-पोस्टपेड स्मार्ट मीटर को प्रीपेड में बदलेगा बिजली विभाग

-पहले से जमा सिक्योरिटी मनी को पहले रिचार्ज के रूप में इस्तेमाल करेगा

-अब नहीं लगा सकेंगे बिजली बिल का बकाया

बकायेदारों से परेशान बिजली विभाग ने अब नयी योजना बनायी है। पूर्वाचल विद्युत वितरण निगम ने बनारस में पोस्टपेड स्मार्ट मीटर्स को प्रीपेड में बदलने की तैयार कर रहा है। अगले साल यानी 2020 से पोस्टपेड मीटर को प्रीपेड स्मार्ट मीटर में बदलने की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी। कन्ज्यूमर्स की जमा सिक्योरिटी मनी को पहले रीचार्ज में कनवर्ट कर दिया जाएगा। वहीं प्रीपेड रीचार्ज कराने पर दो परसेंट का रिबेट भी देगा। इससे उन उभोक्ताओं को किसी तरह की परेशानी नहीं होगी जो वक्त से बिजली का बिल जमा कर देते हैं। लेकिन उनके लिए बड़ी दिक्कत होगी जो लम्बा बकाया करके किसी तरह से सेटलमेंट करके बिजली की सप्लाई जारी रखते हैं। उन्हें यूज से पहले ही रुपये जमा करना पड़ेगा।

दो साल में बदले मीटर

सिटी में पिछले दो साल में अब तक करीब एक लाख 45 हजार पोस्टपेड स्मार्ट मीटर लग चुके है। ये वे मीटर हैं, जिन्हें पुराने डिजिटल मीटर से स्मार्ट पोस्ट पेड मीटर में बदला गया हैं। इनमें लक्सा, गोदौलिया, दशाश्वमेध, सोनारपुरा, रथयात्रा, सिगरा, महमूरगंज, भेलूपुर, शिवाला, अस्सी, लंका, अमरा, अवलेशपुर, चितईपुर, भिखारीपुर, आदि एरिया शामिल हैं। अब पूर्वाचल विद्युत वितरण निगम (पीवीवीएनएल)ने इन पोस्टपेड मीटर्स को प्रीपेड करने की तैयारी की है। अधिकारियों की मानें तो न्यू स्मार्ट मीटर पोस्टपेड और प्रीपेड दोनों तरीके से काम करते हैं। अभी तक जो स्मार्ट मीटर पोस्टपेड के रूप में काम कर रहे हैं, उन्हें अब प्रीपेड मोड पर कर दिया जाएगा। इसके लिए कवायद तेज हो गई है।

पहले फेज में मल्टी स्टोरी

अधिकारियों की मानें तो स्मार्ट पोस्ट पेड मीटर को प्रीपेड में बदलने का काम दो फेज में किया जाएगा। पहले फेज में मल्टी स्टोरी में लगे मीटर को प्रीपेड में बदला जाएगा। इसकी सफलता के बाद शहर में लगने वाले अन्य सभी पोस्ट पेड को प्रीपेड में बदला जाएगा। जिससे बिजली बिल बकाया होने की समस्या ही समाप्त हो जाए।

45 परसेंट बकाएदार

पीवीवीएनएल के अधिकारियों का कहना हैं कि बनारस में अभी भी 55 परसेंट लोग ही समय पर बिजली का बिल जमा कर रहे है। अन्य 45 परसेंट कंज्यूमर का बिल बकाया रहता है। वहीं यूपीपीसीएल को बिजली कंपनियों को अग्रिम भुगतान करने पर ही बिजली मिलती है। ऐसे में कंज्यूमर से पेमेंट न मिलने की वजह से विभाग को राजस्व का बड़ा नुकसान उठाना पड़ रहा है। इस समस्या को समाप्त करने के लिए सभी स्मार्ट मीटर को प्रीपेड करने की प्लानिंग की गई है।

इसलिए पड़ी जरुरत

-प्रीपेड मीटर का मकसद बिजली के ट्रांसमिशन व डिस्ट्रीब्यूशन में होने वाले नुकसान में कमी लाना है।

-इससे वितरण कंपनियों की स्थिति बेहतर होगी।

-ऊर्जा संरक्षण को प्रोत्साहन मिलेगा।

-कागजी बिल की व्यवस्था खत्म होने के साथ बिल भुगतान में आसानी होगी।

ये होगा फायदा

-स्मार्ट मीटर कम आय वालों उपभोक्ताओं के हित में है।

-पूरे माह का बिल एक बार में चुकाने की जरूरत नहीं होगी।

-जरूरत के मुताबिक बिल चुका सकेंगे।

-बिजली का इस्तेमाल नहीं होने पर नहीं देना होगा कोई चार्ज

3.5

लाख स्मार्ट मीटर लगने हैं बनारस में

1.45

लाख स्मार्ट मीटर लग चुके है अब तक शहर में

01

फेज में मल्टी स्टोरी के मीटर होंगे प्रीपेड

233

मल्टी स्टोरी है बनारस में

45

फीसदी लोग नहीं जमा करते हैं बिल

55

फीसदी लोग ही समय पर भरते हैं बिल

स्मार्ट मीटर पोस्टपेड और प्रीपेड दोनों सिस्टम हैं। अभी तक जो स्मार्ट मीटर पोस्टपेड के रूप में काम कर रहे हैं, उन्हें प्रीपेड मोड पर कर करने की बात सामने आई है। लखनऊ से इसकी शुरुआत हो रही है। बनारस में पहले मल्टी स्टोरी के मीटर प्रीपेड किए जाएंगे।

विजय पाल, एसई फ‌र्स्ट-पीवीवीएनएल