लिए जन्म के कई दिनों बाद तक उसकी मां के शरीर के संपर्क में रखा जाएगा। ऐसे बच्चों में होने वाली कई प्रकार की बीमारियों का खतरा टाला जा सकता है।