रांची (ब्यूरो) । राजधानी रांची के कई इलाके में लोगों के घरों में आज भी गंदे पानी की सप्लाई हो रही है। सिटी के 3 डैम रूक्का डैम, हटिया डैम और गोंदा डैम से जो पानी निकल रहा है वह घरो तक पहुंचते-पहुंचते गंदा हो जा रहा है। लोगों ने कई बार शिकायत की लेकिन कोई समाधान नहीं निकल रहा है। विभाग के लोगों का कहना है कि सभी डैम में वाटर ट्रीटमेंट प्लांट भी लगा हुआ है, लेकिन बीच-बीच में लोग पाइप को काट कर कनेक्शन लेते हैं और उससे मोटर चलाते हैं, जिसके कारण पाइप से गंदा पानी लोगों के घरों तक चला जा रहा है। शहर में कई जगह कॉलोनी में जानेवाला पाइप नालियों से होकर गुजरता है और कहीं पाइप फटने के कारण भी लोगों के घरों में गंदा पानी आ जाता है।

टैक्स लेता है निगम

रांची नगर निगम पानी पर भी टैक्स लेता है। होल्डिंग टैक्स के अलावा पानी का शुल्क निगम अलग से लिया जाता है। जिन घरों में पानी का कनेक्शन लिया गया है। वहां एक वाटर मीटर भी लगाया गया है। इसी मीटर की रीडिंग के आधार पर नगर निगम जोडक़र वाटर यूजर चार्ज लेता है। हालांकि, बीते कुछ महीने से कलेक्शन बंद है। नगर निगम आम लोगों से अलग-अलग टैक्स की वसूली करता है लेकिन उस अनुसार सुविधा मुहैया नहीं कराई जाती। कई बार गंदे पानी की शिकायत नगर निगम के जल बोर्ड को भी की गई है, लेकिन कोई सुधार नहीं हुआ।

रूक्का का पानी हार्ड

रूक्का डैम के पानी में हार्डनेस ज्यादा है। पेयजल और स्व'छता विभाग के आंकड़ों के अनुसार स्वर्णरेखा शीर्ष कार्य की ओर से कराये गये वाटर सैंपलिंग में पाया गया है कि डैम के पानी में हार्डनेस (खारापन) अधिक है। यानी इंडियन स्टैंडर्ड ऑफ वाटर क्वालिटी - 10500 के मानकों के अनुसार रूक्का डैम से पानी की आपूर्ति में हार्डनेस की मात्रा 152 एमजी प्रति लीटर है। पीने के पानी में टर्बिडिटी (गंदगी) 3.9 है। पानी का पीएच वैल्यू 6.95 है। जबकि आयरन 0.08 एमजी, क्लोराइड 79.97 एमजी के आसपास है। स्वर्णरेखा शीर्ष कार्य के कार्यपालक अभियंता की ओर से जारी किए गए सैंपल की टेस्टिंग रिपोर्ट में इस बात का उल्लेख किया गया है।

25 वार्ड के लोगों को पानी

राजधानी के सबसे बड़े जलाशय रूक्का डैम से नगर निगम के 25 वार्डों में प्रति दिन 35 मिलियन गैलन (एमजीडी) पानी की आपूर्ति की जा रही है। शहर में बूटी, बरियातू, कोकर, लालपुर, मेन रोड, कांटा टोली, बहु बजार, हरमू सहित कई इलाकों में इसी डैम का पानी लोगों के घरों तक पहुंचता है।

हटिया डैम का भी पानी गंदा

हटिया डैम का पानी भी प्रदूषित हो गया है। रिंग रोड से सटे डैम के बड़े हिस्से में पानी का रंग हरा हो गया है। पानी में तेल के कण भी आ गए हैं, जो पूरे डैम के लिए खतरनाक है। 20 साल में यह पहला मौका है, जब इस डैम के पानी का रंग बदला है। पर्यावरणविदों का कहना है कि डैम के पानी में प्रदूषण का कारण फैक्ट्रियों और राइस मिलों से छोड़ा गया पानी है। डैम के आसपास कई राइस मिल और फैक्ट्री हैं, जहां का गंदा पानी डैम में आ रहा है। वहीं सर्दी में पानी हैवी हो जाता है, इसलिए प्रदूषण 'यादा दिखाई दे रहा है। डैम के आसपास के बड़ी संख्या में लोग इस पानी का बिना ट्रीटमेंट किए सीधा इस्तेमाल करते हैं। उन लोगों के लिए यह ज्यादा खतरनाक है। पहले हटिया डैम का पानी सभी डैमों से साफ था, लेकिन अब स्थिति बदल गई है। यह मानव आपदा है। अगर इस पानी की जांच कराई जाए तो उसमें कई हानिकारक पार्टिकल्स मिलेंगे, जो स्वास्थ्य के लिए काफी खतरनाक हैं। जो लोग इस पानी का सीधा इस्तेमाल कर रहे हैं, उन्हें चर्म रोग की समस्या हो सकती है। वहीं बिना ट्रीटमेंट के पानी पीने वालों को आंत में समस्या हो सकती है।

गोदा डैम से गंदा पानी

गोदा डैम से भी गंदे पानी की सप्लाई हो रही है। यहां से मधुकम, इंद्रपुरी, कटहल मोड़, गोंदा, देवी मंडप इलाके में लोगो के घरों मे गंदे पानी की सप्लाई हो रही है। शहर में कई जगह जिस स्थान से पानी की पाइपलाइन गुजरी है, उसी जगह पर नगर निगम ने नाला बना दिया है। इसी कारण पाइपलाइन में लिकेज होने से गंदा पानी पाइप से होकर घरों में आ जाता है। पानी की इतनी ज्यादा किल्लत है कि गरीब तबके के लोग इसी गंदे पानी को पीने के लिए इस्तेमाल कर रहे हैं। मधुकम की एक महिला ने बताया कि पाइपलाइन बिछाई गई है, लेकिन घरों तक कनेक्शन नहीं आया है। रोड में प्वाइंट लगा दिया गया है, जिससे मोहल्ले के लोग पानी भरते हैं। बीते कुछ दिनों से लगातार गंदा पानी आ रहा है, जिसे पीकर कुछ लोग बीमार भी पड़ गए हैं। हालांकि, सप्लाई के पानी को लोग उबाल कर प्रयोग कर रहे हैं फिर भी लोग चपेट में आ रहे हैं। वहीं, सप्लाई नल के माध्यम से गंदा पानी लोगों के घरों में भी पहुंच रहा है। मजबूरन लोग इधर-उधर से पानी के जुगाड़ में दौड़ रहे हैं। पीने के लिए खरीद कर पानी प्रयोग किया जा रहा है।

यदि व्यक्ति गंदे पानी का सेवन करता है तो उसे पेट से संबंधित समस्याएं हो सकती हैं। गंदा पानी न केवल पाचन क्रिया को प्रभावित कर सकता है, बल्कि इससे व्यक्ति को उल्टी, दस्त, पेट दर्द आदि समस्याओं का सामना भी करना पड़ सकता है। गंदे पानी के सेवन से व्यक्ति को डिहाइड्रेशन की समस्या हो सकती है, जिसके कारण बेहोशी, चक्कर आना आदि समस्याएं नजर आ सकती हैं। यदि व्यक्ति गंदे पानी का सेवन करता है तो इस कारण से किडनी से संबंधित समस्याओं का सामना भी करना पड़ सकता है।

डॉक्टर रंधीर कुमार, गणेश हॉस्पिटल, चुटिया