भारतीय परिधान में भरी सपनों की उड़ान
- भारतीय संस्कृति के रंग में डूबा दिखा एमएनएनआइटी का 12 वां दीक्षांत समारोह
- मेधा को लगे पंख, किसी को दो गोल्ड तो किसी ने मारी हैट्रिक ALLAHABAD: ग्रेजुएट्स के शरीर पर धवल सफेद सदरी के साथ पीला दुपट्टा लहरा रहा था तो मास्टर डिग्री लेने पहुंचे टेक्नोक्रेट्स बैगनी के परिधान में चमक बिखेर रहे थे। डॉक्टरेट हासिल करने वाले लाल रंग के परिधान में सबसे अलग नजर आ रहे थे। देश के सबसे प्रतिष्ठित संस्थानों में एक एमएनएनआईटी के 12 वें दीक्षांत समारोह में रविवार को ऐसा ही नजारा दिखा। गाउन की विदेशी परंपरा को तोड़कर पहली बार दीक्षांत समारोह भारतीय संस्कृति के रंग में रंगा नजर आया। समारोह का शुभारंभ हुआ तो मेधावी दो-दो और तीन गोल्ड हासिल कर सपनों की उड़ान भरते नजर आए। नव्या सर्वश्रेष्ठ विद्यार्थीदीक्षांत समारोह में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत करने पहुंचे भारत हैवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड के अध्यक्ष एवं प्रबंधक निदेशक अतुल सोबती विद्यार्थियों की मेधा देख गदगद नजर आए। उपाधि प्रदान करने का सिलसिला शुरू हुआ तो बीटेक कम्प्यूटर साइंस की नव्या अग्रवाल को सर्वश्रेष्ठ विद्यार्थी का गोल्ड मेडल मिला। जबकि बीटेक इलेक्ट्रिकल एंड कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग के टॉपर मयंक मित्तल को इंस्टीट्यूट मेडल दिया गया। समारोह में 1392 डिग्री वितरित की गई। इसमें 808 बीटेक, 333 एमटेक, 84 एमसीए, 50 एमबीए, 15 एमएससी एवं आठ एमएसडब्ल्यू के छात्र-छात्राओं को डिग्री मिली। जबकि 248 छात्र-छात्राओं को उपाधि दी गई। इसके अलावा स्नातकोत्तर (एमटेक व मास्टर डिग्री) में 30, स्नातक (बीटेक) में नौ, प्रायोजित में 19 सहित कुल 62 विद्यार्थियों को स्वर्ण पदक देकर सम्मानित किया गया। इसमें 21 छात्राएं शामिल थीं। साथ ही 85 शोध छात्र जिसमें 57 छात्र डीएएसए, 14 विदेशी छात्र आईसीसीआर एवं विदेश मंत्रालय के अन्तर्गत सम्मिलित थे उन्हें भी सम्मानित किया गया। एमएनएनआइटी के दीक्षांत समारोह में रागिनी विश्वकर्मा, सौम्या, नव्या अग्रवाल को दो-दो स्वर्ण पदक मिले। जबकि मयंक अग्रवाल को तीन स्वर्ण पदक मिले। संचालन प्रो। गीतिका ने किया। समारोह में चीफ प्रॉक्टर प्रो। आरपी तिवारी सहित शिक्षक व छात्र-छात्राओं के अभिभावक मौजूद रहे।
--------- फैक्ट फाइल - 1392 डिग्री वितरित की गई - नव्या सर्वश्रेष्ठ विद्यार्थी - मयंक को इंस्टीट्यूट मेडल - चार मेधावी को दोहरा गोल्ड - मयंक ने मारी गोल्ड की हैट्रिक -------- बेहतर भविष्य के लिए बढ़ाएं सोच का दायरा - प्रख्यात इंडस्ट्रियलिस्ट अतुल सोबाती ने टेक्नोक्रेट्स को किया प्रेरितALLAHABAD: बेहतर भविष्य के लिए सोच का दायरा बढ़ाना होगा। अनिश्चितताओं को गले लगाकर ही सफलता हासिल की जा सकेगी। यह बातें रविवार को मोती लाल नेहरू राष्ट्रीय प्रोद्योगिकी संस्थान के दीक्षांत समारोह के अवसर पर मुख्य अतिथि भारत हैवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड के अध्यक्ष एवं प्रबंधक निदेशक अतुल सोबती ने कही। स्टूडेंट्स को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि देश तेजी से विकास कर रहा है, दुनिया की नजर हमारी ओर है। युवाओं को स्वयं को उसके अनुरूप तैयार रहना होगा। भारत सरकार की ओर से नीतिगत सुधारों पर चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि मेक इन इंडिया के नाम से सरकार की ओर से चलायी गई योजनाओं का उद्देश्य भारत में बिजली और पूंजीगत वस्तुओं के लिए क्रांतिकारी योगदान देना है। स्टूडेंट्स को भविष्य के लिए प्रोत्साहित करते हुए उन्होंने हरिवंश राय बच्चन की कविता कोशिश करने वालों की कभी हार नहीं होतीका जिक्र किया। इसके पहले 12वें दीक्षांत समारोह की परंपरागत शुरुआत हुई।
बनाएं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थादीक्षांत समारोह के अवसर पर एनआइआइटी ग्रुप के सह संस्थापक और बोर्ड ऑफ गवर्नर्स के अध्यक्ष विजय कुमार थडानी ने भारत के जनसांख्यिकीय लाभांश का जिक्र किया। उन्होंने भारत को 2030 तक विश्व की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने के लिए टेक्नोक्रेट्स को प्रेरित किया और उन्हें सफलता के सात मूलमंत्र भी बताए। मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा उच्च शिक्षण संस्थानों की औपचारिक रैंकिंग एनआइआरएफ के अन्तर्गत भारत के अभियांत्रिकी संस्थानों में एमएनएनआइटी को 23वां स्थान मिलने पर प्रसन्नता व्यक्त की। भारत सरकार की महत्वाकांक्षी सोच जैसे मेक इन इंडिया, कौशल भारत, डिजिटल भारत, स्टार्टअप इंडिया के लिए योगदान के संदर्भ में लगातार सुनहरे अवसरों की पहचान करने के लिए प्रेरित किया। संस्थान के निदेशक प्रो। पी। चक्रबर्ती ने संस्थान की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला। कहा कि संस्थान केंद्र सरकार के मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया, स्किल इंडिया व स्टार्टअप को आगे बढ़ाने में अहम भूमिका निभा रहा है।