सीरिया के राष्ट्रपति बशर-अल असद ने कहा है कि वो अपने रासायनिक हथियारों को नष्ट करने संबंधी समझौते का पालन करने को लेकर प्रतिबद्ध हैं.


उन्होंने कहा है कि इसमें कम से कम एक साल का समय लगेगा और एक अरब डॉलर का खर्च आएगा.अमरीकी टेलीविजन चैनल फॉक्स न्यूज को दिए साक्षात्कार में असद ने कहा कि ये तकनीकी रूप से भी बहुत ही जटिल काम है. उन्होंने इस बात से एक बार फिर इनकार किया कि पिछले महीने उनकी सेना ने राजधानी दमिश्क में रासायनिक हमला किया था.रासायनिक हथियारसीरिया के रासायनिक  हथियारों को खत्म करने की योजना पिछले हफ्ते रूस और अमरीका सामने लेकर आए थे."रासायनिक हथियारों को नष्ट करने का एक निश्चित समय है. इसमें एक साल और उससे थोड़ा अधिक समय भी लग सकता है"-बशर अल असद, राष्ट्रपति सीरियाइस बीच रूसी विदेश मंत्री सरगेई लैवरॉव ने कहा है कि वो इस बात के नए प्रमाण दे सकते हैं कि पिछले महीने दमिश्क में रासायनिक हमले के लिए सीरियाई विद्रोही जिम्मेदार थे.


पश्चिमी देश चाहते हैं कि समझौते का पालन संयुक्त राष्ट्र के प्रस्ताव के तहत हो, जिसमें सैन्य कार्रवाई की बात भी शामिल है. लेकिन रूस को इस पर आपत्ति है.असद ने कहा कि रासायनिक हथियारों को नष्ट करने का एक निश्चित समय है. इसमें एक साल और उससे थोड़ा अधिक समय भी लग सकता है.

असद का यह बयान एक वरिष्ठ रूसी राजनयिक के इस बयान के बाद आया है कि सीरिया 2014 के मध्य तक अपने रासायनिक हथियारों को खत्म करने की प्रतिबद्धता का पालन करेगा.सीरिया में बातचीत के बाद रूसी विदेश उपमंत्री सर्गेई रायाबकोव ने कहा कि राष्ट्रपति असद हथियारों को नष्ट करने की योजना को लेकर बहुत गंभीर हैं.उन्होंने यह भी कहा कि सीरियाई अधिकारियों ने उन्हें इस बात के सबूत दिए हैं कि पिछले महीने हुए रासायनिक हमले में विद्रोहियों की हाथ था. अमरीका इस हमले के लिए असद सरकार को जिम्मेदार ठहराता रहा है.रूसी राजनयिक ने इस हमले को लेकर अपनी रिपोर्ट में एकतरफा रुख अपनाने के लिए संयुक्त राष्ट्र की भी आलोचना की. हालांकि संयुक्त राष्ट्र ने इससे इनकार किया है.सीरिया में 2011 में शुरु हुए गृहयुद्ध में अबतक एक लाख से अधिक लोगों की मौंत हो चुकी है.इस वजह से लाखों लोग पलायन कर पड़ोसी देशों में चले गए हैं और लाखों लोग बेघर हो गए हैं.

Posted By: Satyendra Kumar Singh