RANCHI: पिछले तीन दिन से झारखंड में ब्लैक आउट की स्थिति है। 24 घंटे में सिर्फ छह घंटे ही लोगों को बिजली मिली। डीवीसी ने अपने कमांड वाले इलाके में होली के दिन 18 घंटे बिजली काट कर सरकार को चेतावनी दी है कि अगर बकाया पैसे नहीं मिलते हैं तो शहर के लोगों का हर त्योहार इसी तरह कटेगा। झारखंड सरकार से बकाया वसूली का दबाव बनाने के लिए डीवीसी ने बिजली कटौती शुरू कर दी है। यह कटौती मंगलवार को होली के दिन ही शुरू हुई। बुधवार को भी कटौती की गई। कई इलाकों में तो होली के दिन 18-18 घंटे तक बिजली गायब रही। झारखंड राज्य बिजली वितरण निगम लिमिटेड पर डीवीसी का करीब पांच हजार करोड़ रुपये का बकाया है।
चार घंटे मिलेगी बिजली
डीवीसी के वाणिज्य विभाग ने पत्र जारी कर सभी जिलों में बिजली कटौती का समय भी निर्धारित कर दिया है। प्रत्येक 6 घंटे में मात्र 2 घंटे बिजली आपूर्ति की जाएगी। इस तरह 24 घंटे में हर 6 घंटे के बाद 2 घंटा बिजली आपूर्ति होगा। सभी जिलों के लिए अलग-अलग समय निर्धारित किया गया है।
उद्योगों पर भी पड़ेगा असर
अगर डीवीसी की ओर स इसी तरह से बिजली आपूर्ति में कटौती की जाती है, तो इसका सीधा असर इंडस्ट्रीज पर पड़ेगा। खासकर कोयला आधारित कई उद्योग-धंधे ठप हो जाएंगे। इतना ही नहीं मध्यम व कुटीर उद्योगों पर भी इसका सीधा असर देखने को मिलेगा। वैसे भी, अभी भी घंटों बिजली कटौती का सीधा असर आम जनजीवन पर पड़ रहा है।
इन जिलों में सर्वाधिक असर
धनबाद
बोकारो
हजारीबाग
रामगढ़
कोडरमा
चतरा
पलामू
रांची
लोहरदगा
गिरिडीह
दुमका
यह है डीवीसी की डिमांड
- नियमित तौर पर बिजली आपूर्ति के एवज में भुगतान।
- फ्यूल बिल, अन्य आपरेशनल और मेंटेनेंस खर्च का भुगतान।
- बकाये का भुगतान और उस एवज में निगम द्वारा लिए गए लोन का ब्याज दें।
- बकाया पांच हजार करोड़ रुपए सरकार किस्त में चुकाए।
किन संकटों का करना पड़ रहा सामना
- पैसे की कमी के कारण निगम का संचालन प्रभावित हो रहा है।
- बकाया बढ़ रहा है तो डीवीसी शट डाऊन दे रहा है।
25 फरवरी की दी थी डेडलाइन
डीवीसी बिजली आपूर्ति कमांड एरिया झारखंड के सात जिला हजारीबाग, चतरा, कोडरमा, रामगढ़, बोकारो, धनबाद और गिरिडीह में प्रतिदिन 18 घंटा बिजली कटौती करेगी। डीवीसी का जेबीवीएनएल पर 4955 करोड़ रुपए का बकाया है। डीवीसी ने 25 फरवरी 2020 भुगतान करने का डेट लाइन निर्धारित किया था बकाया बिल का भुगतान नहीं होने पर 50 फीसदी बिजली काटने की सूचना दी थी। डीवीसी ने 10 मार्च 2020 से बिजली कटौती शुरू कर दी है। डीवीसी झारखंड में 600 मेगा वाट बिजली आपूर्ति जेबीवीएनएल को करता है। जेबीवीएनएल झारखंड के 7 जिलों में घर-घर बिजली आपूर्ति करती है।
डीवीसी भारत सरकार का अंग है। कई राज्यों में डीवीसी का बकाया 20 हजार से 50 हजार करोड़ तक है, लेकिन उन राज्यों में बिजली नहीं काटी जा रही है। झारखंड में लगभग 5 हजार करोड़ के बकाए को लेकर कंपनी दबाव बना रही है। होली के मौके पर बिजली काटी गई। इस पूरे मामले की समीक्षा की जाएगी। जल्द ही उचित निर्णय लिया जाएगा।
हेमंत सोरेन, मुख्यमंत्री