एक्सक्लूसिव
- पुलिस मित्र बनाकर चौकीदार को दिया जाएगा सम्मान
- गांव की गतिविधियों के बारे में पुलिस को मिलेगी जानकारी
मनोज बेदी
मेरठ : सुरक्षा तंत्र को मजबूत करने के लिए अब फिर से गांव में पुलिस चौकीदारों की तैनाती करेगी। उनको अपना पुलिस मित्र बनाकर गांव में हो रही गतिविधियों के बारे में जानकारी हासिल करेगी। उन्हें मोबाइल देकर हाईटेक बनाने का भी प्रयास करेगी।
डीजीपी ने की घोषणा
प्रदेश में बढ़ रहे क्राइम के ग्राफ को कम करने के लिए डीजीपी सुलखान सिंह ने गांव में चौकीदारों की तैनाती की घोषणा की है। देखने में आया है कि बड़े इनामी बदमाशों ने शहरी क्षेत्र को छोड़कर देहात क्षेत्रों को अपना शरणस्थली बना लिया है। देहात में पुलिस सूचना तंत्र कम होने से बदमाशों की आवाजाही पुलिस को नहीं लग पाती है। इसके बाद बड़ी घटनाओं को अंजाम दे देते हैं। अब पुलिस गांव में शरण लिए बदमाशों तक पहुंचने के लिए चौकीदारों का सहारा लेगी।
पहले तैनात होते थे चौकीदार
पहले अंग्रेजों ने लोगों की मुखबिरी के लिए गांव में चौकीदारों की तैनाती की थी। कई लोग आज भी पीढ़ी दर पीढ़ी यह काम कर रहे हैं। लेकिन कम मेहनताना पाने के कारण कई लोगों ने यह काम छोड़ दिया है।
थानेदार देता है मानदेय
गांव में तैनात चौकीदारों का मानदेय थाने से दिया जाता है। हर साल उन्हें वर्दी भी दी जाती है। पुलिस द्वारा उनकी मदद भी की जाती है।
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पहले गांवों में चौकीदारों की तैनाती की जाएगी। इसके बाद उनसे गांव की गतिविधियों के बारे में जानकारी ली जाएगी। इससे हर गांव का फीड बैक भी पुलिस को मिलता रहेगा।
-प्रशांत कुमार, एडीजी जोन
31 थाने
1200 गांव मेरठ जिले में
1000 चौकीदारों की होगी भर्ती
120 चौकीदार हैं तैनात
1000 रुपये प्रतिमाह मानदेय
1 गांव में होंगे एक या दो चौकीदार
150 सालों से गांव में हैं चौकीदार
20 लोग गांव में पीढ़ी दर पीढ़ी कर रहे चौकीदारी