किसान सम्मान निधि से वंचित हैं पश्चिम बंगाल के किसान, कृषि मंत्री ने इसमें शामिल होने लिए ममता बनर्जी को लिखा पत्र
नई दिल्ली (एएनआई)। देश भर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को 'प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि' के तहत 9 करोड़ से अधिक किसान लाभार्थियों के खातों में 18,000 करोड़ से अधिक की राशि ट्रांसफर की। पीएम-किसान योजना के तहत, छोटे और सीमांत किसानों को प्रति वर्ष 6,000 रुपये का वित्तीय लाभ प्रदान किया जाता है, जो कि 2,000 रुपये की तीन समान किश्तों में देय है।फंड सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में जाता है। हालांकि इस फंड का लाभ पश्चिम बंगाल के किसानों को नहीं मिलता है। इस संबंध में केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने शुक्रवार को कहा कि उन्होंने गुरुवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को एक पत्र लिखा था जिसमें उन्हें पीएम किसान सम्मान निधि योजना के लाभ से किसानों को न रोकने के लिए कहा था। पश्चिम बंगाल को छोड़कर सबने स्वीकारी ये योजना
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि पश्चिम बंगाल सरकार को छोड़कर, हर दूसरी सरकार ने पीएम किसान सम्मान निधि स्वीकार की है। अभी पश्चिम बंगाल के किसान इससे वंचित हैं। पश्चिम बंगाल सरकार को छोड़ पूरे देश की सरकारें पीएम किसान सम्मान निधि में शामिल हुई हैं। पश्चिम बंगाल में करीब 70 लाख पात्र हितग्राही हैं, अगर ये लोग इस योजना में शामिल होते हैं तो पश्चिम बंगाल के किसानों को वर्ष में 4,200 करोड़ रुपये मिलेंगे। पीएम मोदी ने भी ममता की रणनीति पर सवाल उठाया इसके साथ ही उन्होंने कहा कि पीएम मोदी ने ढाई साल में ही 95,000 करोड़ सीधे किसानों के अकाउंट में डलवा दिए हैं। इससे पहले आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पीएम किसान योजना की एक किस्त जारी करने के बाद किसानों को संबोधित करते हुए कहा था कि सीएम ममता बनर्जी की विचारधारा ने आज पश्चिम बंगाल को नष्ट कर दिया है। वहीं किसानों के हित में पश्चिम बंगाल में इस योजना को लागू नहीं करने के उनके फैसले पर सवाल उठाया है। किसानों के कंधे पर बंदूक रखकर चलाने का आराेपवहीं कृषि मंत्री ने कृषि काननों के खिलाफ दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर धरना दे रहे किसानों से भी समझने की अपील की। इसके साथ ही कहा कि कुछ लोग जो जमीनी आधार खो चुके हैं, समय-समय पर वो कंधों की तलाश करते हैं और आज किसान आंदोलन से किसान के कंधों पर अपनी वैचारिक बंदूक चलाकर अपना हित साधना चाहते हैं। किसानों के हमदर्द बनकर उनको गुमराह करने का जो पाप कर रहे हैं उसकी सजा आने वाले कल में जनता उनको देगी।