RANCHI: राज्य में लॉकडाउन को सफल बनाने के लिए पुलिस प्रशासन अलर्ट है ताकि कोरोना वायरस के संक्त्रमण के चेन को तोड़ा जा सके। इस कारण कई बार पुलिस को सख्ती बरतनी पड़ रही है। लेकिन पुलिस सुरक्षा को लेकर जितनी टाइट है उतनी ही ज्यादा सेवा भावना को लेकर गम्भीर भी है। इस लॉकडाउन में जो लोग फंसे हैं उनकी मदद करने का भी पूरा प्रयास पुलिस कर कर रही है। राज्य के डीजीपी एमवी राव के आदेश के बाद पूरे राज्य में झारखंड पुलिस द्वारा 236 कम्युनिटी किचन खोले गये हैं। इन कम्युनिटी किचन में शनिवार और रविवार को करीब 30,000 लोगों को भोजन कराया गया। जिनके पास खाने-पीने का साधन उपलब्ध नहीं है या फिर जो लॉकडाउन के दौरान दूसरे जिले या प्रांत से चलकर यहां पहुंचे हैं वैसे लोगों को खाना उपलब्ध कराया जा रहा है। राज्य के सभी थाना क्षेत्रों में जरूरतमंदों व असहायों के लिए भोजन, पेयजल व जलपान की व्यवस्था की गयी है।

क्या कहते हैं डीजीपी

झारखंड पुलिस द्वारा खोले गये 236 कम्युनिटी किचन में जिन लोगों ने भोजन किया, उन सभी लोगों से प्रतिक्त्रिया मांगी गयी है। इसको लेकर राज्य के डीजीपी एमवी राव ने ट्वीट भी किया है। उन्होंने लोगों से उनके फीडबैक मांगे हैं। साथ ही जरूरतमन्दों के साथ पुलिस के खड़े होने की बात भी कही है। डीजीपी ने ट्वीट किया है कि यह एक अच्छी शुरुआत थी कि झारखंड पुलिस ने 236 सामुदायिक रसोई घर में 15,000 लोगों को पका हुआ भोजन उपलब्ध कराया। सभी जरूरतमंद लोगों के साथ खड़े हैं और हमेशा आपकी प्रतिक्त्रिया का स्वागत है। कमी हम पूरी करेंगे।

सभी एसपी को दिया था निर्देश

डीजीपी एमवी राव ने 27 मार्च को सभी जिलों के एसपी को निर्देश दिया था कि जिन बाहरी लोगों के पास आजीविका के साधन उपलब्ध नहीं हैं, उनकी संबंधित थाना क्षेत्रों में प्रवेश के दौरान चिकित्सीय जांच कराई जाए। इसके बाद भोजन की व्यवस्था थाना या पुलिस पिकेट के स्तर से की जाए। डीजीपी ने उपायुक्त और खाद्य आपूर्ति विभाग से समन्वय और सहयोग प्राप्त कर कम्युनिटी किचन खोलने का निर्देश जिलों के एसपी को दिया था। एमवी राव ने निर्देश देते हुए कहा था की एसपी तत्काल यह व्यवस्था करें, साथ ही भोजन सप्लाई के समय सोशल डिस्टेंस के मानकों का पालन भी किया जाए। डीजीपी ने सभी एसपी द्वारा एहतियातन कदम उठाने की भी बात कही थी।