रांची (ब्यूरो): क्यूआर कोड को स्कैन करते ही गाड़ी व गाड़ी के चालक का पूरा ब्योरा मोबाइल पर आ जाएगा। संकट की स्थिति में गाड़ी सवार महिलाएं-युवतियां अपने परिजन या पुलिस को इसकी सूचना लोकेशन के साथ दे सकेंगी। संदिग्ध लगने पर आसपास के लोग भी क्यूआर कोड स्कैन कर इसकी सूचना पुलिस तक भेज सकेंगे। सरकार के निर्देश पर पुलिस मुख्यालय ने जो प्रस्ताव दिया है, उसके अनुसार निर्भया फंड की उक्त राशि से 300 चार पहिया व 200 दोपहिया वाहनों की खरीद के अलावा डेढ़ लाख क्यूआर कोड खरीदे जाएंगे।

पुलिस वैन में भी क्यूआर कोड

इतना ही नहीं, पुलिस के वाहन पर भी क्यूआर कोड लगेंगे, जिससे दुव्र्यवहार की स्थिति में उक्त पुलिस वाहन के खिलाफ भी वरीय अधिकारी से इसकी शिकायत की जा सकेगी। क्यूआर कोड लगाना अनिवार्य किया जाएगा। इसके लिए निर्भया फंड से 61 करोड़ 30 लाख रुपये खर्च करने की योजना तैयार की गई है। स्कूल-कालेज में पढऩे वाली छात्राएं, कामकाजी महिलाएं घर से बाहर और बाहर से घर सुरक्षित पहुंच सकें, इसे लेकर सरकार गंभीर है। पूर्व में भी मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पुलिस मुख्यालय को निर्देशित किया था और यह भी आश्वस्त किया था कि महिलाओं की सुरक्षा में फंड की कमी बाधक नहीं बनेगी।

पुलिस मुख्यालय ने भेजा प्रस्ताव

निर्भया फंड की उक्त राशि से शहरी क्षेत्र में सीसीटीवी युक्त मोबाइल सर्विलांस के लिए नए चार पहिया वाहन खरीदे जाएंगे। स्कूल, कालेज तथा शहरी क्षेत्रों में गश्त के लिए महिला पुलिस के लिए अलग से वाहन खरीदे जा रहे हैं। शहरी क्षेत्र में गश्ती के लिए महिला पुलिस के लिए 200 स्कूटी खरीदे जाएंगे। राज्य में सुरक्षित मोबाइल एप भी तैयार किया जाएगा, जिसमें नागरिकों की सुविधा से संबंधित सेवाओं को उपलब्ध कराया जाएगा। यह योजना पहले से चली ही आ रही सभी योजनाओं से अलग है।

केंद्रीय गृह मंत्रालय से मांगी अनुमति

निर्भया फंड से होने वाले कार्यों के ब्योरे के साथ झारखंड सरकार की गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने केंद्रीय गृह मंत्रालय को अपना प्रस्ताव भेज दिया है और आग्रह किया है कि इस प्रस्ताव को स्वीकृत कर लिया जाय। निर्भया फंड की राशि केंद्र सरकार देती है।

पूर्व में निर्भया फंड के तीन करोड़ हुए खर्च

राज्य में पूर्व में निर्भया फंड से तीन करोड़ रुपये खर्च हुए हैं। इस तीन करोड़ रुपये से राज्य के 300 थानों में एक-एक लाख रुपये की लागत से महिला हेल्प डेस्क बनाया जा रहा है, जिसकी मॉनिटङ्क्षरग सीआइडी कर रहा है।

किस मद में कितने होंगे खर्च

मद संख्या खर्च

फोर व्हीलर्स मोबाइल सर्विलांस पीसीआर 200 44 करोड़

फोर व्हीलर्स ङ्क्षपक पेट्रोल वैन 100 12.50 करोड़

महिला सुरक्षा में पहले के वाहनों में सर्विलांस व मरम्मत 300 75 लाख

-टू व्हीलर्स स्कूटी 200 1.80 करोड़

-आटो रिक्शा व टैक्सी के क्यूआर कोड स्टीकर्स डेढ़ लाख 75 लाख

-बीट पुलिङ्क्षसग व बीट पेट्रोङ्क्षलग में ए-4 साइज क्यूआर कोड स्टीकर शीट 50 हजार 50 लाख

-सुरक्षित झारखंड मोबाइल एप - एक करोड़