- फरवरी के मुकाबले आधे से अधिक मरीज मार्च के 15 दिन में आए

- राजधानी में लगातार बढ़ रही कोरोना संक्रमितों की संख्या

- लोगों की लापरवाही कही फिर न पड़ जाए भारी

द्यह्वष्द्मठ्ठश्र2@द्बठ्ठद्ग3ह्ल.ष्श्र.द्बठ्ठ

रुष्टयहृह्रङ्ख: राजधानी में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या धीरे-धीरे बढ़ती जा रही है। फरवरी में मिले करीब पांच सौ मरीजों के मुकाबले मार्च के शुरुआती 15 दिनों में 324 से अधिक मरीज सामने आ चुके हैं। आलम यह है कि बीते चार दिनों में ही सौ से अधिक मामले सामने आए हैं, जिसने जिला स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की चिंता एकबार फिर बढ़ा दी है।

लगातार बढ़ रहे मामले

- राजधानी में मार्च में अचानक से कोरोना केसेज में तेजी देखने को मिल रही है।

- फरवरी में कम मामले सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग के जांच का दायरा भी कम हो गया था।

- फरवरी में जहां 7 मौतें थीं। वहीं मार्च में अबतक 4 मौतें हो चुकी हैं।

- जहां पहले 1 संक्रमित मिलने पर 25 लोगों की जांच होती थी

- जांच अब परिजनों तक सीमित रह गई है

- इसके अलावा रेलवे स्टेशन, एयरपोर्ट और बस स्टेशन पर महज 15-20 ही जांच हो पा रही है

- इसके अलावा प्रशासन द्वारा सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क को लेकर पहले जैसी सख्ती न करना बढ़ते हुए खतरे के लिए जिम्मेदार है।

लोग भी हुए लापरवाह

लोग भी कोरोना गाइडलाइन पूरी तरह भूलकर लापरवाह हो चुके हैं। मार्केट से लेकर रेलवे स्टेशन, बस स्टेशन से लेकर अन्य जगहों पर लोग बिना मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना भूल गए हैं। इसके अलावा थर्मल जांच भी केवल खानापूर्ति रह गई है। इसके अलावा सेनेटाइजेशन को लेकर भी लापरवाही दिख रही है। हेल्प डेस्क अधिकतर जगहों पर शो-पीस बनकर रह गए हैं।

लगातार कर रहे काम

कोरोना के बढ़ते मामलों को लेकर सीएमओ डॉ। संजय भटनागर का कहना है कि ज्यादातर जो केसेज आ रहे हैं वो बाहर से आने वाले मरीजों की संख्या है। विभाग द्वारा लगातार टेस्टिंग से लेकर कांटेक्ट ट्रेसिंग का काम किया जा रहा है। करीब 104 टीमें जांच कर ही हैं। इसके अलावा कंटेनमेंट जोन भी बनाए जा रहे हैं। अबतक 84 कंटेनमेंट जोन बन चुके हैं, जिसमें सर्वाधिक आलमबाग, रायबरेली रोड और अलीगंज में बने हैं। साथ ही नगर निगम से सेनेटाइजेशन के लिए कहा गया है।

मार्च के आंकड़े

डेट मरीज

1 15

2 25

3 25

4 17

5 7

6 8

7 9

8 16

9 17

10 21

11 17

12 25

13 27

14 19

15 35

16 44

कोट

संक्रमण की रफ्तार रोकने के लिए लगातार टेस्टिंग की जा रही है। इसके अलावा कंटेनमेंट जोन बनना शुरू हो चुका है। सेनेटाइजेशन के लिए नगर निगम को कहा गया है।

- डॉ। संजय भटनागर, सीएमओ

Posted By: Inextlive