देहरादून (एएनआई)। Joshimath Sinking News : उत्तराखंड के जाेशीमठ के हालातों को लेकर शासन से लेकर प्रशासन तक अलर्ट है। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी जोशीमठ में भूमि धंसने के मद्देनजर गुरुवार को विभिन्न बैठकें करेंगे। आधिकारिक बयान के अनुसार, मुख्यमंत्री भूस्खलन से प्रभावित परिवारों को अंतरिम पैकेज के पारदर्शी वितरण और पुनर्वास पैकेज की दर निर्धारित करने के लिए गठित समिति की बैठक के साथ सेना के अधिकारियों और आईटीबीपी के अधिकारियों के साथ बैठक करेंगे। बयान में कहा गया है, "मुख्यमंत्री भूस्खलन की जांच में लगे विभिन्न प्रतिष्ठानों के एनडीआरएफ अधिकारियों और वैज्ञानिकों के साथ बैठक भी करेंगे।" सीएम धामी जिला प्रशासन, पुलिस और अन्य आवश्यक सेवाओं के जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ स्थिति की समीक्षा भी करेंगे। मुख्यमंत्री पार्टी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं के साथ बैठक भी करेंगे।

सीएम धामी ने स्थानीय लोगों से भी बातचीत की
वहीं बुधवार की रात मुख्यमंत्री ने जोशीमठ पहुंचकर प्रभावित क्षेत्रों का निरीक्षण किया। उन्होंने स्थानीय लोगों से भी बातचीत की। सीएम धामी ने ट्वीट किया, "जोशीमठ में प्रभावित क्षेत्रों का मौके पर निरीक्षण और स्थानीय नागरिकों के साथ बैठक।" इससे पहले कल बुधवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से फोन पर जोशीमठ के हालात की जानकारी ली। मुख्यमंत्री कार्यालय के मुताबिक, गृह मंत्री ने उत्तराखंड सरकार को जोशीमठ के लिए हर संभव मदद का आश्वासन दिया। सूत्रों ने कहा कि इससे पहले आज भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने जोशीमठ भूमि धंसने के मुद्दे पर धामी से बात की।
723 भवनों की पहचान की गई है जिनमें दरारें आई
जोशीमठ नगर क्षेत्र में भूस्खलन के कारण 723 भवनों की पहचान की गई है जिनमें दरारें आ गई हैं। सुरक्षा के मद्देनजर अब तक 131 परिवारों के 462 लोगों को अस्थाई राहत शिविरों में स्थानांतरित किया जा चुका है। जोशीमठ क्षेत्र में भूमि धंसने के कारण, राज्य सरकार ने प्रभावित परिवारों के लिए विभिन्न अंतरिम राहत उपायों की घोषणा की है। मुख्यमंत्री की सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम ने बताया कि सरकार प्रभावित परिवारों की देखभाल करेगी और आपदा राहत के तहत प्रत्येक परिवार को 1.50 लाख रुपये की तत्काल अंतरिम सहायता दी जाएगी। इसमें 50 हजार रुपये आवास परिवर्तन के लिए और एक लाख रुपये आपदा राहत के लिए दिए जा रहे हैं।

भूस्खलन से प्रभावित भवनों का सर्वे किया जा रहा

सचिव ने बताया कि भूस्खलन से प्रभावित भवनों का सर्वे किया जा रहा है। लोगों को अस्थायी रूप से असुरक्षित इमारतों से सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित किया जा रहा है। जोशीमठ में दो होटलों को ध्वस्त करने के आदेश दिए गए हैं, जो भूस्खलन के कारण निलंबित कर दिए गए हैं क्योंकि ये होटल आसपास की इमारतों के लिए भी खतरा पैदा कर रहे हैं। अधिकारी ने कहा कि जो लोग किराए के घर में जाना चाहते हैं, उन्हें 6 महीने तक 4,000 रुपये प्रति माह दिए जाने की अनुमति है। इससे पहले उन्होंने हितधारकों और स्थानीय लोगों के साथ बैठक करते हुए स्पष्ट किया कि भूस्खलन से प्रभावित लोगों को बाजार दर पर मुआवजा दिया जाएगा।

स्थानीय लोगों के हितों का ध्यान रखा जाएगा
मार्केट रेट स्टेकहोल्डर्स के सुझाव के बाद और जनहित में ही तय किया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि स्थानीय लोगों के हितों का ध्यान रखा जाएगा। इस बीच, उत्तराखंड के मुख्य सचिव एसएस संधू ने मंगलवार को सचिवालय में जोशीमठ भूस्खलन को लेकर बैठक की और जिलाधिकारी चमोली को स्थिति पर लगातार नजर रखने के निर्देश दिए। मुख्य सचिव ने कहा कि भू-स्खलन से होने वाले जान-माल के नुकसान को रोकने के लिए परिवारों को सुरक्षित स्थानों पर भेजा जाना चाहिए और भवनों को प्राथमिकता के आधार पर तोड़ा जाना चाहिए। प्रभावित परिवारों को जिन स्थानों पर रखा गया है, वहां उनके रहने और खाने की उचित व्यवस्था की जाए।

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