खरीफ की फसल सामान्‍यत: जुलाई की पहली बारिश के साथ दिखाई देने लगती है। दक्षिण पश्चिम मानसून के दौरान ही इस फसल का भी मौसम रहता है। वैसे देखा जाए तो इसका समय 16 अप्रैल से शुरू हो जाता है और 15 अक्‍टूबर तक रहता है। भारत में खरीफ का सीज़न फसल और राज्‍यों के हिसाब से अलग-अलग होता है। मुख्‍य तौर पर इसकी शुरुआत जून से होकर अक्‍टूबर तक रहती है। गौर करें तो खरीफ का मतलब अरबी भाषा में 'शरद ऋतु' होता है। वहीं अब सवाल उठता है कि इससे मानसून और फास्‍टफूड का रिश्‍ता कैसे मजबूत हुआ। यहां इसका जवाब है खरीफ की फसल से। इसी दौरान चावल मूंग दाल मटर मक्‍का आदि जैसी फसल की चीजों की भरमार हो जाती है। ये सब हैं खरीफ की फसलें। अब देखें इन दोनों के बीच मजबूत होते रिश्‍तों के बारे में विस्‍तार से।


चावल (इडली, डोसा, फ्राइड राइस)


बात अगर चावल की करें तो चाहें वो देसी थाली हो या विदेशी, अनाज के रूप में चावल का दोनों ही थालियों में अपना अहम स्थान है। पूरी दुनिया में खासतौर पर एशिया में चावल को पसंद करने वाले लोगों की संख्या सबसे ज्यादा है। FAOSTAT 2012 से मिले डाटा पर गौर करें तो चावल उत्पादन को लेकर भारत पूरी दुनिया में तीसरे नंबर पर है। खरीफ की मुख्य फसलों में से एक है चावल। अब बात अगर मानसून की हो रही हो तो बारिश में चावल से तैयार गर्म-गर्म स्नैक्स और खाने की दिलचस्प चीजें मिल जाएं, तो खाने वालों का दिन बन जाए। मसलन इडली, डोसा, फ्राइड राइस....और भी बहुत कुछ। स्वाद के अलावा अगर आपको कैलोरी या मानव पोषण लेना हो, तो चावल आपके लिए बेस्ट है। कैलोरी के नाम पर चावल को खाद्य प्रदार्थों में पांचवे नंबर पर रखा गया है। ये कैलोरी आप कई टेस्टी चीजों के साथ भी मजा लेकर ले सकते हैं। जैसे चावल का भिगोकर, उसे पीसकर उसमें खमीर उठाकर गर्मागम डोसा खाइए, वह भी नारियल की चटनी और सांभर के साथ। ऐसे ही चावल को भिगोकर, उसे पीसकर उसमें खमीर उठाकर आप इडली का आनंद ले सकते हैं। इसके अलावा ढेर सारी सब्जियां डालकर मसालेदार फ्राइडराइस के तो कहने ही क्या। मक्का (भुट्टा, ब्वॉयल्ड या पॉप कॉर्न)बारिश के शुरू होते ही याद आने लगता है नींबू और नमक लगाकर सड़क किनारे मिल रहा भुट्टा। इसका अपडेटेड वर्जन याद करना हो तो पॉपकॉर्न या फिर ब्वायल्ड कॉर्न्स भी चख सकते हैं आप। खरीफ की दूसरी बेहतरीन फसल है मक्का, जो बारिश के मौसम में सबसे ज्यादा आता है। आप अगर हेल्थ कॉन्शियस हैं और सड़क किनारे खाने से अच्छा घर में इसका आनंद लेना चाहते हैं तो कच्चे भुट्टों को घर लाकर उसे गैस चूल्हे पर सेंक सकते हैं और नींबू, नमक लगाकर खा सकते हैं। वहीं अगर ब्वॉयल्ड कॉर्न्स भी घर पर बनाना चाहते हैं तो मक्के के दानों को उबालकर उसमें मसाला मिलाकर खा सकते हैं और ले सकते हैं मानसून का भरपूर मजा। मक्के का आटा बेहद हल्का कहा जाता है। किसान इसको 'चिड़िया का खाना' भी कहकर बुलाते हैं।       मूंगफली (नमकीन या इन्ग्रिडियंस के रूप में)

मूंगफली भी खरीफ की ही फसलों की शान है। इसकी खेती खासतौर पर पराग्वे की घाटियों में होती है। 30-50 सेमी बढ़ी घासों के रूप में इसकी फसल होती है। ये भी खरीफ की आखिरी फसल में ही आता है। पौधों पर गौर करें तो इसका पत्तियां इसके फल के उल्टी ओर होती हैं। स्वाद के नाम पर ज्यादा से ज्यादा लोग इसे पसंद करते हैं। इसका आनंद आप यूं भी ले सकते हैं और किसी खास डिश पर इंग्रिडियंट के रूप में भी। कई जगहों पर मूंगफली का तेल भी बड़ी मात्रा में इस्तेमाल में लाया जाता है।Hindi News from Business News Desk

Posted By: Ruchi D Sharma