रांची(ब्यूरो)। सिटी में पहले से ही सिंगल यूज प्लास्टिक के इस्तेमाल पर बैन लगा हुआ है। लेकिन यह प्रतिबंध सिर्फ सरकारी कागजों तक ही नजर आता है। प्लास्टिक बैन की जमीनी हकीकत तो कुछ और ही है। ग्राउंड रिपोर्टिंग करने पर यह क्लियर हो जाता है। शहर में इस प्रतिबंध का कितना असर है और लोग कितना इसका पालन कर रहे हैं। राजधानी रांची में दर्जनों हाट-बाजार और हजारों दुकानें हैं, जहां खुलेआम नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही है। इन बाजारों में न सिर्फ सिंगल यूज प्लास्टिक, बल्कि ब्लैक पॉलीथिन जिसे काफी खतरनाक माना जाता है। वह भी आसानी से उपलब्ध है। सबसे ज्यादा सब्जी, फल और नॉनवेज विक्रेता ब्लैक पॉलीथिन का इस्तेमाल कर रहे हैं। लेकिन इन्हें रोकने-टोकने वाला भी कोई नहीं है। संबंधित अधिकारी, पदाधिकारी को इन सबसे कोई मतलब नहीं है। नगर निगम पर इसे जांच करने और प्लास्टिक के इस्तेमाल पर लगाम लगाने की जिम्मेवारी है, लेकिन नगर निगम को वसूली से ही फुर्सत नहीं है।

होलसेल बिक्री भी है जारी

प्लास्टिक की खुदरा ही नहीं, बल्कि होलसेल बिक्री भी हो रही है। अपर बाजार की होलसेल दुकानों में प्लास्टिक खुलेआम बिक्री हो रही है। इतना ही नहीं, प्लास्टिक के सप्लायर छोटे दुकानदारों तक डिलीवरी भी कर देते हैं। छोटे दुकानदारों का कहना है ग्राहक खाली हाथ सामान लेने आ जाते हैं। उनके हाथों में थैला भी नहीं होता है। मजबूरन हमें प्लास्टिक रखना होता है। दुकानदार और ग्राहक दोनों में जागरूकता में की कमी है। बता दें कि 2017 में राज्य सरकार ने पॉलीथिन पर बैन लगाया था। शुरुआत में थोड़ी सख्ती बरती गई। पॉलीथिन रखने वालों से फाइन भी वसूला गया। लेकिन फिर से प्रशासन की सुस्ती के कारण बाजारों में खुलेआम प्लास्टिक का उपयोग होने लगा है। प्लास्टिक के प्रयोग से पर्यावरण को होने वाले नुकसान से बचाने को लेकर यह सार्थक कदम उठाया गया था। लेकिन दुर्भाग्य से यह उद्देश्य अब तक पूरा नहीं हो सका है।

जुलाई से प्लास्टिक व थर्मोकॉल होगा पूरी तरह बैन

आगामी एक जुलाई से एक बार फिर प्लास्टिक थर्मोकॉल को पूरी तरह से प्रतिबंधित करने का आदेश जारी कर दिया गया है। अब प्लास्टिक और थर्मोकॉल के कप-प्लेट, चम्मच, स्ट्रॉ आदि का उपयोग, निर्माण और कारोबार पर बैन लगाने का आदेश केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से जारी किया गया है। इसमें प्लास्टिक के इयर बड्र्स स्टिक, बैलून में लगा प्लास्टिक स्टिक, झंडा में उपयोग होनेवाला प्लास्टिक स्टिक, प्लास्टिक का कैंडी स्टिक, आइसक्रीम स्टिक तथा सजावट के काम आनेवाला थर्मोकॉल सभी चीजों को प्रतिबंधित कर दिया जाएगा। इसके अलावा मिठाइयों के लिए प्लास्टिक का कवर, निमंत्रण कार्ड के साथ प्लास्टिक, सिगरेट पैकेट के ऊपर प्लास्टिक, 100 माइक्रोन से नीचे का प्लास्टिक और पीवीसी का बैनर भी प्रतिबंधित श्रेणी में होगा। सीपीसीबी ने जारी नोटिस में कहा है कि इसकी जानकारी सभी उत्पादक, स्टॉकिस्ट, खुदरा विक्रेता, दुकानदार, इ-कॉमर्स कंपनी, स्ट्रीट वेंडर, व्यावसायिक प्रतिष्ठानों को भी दे दी गई है।

30 जून तक हटा लें प्लास्टिक के प्रोडक्ट

दुकान, मार्केट, होलसेलर, मॉल, अस्पताल समेत अन्य सभी संस्थानों को 30 जून तक प्लास्टिक के सभी प्रोडक्ट्स को हटाने का निर्देश दिया गया है। एक जुलाई के बाद प्लास्टिक का कोई भी प्रोडक्ट पाए जाने पर इनवायरमेंट प्रोटेक्शन एक्ट-1986 के तहत कार्रवाई की जाएगी। हालांकि रांची में 100 माइक्रॉन सिंगल यूज प्लास्टिक पहले से बैन है। राज्य प्रदूषण बोर्ड ने इससे संबंधित आदेश पहले ही जारी कर दिया है। बावजूद राज्य के कोने-कोने में प्लास्टिक बैग का उपयोग हो रहा है। राजधानी में प्लास्टिक पर लगा बैन अबतक फ्लॉप ही साबित हुआ है।